पंजाब में अगले साल विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। सभी राजनीतिक दल तैयारियों में जुट गए हैं। वहीं, आम आदमी पार्टी भी मैदान में उतर आई है, लेकिन पार्टी ने अभी तक मुख्यमंत्री पद के लिए उम्मीदवार के नाम की घोषणा नहीं की है। इससे पार्टी के विधायकों में खासा नाराजगी देखी जा रही है। मीडिया रिपोर्ट्स में तो यहाँ तक कयास लगाए जा रहे हैं कि पंजाब में आम आदमी पार्टी में एक और बगावत होने के आसार हैं।
दरसअल, मीडिया में ये कयास इसलिए लगाए जा रहे हैं, क्योंकि शनिवार (13 नवंबर 2021) को आम आदमी पार्टी की पंजाब इकाई ने चरणजीत सिंह चन्नी का विरोध करने के लिए एक कार्यक्रम रखा था, जिसमें ‘आप’ पार्टी के ही कई विधायक नहीं पहुँचे।
यहाँ तक की पार्टी के विधायकों के समर्थक तक इस कार्यक्रम में नहीं आए। ऐसे में यह माना जा रहा है कि अगर पार्टी ने जल्द ही मुख्यमंत्री को लेकर अपने पत्ते नहीं खोले तो कुछ और विधायक केजरीवाल का साथ छोड़ सकते हैं। इससे पहले भगवंत सिंह मान को अब तक मुख्यमंत्री पद का प्रत्याशी घोषित न करने से नाराज पार्टी विधायक रूपिंदर कौर रूबी के पार्टी छोड़ चुके हैं।
बता दें कि बीते दिनों पंजाब में किसानों के साथ मिलने गए दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को बैठक बीच में ही छोड़ कर निकलना पड़ा था। अनुच्छेद-370 निरस्त किए जाने के समर्थन पर किसानों ने उन्हें घेरा था। हुआ यूँ कि किसान नेताओं ने अरविंद केजरीवाल से पूछा कि उन्होंने अनुच्छेद-370 को निरस्त किए जाने के मोदी सरकार के फैसले का समर्थन क्यों किया था? दिल्ली के मुख्यमंत्री ने इसे ‘राजनीतिक सवाल’ करार देते हुए कहा था कि इन सवालों पर वो बाहर जवाब देंगे।