पीड़ित यजीदी युवती का नाम फावजिया अमीन सिदो है। ISIS ने उन्हें 2014 में बंधक बनाया था जब वो 11 साल की थीं। बाद में उन्हें हमास ने कैद कर लिया। आज उनकी उम्र 21 है और इजरायल डिफेंस फोर्स व यूएस एबेंसी के कारण वो 10 साल बाद (अक्टूबर 2024 में) उस जहन्नुम से निकल पाई हैं।
एक दशक बाद घर लौटीं फावजिया ने बताया, कि जब वो 11 साल की थीं तब उन्हें और उनके भाई को ISIS ने कैद कर दिया था। आगे उन्होंने कहा, “घर से उठाने के बाद तो 4 दिन हमें भूख से तड़पाया गया। कुछ खाने को नहीं मिला। फिर आतंकियों ने हमसे कहा कि वो हमें खाना देंगे। उन्होंने हमारे लिए चावल बनाया और उसके साथ मीट खाने को दिया। मीट का स्वाद बहुत अजीब था। कुछ को तो पेट दर्द भी शुरू हो गया था उसे खाकर…।”
Fawzia Amin Sido, a Yazidi woman from #Iraq, was rescued from #Gaza after being kidnapped by ISIS at age 11 in 2014
— True Crime Updates (@TrueCrimeUpdat) October 14, 2024
Sold into sex slavery, she was forced to marry a Palestinian ISIS fighter & taken to Gaza in 2020
Fawzia, now 21, escaped after posting a TikTok plea for help.… pic.twitter.com/XsN0ydjESy
आगे वह कहती हैं, “हमने जब खाना खत्म किया तो हमें कहा गया कि ये मीट यजीदी बच्चों का था। फिर उन्होंने हमें तस्वीरें दिखाईं जिसमें वो बच्चों का कत्ल कर रहे थे। फोटो दिखाकर उन्होंने बोला कि ये वो बच्चे हैं जिनका मीट तुमने अभी खाया। तस्वीर देखते ही एक महिला का तो हार्ट फेल हो गया और वो कुछ समय बाद मर गई। वहीं हमारे साथ वो महिलाएँ भी थीं जो उन बच्चों की माँ थी। उनमें से एक ने तो अपने बच्चे का हाथ देख उसे पहचाना भी लिया था।”
2014 में बनाया गया था यजीदियों को बंधक
बता दें कि 2014 से ISIS लगातार यजीदी समुदाय के लोगों को निशाना बनाता आया है। कभी सामूहिक नरसंहार के जरिए, कभी गुलाम बनाकर, कभी धर्मांतरण के जरिए तो कभी उनकी जगहों से उन्हें विस्थापित होने को मजबूर करके।
आँकड़े बताते हैं कि 6000 से ज्यादा यजीदियों को ISIS ने इराक के सिंजार से बंधक बनाया था। महिलाओं का इस्तेमाल उनसे सेक्स गुलामी करवाने के लिए किया गया जबकि बच्चों को ट्रेंड करके तुर्की, सीरिया भेज दिया गया। सालों प्रयास के बाद इन बंधक बनाए गए यजीदियों में से 3500 का रेस्क्यू की बात खबरों में बताई जाती है वहीं 2600 अब भी लापता हैं।
फावजिया उन्हीं लोगों में से एक थीं जिन्हें बंधक बनाया गया। फावजिया के अनुसार, ISIS आतंकियों ने एक साल तक उन्हें सेक्स स्लेव बनाए रखा और उसके बाद उन्हें पाँच बार बेचा गया। उन्हें आखिरी बार एक फिलीस्तीनी आतंकी के हाथों बेचा गया। शुरू में वो खुद को बाथरूम में छिपाकर बचाती थीं मगर एक दिन उन्हें ड्रग देकर उनका रेप किया गया। जब वो प्रेगनेंट हो गई और 15 साल की उम्र में दो बच्चों की माँ बन गई। बाद में उन्हें हमास भेजा गया जहाँ जहन्नुम से बद्तर जिंदगी उन्हें देखने को मिली। पीड़िता के अनुसार एक बार तो वो घर से बाहर निकलीं तो उनके सिर पर बंदूक रख दिया गया और कहा कि उन्हें इसकी अनुमति नहीं है।
अब फिलहाल फावजिया उत्तरी इराक के सिंजार में है। इजरायल और यूएस ने मिलकर यहाँ से ISIS आतंकियों का प्रभाव समाप्त कर दिया है लेकिन अभी भी पश्चिमी एशिया और अफ्रीका में ISIS सक्रिय है।