पाकिस्तान में एक बार फिर अपहरण, जबरन धर्मांतरण और निकाह का मामला सामने आया है। लाहौर के 14 वर्षीय एक ईसाई लड़की का उसके ही पड़ोसी ने अपने दोस्तों के साथ मिलकर अपहरण कर लिया। इसके बाद किशोरी को इस्लाम में धर्मांतरित और उसके साथ निकाह करने के लिए मजबूर किया गया।
मॉर्निंग स्टार न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार, लाहौर के छावनी इलाके में रहने वाली एक किशोरी महनूर अशरफ 4 जनवरी की सुबह अपने 8 वर्षीय भतीजे के साथ पास की एक दुकान पर जाने के लिए घर से निकलने के बाद लापता हो गई थी। भतीजे ने अपने परिवार को बताया कि उनके मुस्लिम पड़ोसी 45 वर्षीय मुहम्मद अली खान गोरी ने अपने दोस्तों- मुहम्मद वकास, रजा अली और इमरान के साथ मिलकर महनूर का अपहरण कर लिया। गोरी कथित तौर पर शादीशुदा है और उसके दो बच्चे हैं।
महनूर के बड़े भाई अकरम मसीह चौधरी ने मॉर्निंग स्टार को बताया कि उसके अपहरण की खबर मिलते ही परिवार के सदस्यों ने लड़की की तलाश शुरू कर दी। वे उसे खोजने के लिए गोरी के घर गए, लेकिन गोरी वहाँ नहीं था। उन्होंने कहा, “गोरी का घर भी उसी गली में है और हमारे परिवारों के एक-दूसरे के साथ अच्छे संबंध थे। हमें नहीं पता कि उसने कब महनूर को अपने साथ फँसा लिया।” उन्होंने कहा कि महनूर के अपहरण के बाद से गोरी को नहीं देखा गया है।
बच्ची के पिता अशरफ मसीह चौधरी ने 5 जनवरी को एक पुलिस रिपोर्ट दर्ज करवाई, जिसमें उनकी बेटी के अपहरण और जबरन धर्म परिवर्तन में शामिल सभी संदिग्धों के खिलाफ आरोप लगाए गए हैं। गोरी पर एक नाबालिग से अवैध रूप से शादी करने का भी आरोप लगाया गया था। लड़की के भाई का कहना है कि पुलिस इस मामले में तत्परता नहीं दिखा रही है।
अकरम ने कहा, “7 जनवरी को गोरी के परिवार ने हमें सूचित किया कि महनूर ने कथित तौर पर इस्लाम धर्म अपना लिया और 4 जनवरी को गोरी से निकाह कर लिया।” उन्होंने कहा कि स्थानीय मौलवी मुहम्मद इबरार ने यह निकाह कराया, जबकि वह जानता था कि लड़की नाबालिग है। अकरम ने कहा कि इस्लामिक विवाह प्रमाण-पत्र महनूर की उम्र 19 बताई गई है, जबकि उसके जन्म प्रमाण-पत्र में उसका जन्म 19 अगस्त 2007 है।
पुलिस अभी तक किशोरी को बरामद नहीं कर पाई है। लड़की के भाई का कहना है कि पुलिस महनूर को खोजने के लिए कुछ नहीं कर रही है। उन्होंने कहा कि इस सदमे और शोक की वजह से उनकी माँ का स्वास्थ्य खराब हो गया है और परिवार को डर लगने लगा है। बता दें कि पाकिस्तान में चाइल्ड मैरिज कानून जुर्म है, लेकिन वहाँ ऐसी घटनाएँ आम हैं।
गौरतलब है कि पाकिस्तान में अल्पसंख्यक लड़कियों को अगवा कर उनका जबरन धर्म परिवर्तन करवाने का यह पहला मामला नहीं है। पड़ोसी मुल्क से ऐसी खबरें लगातार सामने आती रहती है। वहाँ के हिन्दू, सिख और ईसाई लड़कियों का जबरन धर्म परिवर्तन करवाया जाता है। पाकिस्तान में इससे पहले भी एक 14 साल की ईसाई लड़की को अगवा कर लिया था। फिर उसका धर्मांतरण करवा कर अपहरणकर्ता के साथ निकाह करवा दिया गया था। यह घटना पंजाब प्रांत के फैसलाबाद के मदीना टाउन की थी।