दरभंगा रेलवे स्टेशन पर पार्सल ब्लास्ट मामले में हैदराबाद से गिरफ्तार दोनों संदिग्ध आतंकियों को पटना ले आया गया है। दोनों पर लश्कर-ए-तैयबा से जुड़कर देश के खिलाफ आतंकी साजिश रचने का आरोप हैं। नासिर मलिक और इमरान मलिक नाम के इन्हीं दो भाइयों ने ट्रेन में केमिकल बम रखा था। अब पटना लाकर NIA इन्हें कोर्ट में पेश करेगी।
जानकारी के मुताबिक, आतंकवादियों को इंडिगो के विमान संख्या 6E982 से पटना लाया गया है। इन्हें लेकर एनआईए की टीम 11:20 मिनट पर पटना एयरपोर्ट पहुँची। इससे पहले एयरपोर्ट पर वहाँ की पूरी तरह सुरक्षा बढ़ा दी गई थी। इस दौरान बिहार एटीएस की टीम भी पटना एयरपोर्ट पर थी। बताया जा रहा कि एटीएस की टीम अब एनआईए को दरभंगा पार्सल बम ब्लास्ट मामले में सहयोग करेगी।
उल्लेखनीय है कि इससे पहले एनआईए (NIA) की प्रवक्ता जया राय ने बताया कि 17 जून को दरभंगा रेलवे स्टेशन के प्लेटफॉर्म नंबर 1 पर पार्सल में विस्फोट हुआ था। जाँच के दौरान पुलिस को केमिकल ब्लास्ट का शक हुआ क्योंकि मौका ए वारदात पर केमिकल की बोतल भी बरामद हुई थी। इस मामले में 24 जून को एनआईए ने जाँच शुरू की थी। (जिसके बाद दो लोग गिरफ्तार हुए।) इमरान मलिक और मोहम्मद नासिर खान से शुरुआती पूछताछ में चौंकाने वाला खुलासा करते हुए बताया कि उन्होंने लोकल केमिकल का इस्तेमाल कर आईईडी तैयार किया था।
जाँच में NIA को पता चला कि दोनों आतंकी लश्कर-ए-तैयबा से जुड़े हुए हैं। ये लोग देश में और भी आतंकी घटनाओं को अंजाम देने की साजिश की फिराक में थे। NIA के मुताबिक, ये दोनों पाकिस्तान में बैठे अपने आका के आदेश पर हिंदुस्तान में आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने में जुटे थे। पूरी साजिश पाकिस्तान में मौजूद आतंकी संगठन लश्कर ए तैयबा के इशारे पर रची गई थी।
गिरफ्तार आरोपित मोहम्मद नासिर खान और उसके भाई इमरान मलिक ने खुद ये आईईडी बम बनाया था। बाद में इन्होंने उस बम को कपड़े के एक पार्सल में पैक किया, जिसे सिकंदराबाद से दरभंगा तक लंबी दूरी तय करने वाली ट्रेन में रखा गया। इनका मकसद था एक चलती हुई यात्री ट्रेन में विस्फोट करना – जैसा 2006 में मुंबई की लोकल ट्रेनों में किया गया था। गिरफ्तार आरोपित मोहम्मद नासिर खान ने वर्ष 2012 में पाकिस्तान का दौरा किया था और वहीं केमिकल बम बनाना सीखा था।
अब उसी तकनीक के जरिए ये आतंकी चलती ट्रेन में भी बड़ी वारदात को अंजाम देना चाहते थे, लेकिन उनके मंसूबे नाकामयाब रह गए और अब उनकी गिरफ्तारी भी हो गई है। जाँच में यह बात भी सामने आई है कि दोनों भाई अपने हैंडलर से बात करने के लिए सुरक्षित संचार माध्यमों का इस्तेमाल कर रहे थे। नासिर और इमरान दराबाद के नामपल्लई में रहते थे पर दोनों मूलत: उत्तर प्रदेश के शामली के हैं।