1993 मुंबई बम धमाका मामलों में सजा पाए हुए मोहम्मद अली खान उर्फ़ मुन्ना उर्फ़ भंवरलाल गुप्ता की साथी कैदियों ने हत्या कर दी। वह महाराष्ट्र के कोल्हापुर की कलाम्बा सेंट्रल जेल में बंद था। उसे साथी कैदियों ने पीट पीट कर मार दिया।
जानकारी के अनुसार, कलाम्बा जेल में सुबह कैदियों की गिनती के बाद नहाने के दौरान यह घटना हुई। मोहम्मद अली खान जब सुबह नहाने गया तो यहाँ उसकी साथी कैदियों से बहस हो गई, इसके बाद साथी कैदियों ने उस पर हमला किया। उससे मारपीट के बाद एक कैदी ने पास ही में नाली के ढक्कन से पीटना चालू कर दिया। यह ढक्कन उसके सर पर मारा गया जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया, इसके बाद उसे अस्पताल में भर्ती करवाया गया जहाँ उसकी मौत हो गई।
मोहम्मद अली खान जेल के सर्कल 2 की बैरक 4 में बंद था। बताया गया कि नहाने को लेकर झगड़े से पहले उसका बैरक के अंदर इन्हीं हमलावरों से विवाद हुआ था। इसके बाद जब यह बाहर पहुँचा तो फिर से उसकी कहासुनी हुई और विवाद हो गया जिसके बाद यह हत्या हुई। मोहम्मद अली खान पर हत्या करने वालों के नाम प्रतीक उर्फ़ सुरेश पाटिल, दीपक नेताजी, संदीप शंकर चव्हाण, ऋतुराज विनायक इनामदार और सौरभ विकास हैं।
कोल्हापुर के एसपी महेंद्र पंडित ने इस मामले में बताया कि इन हमलावरों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज किया जा रहा है। उन्होंने बताया, “मोहम्मद अली गुस्सैल स्वभाव का था और छोटी-छोटी बातों पर आरोपितों से झगड़ा करता था। पुराना कैदी होने के कारण वह बाकी कैदियों पर हुक्म चलाता था था और अगर उसकी बात नहीं मानते थे तो गाली-गलौज करता था। मैंने जेल का दौरा किया और आरोपितों से उस झगड़े के बारे में पूछताछ की जिसके कारण मुन्ना की मौत हुई।” पुलिस अब इस मामले में जाँच जारी है।
बताया गया कि मोहम्मद अली खान उर्फ़ मुन्ना मुर्फ़ भंवर लाल गुप्ता 1993 के बम धमाकों में हथियार और RDX सप्लाई करने के मामले में दोषी पाया गया था और इसे उम्रकैद की सजा सुनाई गई थी। वह 2013 में कलाम्बा जेल में लाया गया था। इससे पहले वह मुंबई की आर्थर रोड जेल में बंद था।