दिल्ली में शराब (दारू) घोटाले को लेकर सीबीआई की जाँच में घिरे उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया को असम के कामरूप की सीजेएम कोर्ट ने समन भेजकर 29 सितंबर, 2022 को हाजिर होने को कहा है। मानहानि का यह पूरा मामला असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा से जुड़ा है।
In a press conference in Delhi a few months ago, AAP leader & Delhi Deputy Chief Minister alleged that Assam government had given contracts to Himanta Biswa Sarma’s wife’s firms & son’s business partner to supply PPE kits above market rates during Covid-19 pandemic in 2020.
— ANI (@ANI) August 23, 2022
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, असम के CM हिमंत बिस्व सरमा ने दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के खिलाफ 30 जून को कामरूप (ग्रामीण) सीजेएम कोर्ट में आपराधिक मानहानि का केस दायर किया था। इसी संबंध में सीजेएम कोर्ट ने समन भेजकर मनीष सिसोदिया को तलब किया है।
बता दें कि आप नेता मनीष सिसोदिया ने दिल्ली में 4 जून, 2022 को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर आरोप लगाया था कि असम सरकार ने सीएम सरमा की पत्नी रिंकी भुइयां सरमा की कंपनी जेसीबी इंडस्ट्रीज व उनके बेटे के व्यावसायिक भागीदार को पीपीई किट की आपूर्ति का ठेका दिया था। उन्होंने दावा किया था कि कोरोना महामारी काल में 2020 में यह आपूर्ति पीपीई किट की बाजार दर से ज्यादा दाम पर की गई थी।
वहीं CM सरमा ने इन आरोपों को निराधार बताते हुए मनीष सिसोदिया के खिलाफ मुकदमा दर्ज करवाया था। इसके साथ ही सरमा ने अपने खिलाफ लगाए गए आरोपों के खिलाफ मनीष सिसोदिया से स्पष्टीकरण माँगा था लेकिन उन्हें कोई जवाब नहीं मिलने पर उन्होंने सिसोदिया के खिलाफ आपराधिक मानहानि का मामला दर्ज कराया।
गौरतलब है कि असम के मुख्यमंत्री से पहले उनकी पत्नी रिंकी भूइयां सरमा ने भी मनीष सिसोदिया के खिलाफ मानहानि का केस दर्ज कराया था। उन्होंने गुवाहाटी कामरूप सिविल जज की अदालत में मानहानि का सिविल केस दर्ज कराते हुए 100 करोड़ रुपए हर्जाने की माँग की है। रिंकी भूइंया और हिमंत बिस्वा सरमा ने सिसोदिया के आरोपों को खारिज करते हुए इन्हें झूठा बताया था। उन्होंने बताया था कि जेसीबी इंडस्ट्रीज ने राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन को ये पीपीई किट दान में दिए थे।