पूर्वी बेंगलुरु में पुल्केशी नगर के विधायक अखंड श्रीनिवास मूर्ति के एक रिश्तेदार नवीन पर आरोप लगा कि उसने पैगम्बर मुहम्मद को लेकर फेसबुक पोस्ट डाला है और इसके बाद संप्रदाय विशेष की हज़ारों की भीड़ ने दंगे व आगजनी की। पहले संप्रदाय विशेष की भीड़ में दंगाइयों की संख्या 100 बताई जा रही थी लेकिन ‘हिंदुस्तान टाइम्स’ ने एक प्रत्यक्षदर्शी के हवाले से दावा किया है कि वहाँ 50-60 हजार दंगाई रुके हुए थे।
अपडेट: हिंदुस्तान टाइम्स ने अपनी रिपोर्ट से 60000 वाली संप्रदाय विशेष की दंगाइयों की भीड़ की बात हटा दी है। लेकिन नीचे आप सिविल डिफेंस से जुड़े लड़के शरीफ का बयान सुन सकते हैं, जिसमें वो स्पष्ट यह कह रहे हैं कि भीड़ की संख्या लगभग 50-60 हजार थी।
#WATCH Bengaluru: Sharif, belonging to Civil Defence & an eye-witness to DJ Halli Police Station’s vandalisation, comes to record his statement; says, “We’re from Civil Defence & had come to protect Police. It was public’s fault. This (Police Station) is like my temple,my masjid” pic.twitter.com/XeVyaK5Z1O
— ANI (@ANI) August 12, 2020
विधायक के आवास और केजी हल्ली पुलिस थाने की संपत्ति को नुकसान पहुँचाया गया। मंगलवार (अगस्त 11, 2020) की रात भड़की इस हिंसा में संप्रदाय विशेष की भीड़ ने न सिर्फ विधायक बल्कि थाने की गाड़ियों को भी आग के हवाले कर दिया। डीजे हल्ली पुलिस स्टेशन पर भी हमला किया गया और शरीफ नाम का प्रत्यक्षदर्शी वहीं पर मौजूद था। उसने पुलिस में भी अपना बयान दर्ज कराया है। वो सिविल डिफेंस का सदस्य है, जो पुलिसकर्मियों को दंगाइयों से बचाने की कोशिश कर रहा था।
उसने स्पष्ट कहा है कि इस पूरे काण्ड में पुलिस की कोई गलती नहीं है बल्कि हिंसा कर रहे दंगाइयों ने सब कुछ किया। उसने कहा कि ये पुलिस थाना उसके लिए मंदिर-मस्जिद की तरह है और वो पुलिस का सहयोग करना चाहता है। अब तक इस मामले में 165 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है। दोनों पुलिस थानों में कर्फ्यू लगा दिया गया है। साथ ही पूरे बेंगलुरु में धारा-144 लागू कर दिया गया है।
उधर ‘न्यूज़ 18’ की एक खबर के अनुसार, पूरा पुल्केशी नगर विधानसभा क्षेत्र किसी युद्धस्थल की तरह दिख रहा है, जहाँ चीजें अस्त-व्यस्त पड़ी हुई हैं। कई गाड़ियों को आग के हवाले कर दिया गया, उसके मलबे पड़े हुए हैं। घरों की खिड़कियों के शीशे टूटे हुए हैं और दरवाजे क्षतिग्रस्त हैं। सूनी पड़ी सड़कों पर ईंट और पत्थर पड़े हुए हैं। पुलिस की फायरिंग में 3 लोगों के मारे जाने की ख़बर है।
बुधवार को भी तड़के सुबह तक दंगे जारी रहे और पुलिस से संघर्ष होता रहा। दलित कॉन्ग्रेस विधायक अखंड श्रीनिवास मूर्ति की बहन जयंती ने रोते हुए बताया कि जब ये सब हो रहा था तब वो लोग घर पर नहीं थे। उन्होंने कहा कि सांत्वना की बात ये है कि उनके भाई और परिवार के लोग सुरक्षित हैं। पुलिस थाने की दीवार पर अभी भी काले निशान दिख रहे हैं, जो जलाने के कारण आए हैं।
I request Sri @BSYBJP to confiscate and attach properties of the rioters and compensate losses to public property in same way as Sri @myogiadityanath govt did in UP.
— Tejasvi Surya (@Tejasvi_Surya) August 12, 2020
Bengaluru is known for its peace and harmonious society.
We must protect this strength of our city at all costs pic.twitter.com/KCeS7QGCce
कर्नाटक के गृह मंत्री बसवराज बोम्मई ने कहा है कि लूटपाट, दंगा और आगजनी- ये सब आपराधिक कृत्य हैं। उन्होंने कहा कि लोग कुछ भी कहना चाहते हों, कोई भी माँग उठाना चाहते हों, उन्हें ये सब क़ानूनी रूप दे करना चाहिए। उन्होंने कहा कि पुलिस को कार्रवाई के लिए खुली छूट दे दी गई है। उन्होंने आश्वस्त किया कि जिसने भी क़ानून को अपने हाथों में लिया है, उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। भाजपा सांसद तेजस्वी सूर्या ने दंगाइयों की संपत्ति जब्त करने की माँग की है।
पता चला है कि मुजम्मिल पाशा के साथ SDPI के दो और नेता साथ थे जो लगातार लोगों को भड़का रहे थे। उसके सहयोगी नेताओं जफ़र और खलील ने संप्रदाय विशेष की भीड़ को पत्थरबाजी करने और थाने के बाहर गाड़ियों को आग के हवाले करने के लिए भड़काया था। जहाँ पुलिस मुजम्मिल पाशा को गिरफ्तार करने में कामयाब रही है, वहीं बाकी 2 नेता फरार हो गए। सीसीटीवी फुटेज से भी इस मामले में बड़ा खुलासा हुआ है।