लोकसभा चुनाव 2024 से पहले कलकत्ता हाईकोर्ट के जस्टिस अभिजीत गंगोपाध्याय ने ऐलान किया है कि वो इस्तीफा दे देंगे। उन्होंने राजनीति में उतरने के संकेत दिए हैं। हालाँकि उन्होंने कहा है कि 4 मार्च को मेरे काम करने का आखिरी दिन होगा, तब तक वो पेंडिंग केस निपटाएँगे, इसके बाद आधिकारिक तौर पर वो राष्ट्रपति को अपना इस्तीफा भेज देंगे। उन्होंने साफ कह दिया है कि वो राजनीति में आने के बारे में सोच रहे हैं।
जस्टिस अभिजीत गंगोपाध्याय ने रविवार (3 मार्च, 2024) को इस्तीफे के बारे में एबीपी आनंदा से बातचीत के दौरान खुलासा किया। उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल में सत्ताधारी पार्टी तृणमूल कॉन्ग्रेस के नेता उन्हें बार बार चैलेंज कर रहे थे कि मैं राजनीतिक मैदान में आऊँ। ऐसे में मैंने सोचा कि क्यों न यही काम कर लिया जाए। अत: मैंने इस्तीफे का फैसला लिया है। मैं राष्ट्रपति को अपना इस्तीफा भेजूँगा।
जस्टिस अभिजीत गंगोपाध्याय ने कहा कि वो राजनीति में जाएँगे, लेकिन किस पार्टी में जाएँगे, इस बारे में घोषणा बाद में करेंगे। पहले मैं अपने सभी पेंडिंग केस निपटा लूँ, इसके बाद इस्तीफा दूँगा। हाँ, अघर कोई पार्टी में मुझे खुद से जोड़ती है, तो मैं उसके टिकट पर चुनाव भी लड़ूँगा, लेकिन अभी ये नहीं बता सकता कि मैं किसी पार्टी से लड़ूँगा।
जस्टिस अभिजीत गंगोपाध्याय के फैसले के ऐलान पर राज्य की राजनीति गरमा गई है। गंगोपाध्याय ने राजनीतिक दलों से ऑफर मिलने पर विचार की बात कही है। जब जस्टिस गंगोपाध्याय से इस्तीफे का कारण पूछा गया तो उन्होंने कहा कि मौजूदा सत्ताधारी पार्टी के कई लोगों ने मुझे चुनौती दी है। उन्होंने मुझे यह निर्णय लेने के लिए मजबूर किया। मैं इसके लिए सत्तारूढ़ दल (टीएमसी) को बधाई देना चाहता हूँ कि उनकी वजह से मुझे ये फैसला लेना पड़ा।
जस्टिस गंगोपाध्याय के राजनीति में उतने के ऐलान पर टीएमसी ने हमला बोला है। टीएमसी ने कहा कि उसके आरोप सही हैं कि गंगोपाध्याय राजनीतिक दल के कार्यकर्ता की तरह काम कर रहे थे। वहीं, कॉन्ग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि उनके इस्तीफे का स्वागत करते हुए उन्हें योद्धा कहा उन्हें कॉन्ग्रेस पार्टी से जोड़ने का ऑफर भी दिया है। वो पहले बयान दे चुके हैं कि गंगोपाध्याय में पश्चिम बंगाल को चलाने का माद्दा है और उन्हें राज्य का मुख्यमंत्री बनना चाहिए।
बता दें कि जस्टिस अभिजीत गंगोपाध्याय 2018 में कलकत्ता हाई कोर्ट के जस्टिस बने थे और वो अगस्त 2024 में रिटायर होने वाले थे। अपने रिटायरमेंट से 5 महीने पहले ही उन्होंने ऐलान कर दिया है कि वो अब हाई कोर्ट को छोड़ रहे हैं और अब वो चुनाव के मैदान में उतरेंगे।