राजस्थान का एक अंतरधार्मिक जोड़ा 20 जून को आर्य समाज मंदिर में एक-दूसरे से शादी करने के बाद सुरक्षा माँगने के लिए 23 जून को अजमेर में कलेक्ट्रेट गया। लड़की के माता-पिता, जो कि मुस्लिम समुदाय से हैं, मकराना पुलिस के अधिकारियों के साथ अजमेर कलेक्ट्रेट पहुँचे और जबरदस्ती दंपति को अलग कर दिया।
18 जून को लड़की के कथित तौर पर लापता होने के बाद यह घटना सामने आई। माता-पिता ने दावा किया कि उनकी बेटी नाबालिग थी और राजस्थान के अजमेर जिले के किशनगढ़ नगरपालिका में सफाई कर्मचारी के रूप में काम करने वाले दलित हिंदू लड़के ने उसे शादी का लालच दिया था।
दूसरी ओर, राजस्थान के नागौर जिले के मकराना कस्बे की रहने वाली लड़की ने दावा किया कि वह एक वयस्क है और उसने अपनी मर्जी से शादी की थी। उसने दावा किया कि उसके परिवार के सदस्य उसकी शादी के खिलाफ हैं और उसके पति के परिवार को हिंसा की धमकी देने की कोशिश कर रहे हैं। उसे डर था कि अंतरधार्मिक विवाह से नाराज उसके परिवार के सदस्य उसे और उसके पति को मार डालेंगे।
इस जोड़े ने जान के खतरे के डर से बुधवार (जून 23, 2021) को अजमेर में कलेक्ट्रेट के अंदर शरण ली थी। मगर लड़की के माता-पिता को उसके ठिकाने के बारे में पता चल गया। वे मकराना पुलिस अधिकारियों के साथ कलेक्ट्रेट पहुँचे और जिला कार्यालय के अंदर हँगामा करने लगे। पुलिस और लड़की के परिवार ने दावा किया कि उनके पास ऐसे दस्तावेज हैं, जो साबित करते हैं कि लड़की नाबालिग है। उन्होंने युवक पर नाबालिग लड़की को शादी के लिए फुसलाने का आरोप लगाया।
राजस्थान पुलिस ने दंपति को किया गिरफ्तार
दूसरी ओर, लड़की ने दावा किया कि वह नाबालिग नहीं है और उसने अपनी मर्जी से दलित युवक से शादी की थी। इसके बाद लड़की और उसके माता-पिता के बीच कहासुनी मारपीट में बदल गई। इसके बाद लड़की के परिवार वालों ने मकराना पुलिस अधिकारियों की मदद से लड़की को अपनी ओर खींचना शुरू कर दिया, जबकि लड़की मना करती रही। उसने चिल्लाना शुरू कर दिया और अपने माता-पिता के साथ जाने पर आपत्ति जताई। हालाँकि मकराना पुलिस ने दंपति पर काबू पाने में कामयाबी हासिल की। उन्हें कलेक्ट्रेट से बाहर खींच कर गिरफ्तार कर लिया, जबकि अजमेर के कलेक्टर कार्यालय के अंदर से अधिकारी ड्रामा देखते रहे।
रिपोर्ट्स के मुताबिक, मुस्लिम लड़की को उसके पति से अलग होने के बाद बाल कल्याण समिति के सामने पेश किया गया, जिसने उसे नागौर के सावित्री बाई फुले गर्ल्स हॉस्टल भेज दिया। दलित युवक को गिरफ्तार कर एक दिन के रिमांड पर लिया गया। बाल कल्याण समिति 28 जून को मामले की सुनवाई करेगी।