रांची में खूंटी सायको थाना क्षेत्र के आड़ा गाँव में शुक्रवार (18 अक्टूबर) को अज्ञात नक़ाबपोशों ने कुड़ापूर्ति पंचायत के उप-मुखिया शीतल मुंडा और उनकी पत्नी मादे मुंडाइन की गोली मारकर हत्या कर दी। नक़ाबपोश हत्यारों ने उनके घर में घुसते ही कुर्सी पर बैठे शीतल मुंडा पर गोलियों की बौछार कर दी। इस दौरान तीन गोलियाँ शीतल मुंडा के पेट में लगी और एक गोली छाती में लगी। हत्यारों ने उनकी पत्नी की कनपटी में भी एक गोली मारी।
ख़बर के अनुसार, शीतल मुंडा भाजपा के सक्रिय कार्यकर्ता थे और अपने गाँव में बूथ अध्यक्ष के पद पर थे। रात लगभग 9:30 बजे शीतल मुंडा खाना खाने के बाद अपने घर में बैठे हुए थे, उसी दौरान तीन अपराधी उनके घर में घुसे। तीनों ने एक जैसी वर्दी पहन रखी थी और अपना चेहरा ढक रखा था। घर में घुसते ही अपराधियों ने शीतल मुंडा को गोली मार दी। यह देख कर उनकी पत्नी डर गईं और ख़ुद को अंदर के कमरे में बंद कर लिया, लेकिन अपराधियों ने जबरन दरवाज़ा खोलकर उन्हें भी गोली मार दी।
वारदात के समय शीतल मुंडा की छोटी बेटी वहीं मौजूद थीं। उसने नक़ाबपोश हत्यारों से सवाल किया, “मेरे माता-पिता को क्यों मारा?” इस पर हत्यारों ने जबाव दिया कि शीतल मुंडा ने दो साल पहले एक तालाब बनवाया था, जिसमें उसने पैसे नहीं दिए थे। इतना ही नहीं, उन्होंने घर में रखी अटैची और बक्सों की तलाशी भी ली, इसके बाद वो वहाँ से भाग निकले।
ग्रामीणों को इस घटना की जानकारी रात में ही मिल गई थी, लेकिन दहशत के चलते कोई अपने घर से बाहर नहीं निकला और न ही घटना की सूचना पुलिस को दी। पुलिस को इस घटना की सूचना शनिवार (19 अक्टूबर) को सुबह दी गई।
सूचना मिलने पर एसपी आशुतोष शेखर, एएसपी अनुराग राज और सोयको थाना प्रभारी ने घटना-स्थल पर पहुँचे। इसके अलावा, भाजपा के जिलाध्यक्ष काशीनाथ महतो भी घटनास्थल पर पहुँचे। फ़िलहाल, पुलिस ने शव को क़ब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया गया है। संदेह जताया जा रहा है कि लेवी के कारण शीतल मुंडा की हत्या की गई है।
मौक़े पर पहुँचे भाजपा जिलाध्यक्ष काशीनाथ महतो ने कहा कि शीतल मुंडा पार्टी के सक्रिय कार्यकर्ता थे, वो एक मिलनसार व्यक्ति थे, किसी से उनकी कोई दुश्मनी भी नहीं थी। इसके अलावा, घटना की जानकारी मिलने पर केंद्र सरकार में जनजातीय मामलों के मंत्री अर्जुन मुंडा और झारखंड सरकार के ग्रामीण विकास मंत्री नीलकंठ सिंह मुंडा पोस्टमार्टम हाउस पहुँचे और मृतक के परिजनों को सांत्वना दी।
हत्या की इस वारदात पर अर्जुन मुंडा ने कहा कि लगातार भाजपा कार्यकर्ताओं को निशाना बनाया जा रहा है। प्रशासन को इस हत्याकांड की तह तक जाना चाहिए और यह पता लगाना चाहिए कि इस तरह की घटनाओं के पीछे क्या कारण है, इसका ख़ुलासा किया जाना चाहिए।
बता दें कि शीतल मुंडा के तीन बच्चे हैं, जिसमें से बड़ी बेटी मुरहू स्थित कस्तूरबा आवासीय बालिका विद्यालय और बेटा कदमा में एक स्कूल में पढ़ता है और हॉस्टल में रहता है। वहीं, छोटी बेटी गाँव के ही स्कूल में पढ़ती है।
इससे पहले भी कई भाजपा नेताओं की हत्या हो चुकी है। 22 जुलाई को मुरहू के हेठगोवा में मागो मुंडा की हत्या, 25 मार्च 2017 को मुरहू के नंदकिशोर महतो की हत्या, 28 अक्तूबर 2017 को राजेंद्र महतो और दो दिसंबर 2017 को भईयाराम मुंडा की हत्या हुई। इसके अलावा भाजपा से जुड़े शशि पांडेय, रूपनारायण सिंह, संबल प्रधान, मंगल सिंह मुंडा, नरेश सिंह की भी हत्याएँ हो चुकी हैं।