Tuesday, November 19, 2024
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LAC पर तैनाती के लिए जा रहे भारतीय सैनिकों को देख शिमला में झूमे तिब्बती, देखें Video

अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी तिब्बती समुदाय के लोग भारत के सैनिकों और क्षेत्र में चीन की गुस्ताखी और विस्तारवादी नीतियों के खिलाफ डट कर खड़े होने के लिए पीएम मोदी के नेतृत्व की सराहना करते रहे हैं।

न्यूज़ एजेंसी एएनआई ने हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला में रहने वाले तिब्बती समुदाय के लोगों द्वारा भारतीय सेना का हौसलाअफ़जाई करते हुए एक वीडियो साझा किया है। LAC पर भारतीय सैनिकों द्वारा सुरक्षा करने के लिए तिब्बती समुदाय के सदस्यों ने उनका भारतीय झंडे, तिब्बती झंडे और सफेद स्कार्फ दिखाकर दिल खोलकर स्वागत किया।

इससे पहले भी इसी तरह का एक दृश्य जून के मध्य में भारतीय सेना और चीनी सैनिकों के बीच हुई झड़पों के बाद मनाली में देखने को मिला था।

बता दें अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी तिब्बती समुदाय के लोग भारत के सैनिकों और क्षेत्र में चीन की गुस्ताखी और विस्तारवादी नीतियों के खिलाफ डट कर खड़े होने के लिए पीएम मोदी के नेतृत्व की सराहना करते रहे हैं। इससे पहले निर्वासित तिब्बती सरकार (जिसका मुख्यालय हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला में है) ने भारत सरकार से अपने मातृभूमि तिब्बत पर चीन अधिपत्य को लेकर आवाज उठाने का आग्रह भी किया था।

लद्दाख क्षेत्र में चीन के साथ बढ़ते तनाव के बीच पैंगोंग त्सो के दक्षिणी तट पर आक्रामकता दिखा रहे चीन को सबक सिखाने के लिए भारतीय जांबाज मुस्तैद हैं। रिपोर्ट के अनुसार भारतीय सशस्त्र बलों ने पूर्वी लद्दाख में चुशुल सेक्टर के आसपास उत्तरी तट और पैंगोंग त्सो झील के दक्षिणी तट पर वास्तविक सामरिक नियंत्रण रेखा (LAC) और आसपास इलाकों पर सफलतापूर्वक नियंत्रण कर लिया है।

भारतीय अधिकारियों ने कहा है कि भारत सीमा के तहत चीन द्वारा की जा रही गुस्ताखी और चालबाजी को विफल करने के लिए सख्त कार्रवाई की आवश्यकता थी। साथ ही भारतीय सेना ने 30 अगस्त को विशेष फ्रंटियर फोर्स यूनिट की सहायता से दक्षिणी तट पैंगोंग त्सो और छोटी स्पैंग्गुर झील के बीच दक्षिण में स्थित ऊँचाइयों पर कब्जा कर लिया था।

यह भी बताया गया था कि 2 सितंबर को भारतीय सशस्त्र बलों ने पैंगोंग त्सो झील के उत्तरी किनारे पर महत्वपूर्ण सामरिक ऊँचाइयों को भी अपने नियंत्रण में कर लिया है।

उल्लेखनीय है कि जनरल बिपिन रावत ने गुरुवार को पाकिस्तान के मंसूबों को लेकर भी आगाह किया था। उन्होंने कहा कि हम सीमा पर शांति चाहते हैं। पर चीन की उकसावे वाली कार्रवाईयों से निपटने में सक्षम हैं। हमारे तीनों अंग (थल सेना, वायु सेना और जल सेना) खतरों से निपटने में समर्थ हैं।

भारत-अमेरिका रणनीति साझेदारी मंच से जनरल रावत ने पाकिस्तान की तरफ से की जा रही नापाक कोशिशों के बारे में बताते हुए कहा था, “पाकिस्तान ने भारत के खिलाफ प्रॉक्सी वॉर (छद्म युद्ध) छेड़ा हुआ है। वह जम्मू-कश्मीर में आतंकियों की घुसपैठ के अलावा भारत के अन्य हिस्सों में आतंकवाद फैलाने की कोशिश कर रहा है। वह उत्तरी सीमा पर हमारे लिए कुछ मुश्किल खड़ा करना चाहता है, लेकिन वह इसमें नाकाम होगा और उसे भारी नुकसान झेलना पड़ेगा।”

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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