प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज (अप्रैल 26, 2019) को लोकसभा चुनाव के प्रत्याशी के रूप में वाराणसी से अपना नामांकन दाखिल करेंगे। यहाँ उनके प्रस्तावकों में एक अनोखा नाम भी है। मोदी के प्रस्तावकों में दाह संस्कार करने वालों के प्रमुख ‘डोमराजा’ जगदीश चौधरी भी शामिल होंगे। इससे पहले 2014 में महामना मालवीय जी के पोते गिरिधर मालवीय और प्रख्यात संगीतकार छन्नूलाल मिश्र मोदी के प्रस्तावक रह चुके हैं।
2014 की तरह इस बार भी खास होंगे पीएम मोदी के प्रस्तावक, डोमराजा के पुत्र और चौकीदार भी होंगे शामिल #BattleOf2019 #ElectionsWithNews18 https://t.co/wEUhpvYVwM
— News18 Uttar Pradesh (@News18UP) April 26, 2019
नवभारत टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक जगदीश का मानना है कि मोदी पहले ऐसे प्रधानमंत्री हैं जिन्होंने निर्धन और पिछड़े वर्ग के लोगों के लिए कार्य किया है। जगदीश प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रस्तावकों में से एक महत्वपूर्ण स्थानीय व्यक्ति होंगे।
मणिकर्णिका घाट पर स्थित अपने निवास स्थान पर ET को दिए साक्षात्कार में जगदीश कहते हैं कि जिस तरह नरेंद्र मोदी ने कार्य किया है उसे देखते हुए उनके आसपास कोई नहीं हैं। उदाहरण के लिए उन्होंने वाराणसी का जिक्र करते हुए कहा कि घाटों की दिन और रात में सफाई की जा रही है।
#NEWS: वाराणसीः पीएम मोदी के नामांकन में डोमराजा के परिवार से जगदीश हो सकते हैं प्रस्तावक
— APN न्यूज़ हिंदी (@apnlivehindi) April 26, 2019
साल 2017 में ईटी को दिए एक साक्षात्कार में जगदीश ने मोदी और सपा अध्यक्ष अखिलेख यादव दोनों की जमकर तारीफ़ की थी, लेकिन चुनावों के वक्त वह मोदी का साथ देते नजर आ रहे हैं।
डोम राजा जगदीश चौधरी होंगे @narendramodi के प्रस्तावक। वाराणसी में आज पीएम करेंगे नामांकन
— Rahul Sisodia (@Sisodia19Rahul) April 26, 2019
जगदीश का कहना है, “जो कार्य कर रहा है उसी का तो गुणगान करेंगे ना। मोदी के कार्यकाल में देश में बहुत सुधार हुआ है और निर्धन तबके को कई लाभ मिले हैं।”
बता दें जगदीश चौधरी का परिवार कई कई पीढ़ियों से मणिकर्णिका घाट पर दाह संस्कार कर रहा है। उन्हें वहाँ का ‘डोम राजा’ भी कहा जाता है। इसके साथ ही उनका परिवार कई गायों को भी पालता है। 2019 के लोकसभा चुनावों को लेकर जगदीश का कहना है कि वाराणसी में मोदी का कोई मुकाबला नहीं है,और मोदी रिकॉर्ड मार्जिन से जीत हासिल करेंगे।
डोम राजा के अनुसार, “मोदी का जादू पूरे शहर में है और उनके खिलाफ किसी उम्मीदवार के लिए संभावना न के बराबर है।” उनका कहना है कि अगर मोदी के ख़िलाफ़ प्रियंका गाँधी चुनावों में उतरती तो प्रियंका के जीतने की संभावना बिलकुल भी नहीं थी। क्योंकि वह एक चेहरा हो सकती हैं लेकिन वाराणसी में मोदी के ख़िलाफ़ लड़ना उनके सामने एक बहुत मुश्किल कार्य होता।