उत्तर प्रदेश के बिजनौर में पुलिस द्वारा एक मदरसे की छापेमारी में चौंकाने वाली बात सामने आई है। पुलिस ने मदरसे से अवैध हथियार और जिंदा कारतूस बरामद किए हैं। पुलिस ने मदरसा संचालक समेत 6 के खिलाफ मामला दर्ज कर आगे की कार्रवाई शुरू कर दी है। इस मदरसे में 25 बच्चे पढ़ते हैं। मदरसे से हथियारों की सप्लाई का खेल चलने की बात जान हर कोई हैरान है।
पुलिस को हथियार सप्लाई करने में इस्तेमाल होने वाली स्विफ्ट डिजायर गाड़ी भी मदरसे से मिली है जिस पर ‘शिवसेना’ लिखा है। मदरसे में हिकमत (हकीम द्वारा दवा देने) की आड़ में हथियार सप्लाई किए जाते थे। पुलिस ने मदरसा संचालक मुहम्मद साजिद समेत 6 आरोपितों को पकड़ा है।
रिपोर्ट्स के अनुसार, सभी आरोपितों से पूछताछ की जा रही है। सीओ अफजलगढ़ कृपाशंकर कन्नौजिया ने बुधवार (जुलाई 10, 2019) को पुलिस टीम के साथ शेरकोट में कंदला रोड स्थित मदरसा दारुल कुरान हमीद में छापेमारी की। मदरसे से 36 बोर का एक पिस्टल व आठ कारतूस, 315 बोर के तीन तमंचे व 32 कारतूस, 32 बोर का एक रिवॉल्वर व 16 कारतूस बरामद हुए।
पुलिस ने मदरसे से स्योहारा के मोहल्ला शेखान निवासी फईम अहमद, शेरकोट निवासी साजिद, धामपुर के मोहल्ला अफगान निवासी जफर इस्लाम, अफजलगढ़ के गाँव फतेहपुर जमाल निवासी सिकंदर अली, बिहार निवासी साबिर व शेरकोट निवासी अजीजुर्रहमान को दबोचा है।
इसके बाद मोहल्ला नोंदला में पुलिस ने आरिफ के मकान में छापा मारा। पुलिस का कहना है कि आरिफ तांत्रिक का काम भी करता है। बताया गया है कि मदरसे में एक सेफ में दवाइयों के डिब्बे रखे थे, इन्हीं में से हथियार मिले हैं। सीओ कृपा शंकर कनौजिया का कहना है कि पुलिस को सूचना मिली थी कि मदरसे में कुछ बाहरी लोगों का आना जाना है, इसी आधार पर छापेमारी की गई।
पुलिस सभी आरोपितों से पूछताछ में जुटी है। पुलिस के मुताबिक, मदरसे में हिकमत का काम होता है। माना जा रहा है कि हथियार खरीदने वाले ग्राहक मरीज बनकर ही मदरसे में आते थे। हिकमत की आड़ में हथियार बेचने व सप्लाई करने का काम मदरसे से किया जा रहा था। किसी को शक भी नहीं होता था कि दवाई लेने के नाम पर मदरसे में आया व्यक्ति हथियार लेकर जा रहा है। साजिद मदरसे का संचालक बताया जाता है।
मदरसे में पकड़ा गया साबिर बिहार का रहने वाला है। पुलिस का मानना है कि वह बिहार से हथियार लाकर सप्लाई करता था, किसी को शक न हो इसलिए गाड़ी पर शिवसेना लिख रखा था।
मदरसे में पकड़े गए आरोपितों का पुराना आपराधिक इतिहास भी बताया जा रहा है। पुलिस का मानना है कि एक आरोपित आगरा में हुई लूट में वांछित है। एक अन्य आरोपी देहरादून में एक व्यक्ति की गला काटकर हत्या करने का दोषी है। पुलिस का मानना है कि वारदातों को अंजाम देने के बाद सभी आरोपी मदरसे में आकर छिप जाते थे।