बिहार में दो विधानसभा सीटों पर उप चुनाव को लेकर राष्ट्रीय जनता दल (राजद) ने अपने स्टार प्रचारकों की सूची जारी कर दी है। हैरत की बात ये है कि इस सूची में पार्टी के प्रमुख लालू प्रसाद यादव के बेटे तेज प्रताप यादव को जगह नहीं दी गई है। जबकि खुद लालू और तेजस्वी का नाम इस सूची में शामिल है। 20 नेताओं की इस सूची से राबड़ी देवी और मीसा भारती को भी बाहर रखा गया है।
तेज प्रताप यादव ने इस सूची की तस्वीर ट्विटर पर शेयर करते हुए लिखा, “ऐ अँधेरे देख ले मुँह तेरा काला हो गया। माँ ने आँखें खोल दीं घर में उजाला हो गया…मेरा नाम रहता ना रहता माँ और दीदी का नाम रहना चाहिए था…इस गलती के लिए बिहार की महिलाएँ कभी माफ नहीं करेगीं, दशहरा में हम माँ की ही अराधना करतें हैं ना जी…” इसके बाद उन्होंने रोने वाला इमोजी बनाया है।
ऐ अँधेरे देख ले मुँह तेरा काला हो गया
— Tej Pratap Yadav (@TejYadav14) October 8, 2021
माँ ने आँखें खोल दीं घर में उजाला हो गया…
मेरा नाम रहता ना रहता मां और दीदी का नाम रहना चाहिए था…
इस गलती के लिए बिहार की महिलाएं कभी माफ नहीं करेगीं,दशहरा में हम मां की ही अराधना करतें हैं ना जी…😭😭 pic.twitter.com/SpfImByK4C
तेज प्रताप के इस ट्वीट पर तमाम तरह की प्रतिक्रियाएँ आ रही हैं। कुछ यूजर्स उनके साथ हमदर्दी दिखा रहे हैं तो कुछ मजे ले रहे हैं। सागर ने लिखा, “बहुत गलत हुआ है भाई, इन लोगों ने लालू जी को दिल्ली में कैद कर दिया है और पार्टी में अपनी मनमानी कर रहे हैं। आप अपनी अलग पार्टी बनाओ। एक बिहारी होने के नाते आपको पूरा समर्थन रहेगा। आपके आवाज में लालू जी की झलक है भाई।”
बहुत गलत हुआ है भाई, इन लोगों ने लालू जी को दिल्ली में कैद कर दिया है और पार्टी में अपनी मनमानी कर रहें हैं, आप अपनी अलग पार्टी बनाओ। एक बिहारी होने के नाते आपको पुरा समर्थन रहेगा। आपके आवाज में लालू जी की झलक है भाई।
— सागर (@iamSagarsinha) October 8, 2021
नीलाम्बर मिश्र ने लिखा, “बीबी के बाद पार्टी ने भी लात मार दी क्या???”
बीबी के बाद पार्टी ने भी लात मार दी क्या???
— नीलाम्बर मिश्र NEELABAR MISHRA (@mr_suggu) October 8, 2021
अनंत ने लिखा, “अरे तेज प्रताप भैया इतना काहे सब सह के पार्टी में रह रहे हो, जल्दी से कॉन्ग्रेस ज्वाइन करो या लालू राबड़ी मोर्चा को आगे बढ़ाओ, पूरा समर्थन रहेगा जब तक आप पीएम ना बनो!”
अरे @TejYadav14 भैया इतना काहे सब सह के पार्टी में रह रहे हो, जल्दी से कॉन्ग्रेस ज्वाइन करो या लालू राबड़ी मोर्चा को आगे बढ़ाओ, पूरा समर्थन रहेगा जब तक आप पीएम ना बनो! #TejubhaiyaForPm
— Anant (@anant_45) October 8, 2021
मनीषा जैन लिखती हैं, “जहाँ एक तरफ तो कई पार्टियों पर विदेशी महिलाओं ने कब्जा कर लिया हो और अपने लड़के के लिये पूरी पार्टी दाँव पर लगा दी हो, वैसे में एक पूर्व मुख्यंमत्री और विदुषी महिला का ऐसा घोर अपमान और उसके विद्वान बेटे की ऐसी उपेक्षा??? घोर निन्दनीय!!”
जहां एक तरफ तो कई पार्टियों पर विदेशी महिलाओं ने कब्जा कर लिया हो और अपने लड़के के लिये पूरी पार्टी दांव पर लगा दी हो,
— Manisha Jain (@iBackModi) October 8, 2021
वैसे में एक पूर्व मुख्यंमत्री और विदुषी महिला का ऐसा घोर अपमान और उसके विद्वान बेटे की ऐसी उपेक्षा???
घोर निन्दनीय !!
हिमांशु शेखर ने लिखा, “वैसे भी आपकी किस्मत सही नहीं चल रही है पहले मैडम भाग गई फिर आपके उम्मीदवार को पार्टी ने नकार दिया और आज प्रचार करने से रोक लगा दिए। गजब बेइज्जती हो रही है।”
वैसे भी आपकी किस्मत सही नहीं चल रही है
— ℍ𝕚𝕞𝕒𝕟𝕤𝕙𝕦 𝕤𝕙𝕖𝕜𝕙𝕒𝕣 हिमांशु शेखर 🇮🇳 (@ShekharHs) October 8, 2021
पहले मैडम भाग गई
फिर आपके उम्मीदवार को पार्टी ने नकार दिया और आज प्रचार करने से रोक लगा दिए।।
गजब बेइज्जती हो रही है।।
एक यूजर ने लिखा, “बिहार की जनता सोच रही थी कि लालू को बुढ़ापे में जेल हुआ भयंकर बीमारी हुआ, फिर भी वो मरा नहीं, अब समझे, क्योंकि लालू ने इतना पाप किया है कि अपने जीते जीते जब तक पाप से कमाया धन बर्बाद नहीं हो जाएगा तब तक लालू मरेगा नहीं। अब लालू के सत्यानाश का समय शुरू हो चुका है।”
बिहार की जनता सोच रही थी कि लालू को बुढ़ापे में जेल हुआ भयंकर बीमारी हुआ ,फिर भी वो मरा नही ,अब समझे ,क्योंकि लालू ने इतना पाप किया है कि अपने जीते जीते जब तक पाप से कमाया धन बर्बाद नही हो जाएगा तब तक लालू मरेगा नही ।अब लालू के सत्यानाश का समय शुरू हो चुका है
— अखंड भारत पार्टी। (@pratyushkumar7) October 8, 2021
रागिनी शुक्ला लिखती हैं, “लुगाई भी गई और पार्टी भी गई…. तेजप्रताप यादव को RJD से बाहर कर दिया गया है पार्टी का चिन्ह लालटेन भी नही नही कर सकेंगे इस्तेमाल।”
लुगाई भी गई और पार्टी भी गई….
— Ragini Shukla 🐦 (@ugly_mascara) October 8, 2021
तेजप्रताप यादव को RJD से बाहर कर दिया गया है
पार्टी का चिन्ह लालटेन भी नही नही कर सकेंगे इस्तेमाल
😂😂😂😂
एक यूजर ने लिखा, “लालू प्रसाद के बाद अगर सही में कोई काबिलियत इंसान हैं तो वो आप हो। हम सब आपको और सिर्फ आपको ही RJD के मुखिया के तौर पर देखना चाहते हैं। चाहे कुछ भी हो जाए भैया हिम्मत मत हारना। संघर्ष करना आपके खून में बचपन से ही है।”
लालूप्रसाद के बाद अगर सही में कोई काबिलियत इंसान हैं तो वो आप हो।।
— Hery 👁️🗨️ (@Hery16243644) October 8, 2021
हम सब आपको और सिर्फ आपको ही #RJD के मुखिया के तौर पर देखना चाहते हैं ।
चाहे कुछ भी हो जाए भैया हिम्मत मत हारना,,,संघर्ष करना आपके खून में बचपन से ही है ।
एक अन्य यूजर ने लिखा, “क्षुब्ध हूँ तेजू भैया। आप बड़े थे, लालू जी के उत्तराधिकारी आप थे पर खुशी से आपने कुर्सी छोड़ी छोटे भाई के लिए। तेजस्वी को इस बलिदान का सम्मान करना चाहिए था लेकिन उसने निरंतर आपके विरुद्ध षड्यंत्र रचे। आलम यह है की अब पार्टी तक में आपकी जगह नहीं! दुखी हूँ भैया। मन व्याकुल है।”
क्षुब्ध हूं तेजू भैय्या। आप बड़े थे, लालू जी के उत्तराधिकारी आप थे पर खुशी से आपने कुर्सी छोड़ी छोटे भाई के लिए। तेजस्वी को इस बलिदान का सम्मान करना चाहिए था लेकिन उसने निरंतर आपके विरुद्ध षड्यंत्र रचे। आलम यह है की अब पार्टी तक में आपकी जगह नहीं! दुखी हूं भैय्या। मन व्याकुल है।
— THE SKIN DOCTOR (@theskindoctor13) October 8, 2021
राव संजय यादव ने लिखा, “गांधारी का श्राप यदुवंशियों का पीछा नहीं छोड़ रहा पहले मुलायम – लालू , अखिलेश – शिवपाल , भूपेंद्र यादव – राव इंद्रजीत और अब तेजस्वी – तेज प्रताप और अपने आस पास देखो ज्यादा से ज्यादा आहिर आपस में लड़ते में रहते हैं। इस तेजू को देखो ये भी अपने विनाश की ओर जा रहा है।”
राजद के इस फैसले को तेज प्रताप के लिए पहला बड़ा झटका माना जा रहा है। पहले स्टार प्रचारकों की सूची में तेज प्रताप का नाम तेजस्वी के नाम के तुरंत बाद हुआ करता था। कहा जा रहा है कि यह निर्णय राजद के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष शिवानंद तिवारी और जगदानंद सिंह के साथ हुए तेज प्रताप के विवाद के चलते लिया गया है। ये दोनों नेता भी स्टार प्रचारकों की सूची से बाहर हैं।
तेज प्रताप को राजद की स्टार प्रचारकों की सूची से बाहर रखने के बाद सियासी अटकलों का दौर शुरू हो गया है। प्रदेश कॉन्ग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष अशोक राम ने कहा था कि तेज प्रताप कॉन्ग्रेस पार्टी के लिए चुनाव प्रचार करेंगे। कुशेश्वरस्थान से अशोक राम के बेटे उम्मीदवार हैं। अब देखना यह है कि तेज प्रताप क्या फैसला लेते हैं।