Friday, September 13, 2024
Homeराजनीतिबांग्लादेश में तख्तापलट का फायदा मुस्लिम घुसपैठियों को, 1 महीने में 35 पकड़ाए: संघर्ष...

बांग्लादेश में तख्तापलट का फायदा मुस्लिम घुसपैठियों को, 1 महीने में 35 पकड़ाए: संघर्ष कर रहे हिंदुओं पर बोले असम के CM- हिंदू होते हैं मातृभूमि के भक्त

सीएम सरमा ने शनिवार को कहा, "आज ही हमने करीमगंज में 2 लोगों को गिरफ्तार किया और उन्हें वापस भेजा। वे हिंदू नहीं थे।" उन्होंने बताया कि बांग्लादेशी मुस्लिम असम के जरिए कर्नाटक की राजधानी बेंगलुरु और तमिलनाडु के शहर कोयंबटूर जाना चाहते हैं। ये घुसपैठिए माधोपुर (बीडी)-अगरतला रूट के जरिए भी असम में घुस रहे हैं। असम पुलिस ने बदरपुर रेलवे स्टेशन दोनों पकड़ा है। 

असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने शनिवार (24 अगस्त 2024) को कहा कि बांग्लादेश में तख्ता पलट के बाद वहाँ के हिंदू लड़ रहे हैं, जबकि मुस्लिम भागकर भारत में घुसपैठ कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि पिछले एक महीने में 35 बांग्लादेशी मुस्लिम घुसपैठियों को गिरफ्तार किया गया है। सीएम सरमा का कहना है कि पिछले एक महीने में बांग्लादेश से एक भी हिंदू भारत नहीं आया।

हिमंता सरमा ने कहा कि जिन 35 बांग्लादेशियों को गिरफ्तार किया है, उनके पास पासपोर्ट नहीं है। वे सब भारत के असम राज्य में अवैध रूप से घुसे थे। उन्होंने कहा कि हाल ही में असम के करीमगंज में दो लोगों को गिरफ्तार किया गया और उन्हें वापस भेज दिया गया। सरमा के अनुसार, “वहाँ की हिंदू कम्यूनिटी भारत आने की कोशिश नहीं कर रही है, मुस्लिम यहाँ आने की लगातार कोशिश कर रहे हैं।”

सीएम सरमा ने शनिवार को कहा, “आज ही हमने करीमगंज में 2 लोगों को गिरफ्तार किया और उन्हें वापस भेजा। वे हिंदू नहीं थे।” उन्होंने बताया कि बांग्लादेशी मुस्लिम असम के जरिए कर्नाटक की राजधानी बेंगलुरु और तमिलनाडु के शहर कोयंबटूर जाना चाहते हैं। ये घुसपैठिए माधोपुर (बीडी)-अगरतला रूट के जरिए भी असम में घुस रहे हैं। असम पुलिस ने बदरपुर रेलवे स्टेशन दोनों पकड़ा है। 

हिमंता सरमा ने कहा कि करीमगंज में पकड़ाए दोनों बांग्लादेशी भी बेंगलुरु और कोयंबटूर की टैक्सटाइल इंडस्ट्रीज में नौकरी करना चाहते थे। उनकी पहचान मासूम खान और सोनिया अख्तर के रूप में हुई है। मासूम बांग्लादेश के मॉडलगंज पुलिस स्टेशन इलाके का रहने वाला है। वहीं, सोनिया ढाका की रहने वाली है। दोनों अगरतला रूट से असम आए थे।

असम के मुख्यमंत्री ने कहा है कि अगर बांग्लादेश के हिंदू भारत आना चाहते तो वे बँटवारे के समय ही आ जाते। वे बांग्लादेश को अपनी मातृभूमि मानते हैं, इसलिए वे नहीं आए। हिमंता सरमा ने आगे कहा, “हमें उनका सम्मान करना चाहिए। हमने प्रधानमंत्री मोदी से कहा है कि वे बांग्लादेश सरकार से हिंदुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने का दबाव डालें।”

बता दें कि बांग्लादेश में 5 अगस्त 2024 को तख्ता पलट हुआ था। आरक्षण खत्म करने की माँग को लेकर शुरू हुआ प्रदर्शन हिंसक हो और कट्टरपंथियों के हाथ में चला गया था। इसके बाद शेख हसीना ने प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देकर बांग्लादेश छोड़ दिया था। इसके बाद वहाँ के अल्पसंख्यक हिंदुओं के घरों-दुकानों एवं मंदिरों पर हमले हुए। कई लोगों की हत्या कर दी गई।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

पश्चिम बंगाल की दुर्गा पूजा को भी लगी बांग्लादेश की नजर, शेख हसीना की ‘हिल्सा कूटनीति’ पर लगाया विराम: बंगाली हिंदू पारंपरिक भोज के...

बांग्लादेश की अंतरिम सरकार में पशु संसाधन मंत्रालय की सलाहकार फरीदा अख्तर ने हिल्सा की बढ़ती घरेलू माँग का हवाला देते हुए इस माँग को खारिज कर दिया।

शराब घोटाले में जमानत तो मिल गई पर CM ऑफिस नहीं जा सकते हैं अरविंद केजरीवाल, फाइल पर साइन करने की इजाजत भी नहीं:...

सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस उज्जल भुइयाँ की बेंच ने यह फैसला सुनाया। केजरीवाल ने जमानत की याचिका दायर करते हुए अपनी गिरफ्तारी को भी चुनौती दी थी।

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -