ऑस्ट्रेलिया के विक्टोरिया में साल 2026 में होने वाले कॉमनवेल्थ खेलों (CommonWealth Games 2026) की खबरें अभी से मीडिया में सुर्खियाँ बटोरनी लगी हैं। इसकी वजह है कि इस बार एक ओर जहाँ कॉमनवेल्थ गेम्स में सबसे लोकप्रिय खेल टी-20 क्रिकेट को जगह मिली है तो वहीं दूसरी ओर इन खेलों की सूची में से शूटिंग, तीरअंदाजी (आर्चरी) और कुश्ती जैसे खेलों को बाहर कर दिया गया है। मालूम हो कि जो खेल इस बार लिस्ट से हटाए गए हैं वो हरियाणा, पंजाब, यूपी, दिल्ली जैसे प्रदेश के खिलाड़ियों को प्रभावित करने वाले हैं। इनमें लंबे समय से भारतीय खिलाड़ियों का प्रदर्शन उम्दा रहा है।
कॉमवेल्थ गेम्स को लेकर ये फैसला सुनाए जाने के बाद तमाम खिलाड़ी इससे निराश हैं। उन्होंने नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा कि जब-जब देश ने किसी खेल में मेडल जीतने शुरू किए है तभी या तो उस खेल को अंतरराष्ट्रीय स्तर खेलों से हटा दिया गया या फिर उसके लिए कोई नियम बना दिए गए। नाराज खेल प्रशिक्षकों की शिकायत है कि जिन खेलों से भारत को मेडल आते हैं उन्हीं पर बैन लगा दिया जाता है।
कॉमनवेल्थ खेलों में भारतीयों का प्रदर्शन
बता दें कि भारत तीरअंदाजी, कुश्ती औ शूटिंग तीनों में ही कॉमनवेल्थ खेलों में अच्छे प्रदर्शन करता आया है। साल 2018 में भारतीय पहलवानों ने कॉमलवेल्थ गेम्स में कुल 12 पदक जीते थे जिनमें से 5 स्वर्ण पद थे। इसी तरह भारतीय शूटर्स ने खेल के दौरान 16 मेडल जीते थे जिनमें 7 स्वर्ण पदक थे। तीरअंदाजी में भी भारतीय खिलाड़ियों का प्रदर्शन हमेशा उत्कृष्ट रहा। ये बात और है कि इस खेल को 2010 के बाद कॉमनवेल्थ गेम्स में जगह नहीं दी गई। 2010 में जब कॉमनवेल्थ खेल हुए थे तीरअंदाजी में भारत ने 3 गोल्ड समेत 8 मेडल जीते थे।
कुश्ती, तीरअंदाजी, शूटिंग को जगह न मिलने पर भारतीय खिलाड़ियों में नाराजगी
अंतररराष्ट्रीय स्तर पर भारत का नाम कई बार रौशन करने वाले पहलवान बजरंग पुनिया ने इस खबर को सुनने के बाद मीडिया से बात करते हुए कहा “मैं जानना चाहता हूँ कि यह (कुश्ती हटाने का) फैसला किस आधार पर लिया गया है। कुश्ती सबसे पुराने खेलों में से एक है। लगभग सभी देश हमारे इस खेल को खेलते हैं। मुझे ऐसा भी लगता है कि भारतीयों को निशाना बनाया जा रहा है। पहले उन्होंने शूटिंग हटाई और अब कुश्ती। यह फैसला न केवल दूसरे देशों के एथलीटों के खिलाफ है बल्कि स्पष्ट रूप से भारत के भी खिलाफ है क्योंकि भारतीय इसमें अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं।”
इसी तरह शॉटगन शूटर व खेल रत्न से सम्मानित विजेता रंजन सोढ़ी ने मीडिया में कहा, “यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि जिन दो खेलों में भारत का दबदबा रहा, उन्हें कॉमनवेल्थ गेम्स से हटाया जा रहा है।” उन्होंने कहा, “यूरोप के देश अभी भी ज्यादातर देशों को अपने से कमतर मानते हैं। वे ये नहीं समझना चाहते कि हमारे जैसे देश बेहतर हो सकते हैं और इसलिए वे इन खेलों को बाहर निकालने की कोशिश कर रहे हैं। आप क्या सोचते हैं कि 2022 बर्मिंघम खेलों से शूटिंग क्यों हटा ली? क्या आप वास्तव में मानते हैं कि ब्रिटेन जैसे अमीर देश के पास रेंज बनाने के लिए पर्याप्त पैसा नहीं है।”
Department of Sports has sought clarification from Indian Olympic Association as to who were present in the meeting & what was discussed & reasons for the removal of Shooting, Wrestling & Archery from the Commonwealth Games 2026: Union Min for Youth Affairs & Sports Anurag Thakur pic.twitter.com/V5CMJD0wqb
— ANI (@ANI) April 25, 2022
खेल विभाग ने माँगा IOA से जवाब
भारत के खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने भी कहा, “स्पोर्ट्स विभाग ने इंडियन ओलंपिक एसोसिएशन से जवाब माँगा है कि आखिर बैठक में कौन शामिल था और उसमें क्या चर्चा की गई और आखिर शूटिंग, कुश्ती और तीरअंदाजी को कॉमनवेल्थ गेम्स 2026 को किन कारणों से हटाया गया।” उनके अलावा हरियणा के राज्य मंत्री अनिल विज ने भी राष्ट्रमंडल खेलों से कुश्ती जैसे खेल बाहर किए जाने पर नाराजगी दिखाई और कहा, “हरियाणा की शान कुश्ती और तीरंदाजी को राष्ट्रमंडल खेलों से बाहर करना दुर्भाग्य पूर्ण । राष्ट्रमंडल खेल संघ को इस पर दुबारा विचार करना चाहिए ।”
हरियाणा की शान कुश्ती और तीरंदाजी को
— ANIL VIJ MINISTER HARYANA (@anilvijminister) April 14, 2022
राष्ट्रमंडल खेलों से बाहर करना दुर्भाग्य पूर्ण । राष्ट्रमंडल खेल संघ को इस पर दुबारा विचार करना चाहिए ।
इन 16 खेलों को किया गया शामिल
गौरतलब है कि साल 2026 में विक्टोरिया में होने वाले कॉमनवेल्थ गेम्स को लेकर कॉमनवेल्थ खेलों की आयोजन समिति ने प्रारंभिक सूची में जिन 16 खेलों को शामिल किया है उनमें एक्वेटिक्स, एथलेटिक्स, बैडमिंटन,मुक्केबाजी, बीच वॉलीबॉल, टी-20 क्रिकेट, साइकलिंग, जिमनास्टिक, हॉकी, लॉन बाउल, नेटबॉल, रग्बी, सेवन्स, स्क्वैश, टेबल टेनि, ट्रायथलॉन, वेटलिफ्टिंग जैसे खेलों को शामिल किया गया है। इस सूची से कुश्ती, तीरअंदाजी, शूटिंग गायब होने पर जहाँ भारतीय खिलाड़ियों से लेकर राजनेता तक नाराज हैं। वहीं कहा जा रहा है कि इस साल के अंत में कुल और खेलों को जोड़ा जाएगा। ऐसे में थोड़ी उम्मीद लगा सकते हैं कि ये इन खेलों के महासंघ के अनुरोध पर इन्हें भी कॉमनवेल्थ गेम्स में जगह मिले।
IOA ने जताई नाराजगी, सीजीएफ को पत्र
कुछ दिन पहले ही भारतीय कुश्ती महासंघ और भारतीय राष्ट्रीय राइफल संघ दोनों ने 2026 में अपने अपने खेलों को शामिल करने की कोशिश में आगे आने को कहा है। इसके अलावा भारतीय ओलंपिक संघ ने भी राष्ट्रमंडल खेल महासंघ से अगली बैठक में इस मुद्दे पर चर्चा करने को कहा है। आईओए महासचिव राजीव मेहता ने ऑस्ट्रेलिया में होने वाले खेलों को लेकर सीजीएफ अध्यक्ष लुईस मार्टिन को पत्र भी लिखा है। पत्र में कहा गया, “भारतीय राष्ट्रमंढल खेल संघ के लिए ये हैरानी वाली बात है कि इन तीनों खेलों को अनदेखा किया गया…हम अनुरोध करते हैं कि सीजीएफ की अगली आमसभा के एजेंडे में हमारे अनुरोध को शामिल किया जाए।”
@WeAreTeamIndia writes to Commonwealth Games Federation, ‘very strongly recommends’ inclusion of shooting, wrestling and archery in 2026 #CommonwealthGames pic.twitter.com/PPNTvyQMan
— Mihir Vasavda (@mihirsv) April 22, 2022