बुधवार (मई 15, 2019) को मक्कल निधि मय्यम के संस्थापक और अध्यक्ष कमल हासन पर चप्पल फेंकी गई। उन्होंने हाल ही में महात्मा गाँधी की हत्या करने वाले नाथूराम गोडसे को स्वतंत्र भारत का पहला आतंकी कहा था। उन्होंने कहा था कि गोडसे पहला हिन्दू आतंकी था। मदुरै के थिरुकरमपुण्ड्रम क्षेत्र में अभिनेता से नेता बने कमल हासन पर चप्पल तब फेंकी गई, जब वह वहाँ चुनाव प्रचार के लिए गए थे और उन्हें सुनने के लिए बड़ी भीड़ इकट्ठी हो गई। कमल हासन ने शाम 5 बजे थोप्पुर से अपनी चुनावी रैलियों की शुरुआत की लेकिन पेरियार नगर, सामनाथम, पनाइयुर और चिंतामणि- इन चार जगहों पर उनके कार्यक्रमों को बिना किसी पूर्व-सूचना के स्थगित कर दिया गया।
उन्होंने फिर से शाम 8 बजे विल्लापुरम से रैलियों की शुरुआत की, जहाँ कार्यकर्ताओं ने अच्छी-ख़ासी भीड़ जुटाने में सफलता पाई थी। इसके आधे घंटे बाद उन पर चप्पल फेंकी गई, जो सीधे भीड़ में जाकर गिरी। इसके बाद कुछ लोग कमल हासन के मंच के नजदीक पहुँच गए और उनके ख़िलाफ़ नारेबाजी शुरू कर दी। कमल हासन का विरोध किया गया। कमल हासन ने वहाँ उपस्थित भीड़ को धीरज रखते हुए चिंता न करने की सलाह दी। उन्होंने कहा “आपको टेंशन लेने की ज़रुरत नहीं है, पुलिस देख लेगी कि क्या करना है और क्या नहीं।“
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— News18 India (@News18India) May 16, 2019
कमल हासन पर जनसभा के दौरान एक आदमी ने चप्पल से हमला किया. @jaspreet_k5 #ElectionsWithNews18 #BattleOf2019 pic.twitter.com/c3rYe0kCEo
इस मामले में 11 लोगों के ख़िलाफ़ शिकायत दर्ज कराई गई है। इनमें भाजपा कार्यकर्ताओं और हनुमान सेना के सदस्यों के नाम हैं। ज्ञात हो कि हाल ही में कमल हासन ने चुनाव प्रचार के दौरान कहा था कि स्वतंत्र भारत का पहला आतंकवादी एक हिंदू था और उसका नाम नाथूराम गोडसे था। उन्होंने कहा कि वो इसलिए ये नहीं कह रहे हैं, क्योंकि ये मुस्लिम बहुल इलाक़ा है, बल्कि वो ऐसा इसलिए कह रहे हैं, क्योंकि महात्मा गाँधी की प्रतिमा सामने है।
उनके इस बयान के बाद भारी बवाल खड़ा हो गया था। इसके बाद उनकी पार्टी ने सफाई देते हुए कहा, “कमल हासन (उक्त भाषण दे कर, जिसमें भारत का पहला आतंकवादी एक हिन्दू, नाथूराम गोडसे, को बताया गया था) सभी गुटों में मजहबी सहिष्णुता और सहअस्तित्व के लिए अपील करना चाहते थे और हर मजहब तथा हर रूप के चरमपंथ की निंदा करना चाहते थे।” कुछ दिनों पहले फ़िल्म निर्देशक विशाल भारद्वाज ने भी नाथूराम गोडसे को हिन्दू आतंकी बताया था। मक्कल नय्यम ने अपने नेता का बचाव करते हुए कहा कि उनके भाषण को संदर्भ से परे समझ लिया गया है और दुर्भावना से एंटी-हिन्दू बताया जा रहा है। इससे आम आदमी में कन्फ्यूजन और चिंता पैदा हो रहा है।