राजनीतिक हिंसा के लिए कुख्यात पश्चिम बंगाल में सत्ताधारी तृणमूल कॉन्ग्रेस के तीन कार्यकर्ता बम बनाते वक्त मारे गए। धमाका सोमवार को मुर्शिदाबाद जिले के तलताली इलाके स्थित एक जर्जर मकान में हुआ। मारे गए लोगों की पहचान मिंटू मंडल, ननटू मोला और छवि शेख के तौर पर की गई है।
तलताली में नदी तट पर कब्जे को लेकर टीएमसी के दो गुटों के बीच हिंसक झड़पें होती रहती है। इसी महीने की 12 तारीख को दोनों गुटों के बीच बमबाजी हुई थी। सोमवार के धमाके में मारे गए तीनों लोग उस घटना में भी शामिल थे।
स्थानीय लोगों के मुताबिक तीनों एक जर्जर घर में बम बना रहे थे। लेकिन, गलती से विस्फोट हो गया। धमाका इतना जबर्दस्त था कि तीनों के शरीर के परखच्चे उड़ गए और कई अन्य जख्मी हो गए। भारी संख्या में जलांगी थाने से पहुॅंची पुलिस ने पीड़ितों के शव इकट्ठे किए। पुलिस ने बताया है कि प्राथमिक जॉंच से पता चला है कि बम बनाते वक्त विस्फोट हुआ।
जालांगी ब्लॉक के टीएमसी नेता रकीबुल ने मृतकों के पार्टी से जुड़े होने से इनकार किया है। लेकिन, जालांगी के टीएमसी विधायक अब्दुर रज्जाक मंडल ने तीनों को पार्टी कार्यकर्ता बताया है। हालॉंकि घटना क्यों हुई इसके बारे में किसी तरह की जानकारी से उन्होंने इनकार किया है। उन्होंने बताया कि पार्टी ने घटना की जॉंच शुरू कर दी है।
सूत्रों के अनुसार नदी तट पर कब्जे को लेकर हिंसा नई नहीं है। पहले कॉन्ग्रेस और वाम दलों के बीच इसको लेकर संघर्ष होता रहता था। अब टीएमसी के कार्यकर्ता उसी परंपरा को आगे बढ़ा रहे हैं। पुलिस ने इस मसले पर टीएमसी के दो गुटों के बीच संघर्ष होते रहने और इसके लिए ही बम बनाए जाने की पुष्टि की है। स्थानीय लोगों की माने तो बम प्रतिद्वंद्वी गुट पर हमले की लिए ही बनाया जा रहा था और लोगों से शाम के समय नदी की ओर नहीं जाने को कहा गया था।
ननटू मोला की पत्नी ने प्रतिद्वंद्वी गुट पर अपने पति और अन्य लोगों को बम से उड़ाने का आरोप लगाया है। उसके मुताबिक गुटीय हिंसा के कारण ननटू छिप कर पिछले कुछ दिनों से नदी किनारे जर्जर इमारत में रह रहा था। प्रतिद्वंद्वी गुट के लोगों को यह बात पता चल गई और उन्होंने उस घर को बम से उड़ा दिया। पुलिस मामले की जॉंच कर रही है। बम निरोधक दस्ता भी मंगलवार को मौके पर पहुॅंचा। भारी मात्रा में जिंदा बम बरामद किए गए हैं।