दक्षिण कोरिया में ईसाई कल्ट लीडर जंग मायुंग सेओक को यौन शोषण के मामलों में जेल की सज़ा मिली है। वो JMS (जीसस मॉर्निंग स्टार्ट) नामक संस्था का संस्थापक है, जिसे ‘प्रोविडेंस चर्च’ के रूप में भी जाना जाता है। 2018 में उसे 10 वर्षों की सज़ा काटने के बाद रिहा किया गया था। उस पर अपने 4 महिला समर्थकों के यौन प्रताड़ना के आरोप लगे थे। 2001-06 के बीच उसने कई बार उनका यौन शोषण किया था। रिहाई के बाद वो फिर से चर्च में यौन अपराधों को अंजाम देने लगा था।
उसने मेपल यीप नामक एक महिला को शिकार बनाया। उन्होंने ‘The Name Of God: A Holy Betrayal‘ नामक नेटफ्लीज़ डॉक्यूमेंट्री में इस संबंध में खुलासे किए हैं। इस खुलासे के बाद फिर से जाँच शुरू हुई। डेजोन के डिस्ट्रिक्ट प्रासीक्यूटर ऑफिस ने जंग मायुंग सेओक के खिलाफ 2 विदेशी अनुयायियों के यौन शोषण का मामला चलाया। फरवरी 2018 से सितंबर 2021 के बीच उक्त ईसाई लीडर ने 3 महिलाओं को 23 बार यौन प्रताड़ना एवं शोषण का शिकार बनाया।
उसे 30 साल की सज़ा सुनाने की माँग की गई और तर्क दिया गया कि पिछली बार सज़ा भुगतने के बावजूद उसमें कोई सुधार नहीं आया है। साथ ही JMS चर्च पर महिलाओं का शोषण कर के उन्हें अवसाद में पहुँचाने का आरोप भी लगा है। शुक्रवार (22 दिसंबर, 2023) को उसे 23 वर्ष की सज़ा सुनाई गई। उसके चर्च में हुई नियुक्तियों और वहाँ रह रहीं महिलाओं एवं बच्चियों के अलावा युवाओं के बारे में भी पता लगाया जाएगा। रिहाई के बाद उसे 15 वर्षों तक अपने घुटने में एक ट्रैकर पहनना होगा।
Infamous Cult Leader Jeong Myeong Seok Gets Sentenced To Prison For Sexual Crimeshttps://t.co/FgsJeSqSg8
— Koreaboo (@Koreaboo) December 22, 2023
अब तक कुल 18 महिलाओं ने उसके खिलाफ यौन शोषण का मामला दर्ज कराया है, जिसमें से कई मामलों की जाँच अभी जारी है। वो बेहोश कर के महिलाओं का बलात्कार करता था। 1980 में उसने इस मूवमेंट की शुरुआत की थी। उसे उसके अनुयायी मसीहा कहने लगे और वो खुद को येशु मसीह का अवतार बताता है। 90 के दशक में भी वो हेल्थ चेकअप के नाम पर महिलाओं का यौन शोषण करता रहा है। उसके खिलाफ इंटरपोल ने भी नोटिस जारी किया था।