Sunday, September 8, 2024
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‘जम्मू कश्मीर में 450 आतंकी सक्रिय, लड़ाई अब निर्णायक दौर में’: भारतीय सेना

वर्ष 2018 में 191 कश्मीरी युवाओं ने आतंकी संगठनों का दामन थाम लिया है। हालाँकि सेना द्वारा युवाओं और उनके परिवारों तक पहुँच कर उन्हें जागरूक किया जा रहा है।

भारतीय सेना के अनुसार, जम्मू एवं कश्मीर में आतंकवादियों के खिलाफ़ लड़ाई अब निर्णायक दौर में पहुँच गई है। सेना के उत्तरी कमान प्रमुख लेफ़्टिनेंट जनरल रणबीर सिंह ने बताया कि पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (POK) में 16 आतंकी कैम्प मौज़ूद हैं। हालाँकि, उन्होंने यह भी कहा कि उन सभी कैम्पों पर भारतीय सेना की पैनी नज़र है और जब भी घुसपैठ का प्रयास होता है, उसे विफल कर दिया जाता है। उन्होंने बताया कि इन्हीं कैम्पों में आतंकियों को प्रशिक्षण दिया जाता है ताकि उन्हें भारतीय सीमा में घुसपैठ के लिए तैयार किया जा सके।

अलंकरण समारोह के दौरान मीडिया से बातचीत करते हुए लेफ्टिनेंट जनरल सिंह ने कहा:

“कश्मीर में पीर पंजाल के उत्तर की तरफ आतंकियों की संख्या सबसे ज्यादा है। उत्तर कश्मीर में 350 से 400 सक्रिय हैं। पीर पंजाल के दक्षिण की तरफ 50 आतंकी सक्रिय है। पीरपंजाल के दक्षिण की तरफ सुरक्षा व्यवस्था को कड़ा रखा गया है और शांति माहौल बना हुआ है। ज्यादातर आंतक विरोधी आपरेशन पीर पंजाल के उत्तर में ही होते हैं।”

लेफ़्टिनेंट जनरल सिंह ने कश्मीरी युवकों के आतंकवादी गुटों में शामिल होने पर भी चिंता जताई। उन्होंने कहा कि स्थानीय युवकों के आतंकी संगठनों में शामिल होने को लेकर सेना चिंतित है। बकौल लेफ़्टिनेंट जनरल सिंह, वर्ष 2018 में 191 कश्मीरी युवाओं ने आतंकी संगठनों का दामन थाम लिया है। हालाँकि, उन्होंने कहा कि सेना द्वारा युवाओं और उनके परिवारों तक पहुँच कर उन्हें जागरूक किया जा रहा है। ताज़ा आँकड़ों का हवाला देते हुए रणबीर सिंह ने बताया कि पिछले पाँच से छह महीने में युवाओं के आतंक की राह पकड़ने में कमी आई है।

सेना द्वारा आतंकियों के ख़िलाफ़ चलाए जा रहे अभियान के बारे में बात करते हुए उन्होंने कहा कि आतंकियों के ख़िलाफ़ पूरी सख़्ती से कार्रवाई की जा रही है। सेना के अभियान की सफलता के बारे में जानकारी देते हुए उन्होंने कहा:

“पिछले पाँच वर्षों में 836 आतंकियों को मार गिराया गया है। इनमें से 490 आतंकवादी पाकिस्तानी थे। 2016 में पथराव शुरू हुआ था तो सैकड़ों की संख्या में लोग पत्थर मारने के लिए बाहर निकलते थे, लेकिन अब इसमें कमी आई है। अब कभी कभार ही 15 -20 की संख्या में पत्थरबाज सामने आ रहे हैं।”

लेफ्टिनेंट जनरल रणबीर सिंह ने पाकिस्तान को भी कड़ी चेतावनी दी। उन्होंने पाकिस्तानी सेना को चेतावनी देते हुए कहा कि वो भारतीय सरजमीं को किसी भी प्रकार का नुक़सान पहुँचाने का प्रयास भी न करे। उन्होंने कहा कि अगर पाकिस्तान द्वारा ऐसी कोई हरकत की भी जाती है, तो भारतीय सेना उनका मुँहतोड़ जवाब देने में सक्षम है और तैयार भी है। उन्होंने देशवासियों को आश्वस्त करते हुए कहा कि किसी को भी देश के अंदर आतंक फैलाने की इज़ाजत नहीं दी जाएगी।

लेफ्टिनेंट जनरल सिंह ने बताया कि पाकिस्तान अब भारत में आतंक फैलाने के लिए टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर रहा है। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया के जरिए कश्मीर के युवाओं को भड़का कर हिंसा की तरफ ले जाने की कोशिश हो रही है। साथ ही उन्होंने कहा कि कश्मीर में आतंकवाद समर्थक या सेना विरोधी बयानबाज़ी से भारतीय सेना के जवानों के हौसलों पर कोई असर नहीं पड़ता है

उन्होंने उत्तरी कमान मुख्यालय उधमपुर में पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि सेना सिर्फ आतंक विरोधी गतिविधियों को ही सफलतापूर्वक नहीं संचालित कर रही है, बल्कि प्राकृतिक आपदाओं की स्थिति में भी लोगों के काम आ रही है।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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