बिहार में शराबबंदी पूरी तरह फेल होने के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) अपना आपा खो बैठे। शराबबंदी के बाद बिहार में जहरीली शराब पीने से लोगों की लगातार मौत हो रही है। सारण में 38 लोगों की मौत पर नीतीश कुमार ने कहा कि जो नकली शराब पीएगा, वो मरेगा ही।
जहरीली शराब पीने से हो रही मौतों को लेकर राज्य की विपक्षी दल भाजपा (BJP) जदयू-राजद (JDU-RJD) गठबंधन सरकार को घेर रही है। यह मुद्दा विधानसभा में भी विपक्ष ने जोर-शोर से उठाया। विपक्ष के सवालों से नीतीश कुमार गुस्सा हो गए। उन्होंने मीडिया से भी कहा कि जो पीएगा, वो मरेगा ही। लोगों को सचेत रहना चाहिए।
जहरीली शराबकांड पर सीएम नीतीश का बयान। कहा- जो पीएगा वो मरेगा pic.twitter.com/TfojnINN5K
— News18 Bihar (@News18Bihar) December 15, 2022
नीतीश कुमार ने कहा, “क्या कर सकते हैं? कुछ लोग गलती करते ही हैं। जो नकली शराब पीएगा, वो मरेगा। बिहार में तो शराबबंदी है तो कुछ गड़बड़ बेचेगा ही। पिछली बार भी जहरीली शराब पीने से मौत हुई तो लोगों ने कहा कि इनको क्षतिपूर्ति मिलनी चाहिए। मैं कहा कि वाह, जो शराब पीएगा वो तो मरेगा ही। ये तो उदाहरण ही सामने है।”
हालाँकि, इस दौरान नीतीश कुमार पीने वालों पर दोष मढ़कर और खुद को समाज सुधारक साबित करने की कोशिश करते रहे, लेकिन ये नहीं बताया कि बिहार में जहरीली शराब बिक कैसे रही है। उन्होंने राज्य की कानून-व्यवस्था और शराब तस्करों से पुलिसकर्मियों की मिलीभगत पर एक शब्द नहीं बोला।
नीतीश कुमार ने आगे कहा, “मैंने अधिकारियों से कहा है कि गरीब लोगों को ना पकड़े। जो लोग इस व्यवसाय में शामिल हैं, उन्हें पकड़े। शराबबंदी कानून से कई लोगों को फायदा हुआ है। उन्होंने शराब पीनी छोड़ दी।” उन्होंने कहा कि शराब से जुड़े व्यवसाय नहीं करनी चाहिए। इसके बदले लोग दूसरा व्यवसाय करें। इसके लिए सरकार एक लाख रुपए तक की मदद देने को तैयार है।
बता दें कि बिहार के सारण जिले के इसुआपुर और मशरख में जहरीली शराब पीने से अभी तक 38 लोगों की मौत हो गई है। वहीं, अभी कई लोग अस्पतालों में भर्ती है। इनमें से कई की हालत गंभीर बताई जा रही है। मृतकों के परिजनों का कहना है कि मौत जहरीली शराब के कारण हुई है। हालाँकि, प्रशासन इस पर चुप्पी साधे हुए हैं।
बता दें कि बिहार में जहरीली शराब पीने से मौत का यह पहला मामला नहीं है। इससे पहले सारण में ही जहरीली शराब पीने से कई लोगों की मौत हो गई थी। इसके बाद वैशाली में भी ऐसी ही घटना सामने आई थी। बिहार में शराबबंदी भले लागू है, लेकिन शराब आसानी से उपलब्ध है। वहीं, राज्य में जहरीली शराब बनाने वालों का गैंग भी सक्रिय है।