कॉन्ग्रेस शासित राज्य राजस्थान से हिंदू भावनाओं को ठेस पहुँचाने वाले एक मामले ने तूल पकड़ा है। बताया जा रहा है कि राज्य के एक आरपीएस अधिकारी ने अपने सोशल मीडिया हैंडल से हिंदू धर्म को लेकर विवादित पोस्ट किए हैं। इस दौरान उन्होंने रामायण और महाभारत जैसे पवित्र महाग्रंथों को भी मिथक यानि काल्पनिक बता दिया।
प्राप्त जानकारियों के मुताबिक आरपीएस अफसर हरि चारण मीणा (Hari Charan Meena) ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर पोस्ट करते हुए लिखा, “अगर किसी को लगता है तो वो बिना पंख के बंदर और भालू को उड़ा सकता है तो आज भी कोई कोर्ट के सामने उड़ा कर दिखाए। पूरा देश देखने को तैयार है।” उसने अपनी एक पोस्ट में संत कबीर के दोहों का भी जिक्र किया।
मीणा ने रामायण और महाभारत को लेकर लिखा, “रामायण और महाभारत केवल मिथकीय ग्रंथ हैं। इतिहास में उनकी प्रामाणिकता स्वीकार नहीं। ये मैं नहीं कहता, भारत के इतिहास में लिखा है।” अपनी पोस्ट में उन्होंने यह भी कहा कि माफी नहीं कोर्ट में लड़कर जवाब दो।
आरपीएस मीणा ने एक पोस्ट में महाराजा जयसिंह द्वितीय मुगलों का नौकर तक लिख दिया। उसने इस पोस्ट में लिखा, “अपने चारण, भाट, दरवारी, इतिहास लेखकों ने तो महाराजा जयसिंह द्वितीय ही बताया है। अब काबुल के शिलालेख मुगल बाबर के वंशजों का नौकर बताएँ तो हम क्या करें ? हम देश के साथ हैं।”
उन्होंने अपनी एक ओर पोस्ट में आर्य समाज को निशाना बनाया। इसमें आरपीएस ने लिखा, “जब आर्य संस्कृति का उत्तर भारत से दक्षिण में गमन हुआ तो वहाँ के आदिवासी राजाओं, योद्धाओं बाली, सुग्रीव, जावमंत, हनुमान जैसों को बंदर, भालू के समान दर्जा दिया गया था।”
एक अन्य पोस्ट में आरपीएस मीणा ने लिखा, “राजाराम मोहन राय, स्वामी विवेकानंद, स्वामी दयानंद सरस्वती, ज्योतिवा राव फुले, स्वात्री बाई, भगत सिंह और अंबेडकर जी का मैं खुला समर्थन करता हूँ।”
पहले पिंटू मीणा ने पुजारी को बताया नास्तिक
गौरतलब है कि आरपीएस अफसर हरि चारण मीणा से पहले AAO पिंटू मीणा ने एक विवादित पोस्ट की थी। उस पोस्ट में उन्होंने लिखा, “दुनिया का सबसे बड़ा नास्तिक पुजारी होता है, जो मंदिर में रखी दानपेटी को कभी भगवान के भरोसे नहीं छोड़ता है।” वहीं मंत्री मुरारीलाल मीणा के विशिष्ट सहायक लक्ष्मीकांत बालोत भी विवादित पोस्ट कर चुके हैं।