आम आदमी पार्टी (आप) के एक विधायक ने मंगलवार (17 सितंबर) को पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह से आग्रह किया कि वे “अंधविश्वास की राजनीति” को दूर करने के लिए गायों की ‘देसी’ और विदेशी नस्लों के बीच एक स्पष्ट अंतर को समझने की कोशिश करें। साथ ही, उन्होंने अमेरिकी नस्ल के पशुओं का वध करने पर ज़ोर दिया।
इंडियन एक्सप्रेस की एक खबर के अनुसार, पंजाब के सुनाम क्षेत्र से विधायक अमन अरोड़ा ने एक पत्र में आवारा पशुओं के मुद्दे को हल करने के चुनावी वादे पर लोगों को धोखा देने के लिए राज्य सरकार को कड़ी फ़टकार लगाई। अरोड़ा ने कहा कि राज्य सरकार ने आम जनता को आवारा पशुओं की दया पर छोड़ रखा है जबकि उन्हीं नागरिकों से ‘गाय उपकर’ के नाम पर करोड़ों का कर वसूलती रही है।
इसके अलावा, उन्होंने कहा कि कई वीडियो क्लिप हैं, जिनमें अमेरिकी नस्ल के आवारा सांडों को सड़कों पर लोगों को मारते देखा जा सकता है। उन्होंने कहा,
“अमेरिकी HF नस्ल, जो मांस के लिए यूरोप में विकसित हुई थी और हमारी पवित्र देसी गाय के बीच एक स्पष्ट अंतर बताने की तत्काल आवश्यकता है, क्योंकि नस्लों के बीच कोई आनुवंशिक, धार्मिक, भावनात्मक लिंक नहीं है, जो आसानी से उनके DNA टेस्ट द्वारा सिद्ध किया जा सकता है।”
आप विधायक का कहना है कि ‘देसी’ गाय के दूध में विटामिन A2 होता है, जिसे कई बीमारियों को ठीक करने के लिए बहुत उपयोगी माना जाता है, अमेरिकन HF नस्ल के दूध में विटामिन A1 ‘बोस टॉरस’ होता है जो कि कुछ बीमारियों का कारण बनता है।
ग़ौरतलब है कि 2017 में पर्यावरण मंत्रालय के गजट नोटिफिकेशन के तहत मवेशी वध पर प्रतिबंध लगाने और मवेशियों की बिक्री पर प्रतिबंध से विवाद खड़ा हो गया था और इससे राज्य सरकारों के नियमों और अधिकारों के दायरे में भ्रम की स्थिति पैदा हो गई थी। देश के विभिन्न राज्यों में गोहत्या के लिए जुर्माने के साथ-साथ क़ैद की सज़ा का प्रावधान भी किया गया।