भाजपा के वरिष्ठ नेता और असम सरकार में शिक्षा, स्वास्थ्य एवं वित्त मंत्री हिमंत बिस्वा सरमा (Himanta Biswa Sarma) ने रविवार (अक्टूबर 11, 2020) को कहा कि अगर उनकी पार्टी 2021 के विधानसभा चुनाव के बाद सत्ता में आती है तो राज्य सरकार ‘लव जिहाद’ के खिलाफ ‘कठोर लड़ाई’ शुरू करेगी।
If ‘Ajmal’s army’ touches our women, punishment for them will be death sentence: Assam minister on love jihad.https://t.co/yXItYohfqC
— TIMES NOW (@TimesNow) October 12, 2020
असम में विधानसभा चुनाव अगले साल मार्च-अप्रैल में प्रस्तावित है। डिब्रूगढ़ में भाजपा महिला मोर्चा की एक बैठक में उन्होंने कहा, ‘‘हमें असम की जमीन पर लव जिहाद के खिलाफ एक नई और कड़ी लड़ाई शुरू करनी होगी। अगर भाजपा दोबारा सत्ता में आती है तो हम यह निर्णय लेंगे कि अगर कोई भी लड़का धार्मिक पहचान छुपाता है और असम की बेटियों और महिलाओं पर कुछ भी नकारात्मक टिप्पणी करता है तो उसे कड़ी सजा मिले।”
हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा, ‘‘लव जिहाद ने असम की बेटियों के लिए पहाड़ जैसी बड़ी समस्या खड़ी की है। कई लड़कियों की तो तलाक की नौबत आ गई क्योंकि उन्हें गलत नाम बताकर लड़कों ने धोखा दिया।”
बैठक के दौरान ऑल इंडिया यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट (AIUDF) के प्रमुख बदरुद्दीन अजमल पर निशाना साधते हुए हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा कि ‘अजमल की सेना’ के पुरुष अपनी धार्मिक पहचान छिपाकर सोशल मीडिया पर लड़कियों से दोस्ती कर रहे हैं और फिर उनसे शादी कर रहे हैं।
यह दावा करते हुए कि फेसबुक पर अन्य धर्मों की लड़कियाँ ‘अजमल की संस्कृति-सभ्यता’ का शिकार हो रही हैं, उन्होंने कहा, “हमने शपथ ली है कि अगर अजमल की सेना हमारी महिलाओं को छूती है, तो उनके लिए एकमात्र सजा मौत की सजा होगी, इससे कम कुछ भी नहीं।” हम ऐसे संकल्प के साथ काम कर रहे हैं।”
उल्लेखनीय है कि पूरे देश भर में लव जिहाद के ऐसे तमाम मामले सामने आ चुके हैं जिनमें हिंदू लड़कियों को प्रेम के जाल में फँसा कर पहले उनका धर्म परिवर्तन करवाया गया, उनसे निकाह किया गया और फिर या तो उन्हें मार दिया गया या उन्हें साथ रख कर प्रताड़ित किया जाता रहा।
लव जिहाद कोई काल्पनिक संकल्पना नहीं है बल्कि वास्तव में कट्टरपंथियों की रची गई साजिश का हिस्सा है, जो आज हिंदू समाज के लिए नासूर बन गई है और न जाने कितनी हिंदू लड़कियों की जिंदगी तबाह कर रही है।