जहाँ एक तरफ पाकिस्तान ख़ुद को चीन का टट्टू बना कर रख दिया है, वहीं दूसरी तरफ उसके अवैध कब्जे वाले कश्मीर (POK) में चीन के खिलाफ विरोध प्रदर्शन शुरू हो गया है। POK के मुजफ्फराबाद शहर मे न सिर्फ़ चीन बल्कि पाकिस्तान के खिलाफ भी बड़ा विरोध प्रदर्शन शुरू हो गया है। बता दें कि नीलम और झेलम नदी पर पाकिस्तान द्वारा बाँध बनाए जा रहे हैं, जिसमें चीन का भारी निवेश है।
पाकिस्तान ने भारत के डर से चीन को POK के कुछ हिस्से दे रखे हैं और वहाँ के खनिज संसाधनों को भी चीन के हवाले कर दिया है, जो POK का जम कर दोहन तो कर ही रहा है, साथ ही वहाँ कई सारे प्रोजेक्ट्स भी चला रहा है। इससे स्थानीय लोगों मे आक्रोश का माहौल है। नीलम-झेलम और कोहला हाइड्रो प्लांट्स के विरोध में सोमवार (जुलाई 6, 2020) को बड़ी संख्या में लोग सड़कों पर उतरे और चीन व पाकिस्तान विरोधी नारे लगाए।
ANI की ख़बर के अनुसार, विरोध प्रदर्शन कर रहे लोगों का आरोप है कि चीन द्वारा बनाए जा रहे बाँधों से वहाँ के वातावरण पर भी काफ़ी प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा, जिसके कारण पर्यावरण संबंधी कई समस्याओं के खड़े होने की आशंका है। सोशल मीडिया पर भी पूरे दिन ट्रेंड चलता रहा, जिसे POK ही नहीं बल्कि वहाँ से बाहर के कई इलाकों के लोगों का भी भरपूर समर्थन मिला।
वहाँ के लोग इस मामले को वैश्विक स्तर पर ले जाकर बड़े संगठनों और देशों का ध्यान दिलाना चाहते हैं, ताकि चीन और पाकिस्तान के अत्याचार के खिलाफ वो उनके पक्ष मे खड़े हो सकें। प्रदर्शनकारियों का पूछा है कि इन नदियों को लेकर पाकिस्तान और चीन के बीच किस कानून या अंतरराष्ट्रीय नियम के तहत समझौते हुए? उनका आरोप है कि ये दोनों ही देश संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के मानकों का उल्लंघन कर के नदियों पर कब्जा कर रहे हैं।
Pakistan Occupied Kashmir (POK): Residents of Muzaffarabad hold protest against China & Pakistan, opposing the construction of dams on Neelam & Jhelum rivers. A protestor says, “Agreement for the dams was signed between governments of China & Pakistan, we had no say in it.” pic.twitter.com/8ys1100Lvn
— ANI (@ANI) July 7, 2020
प्रदर्शनकारियों ने अपील कि है कि लोगों को कोहला प्रोजेक्ट की तरफ जाना चाहिए और वहाँ जाकर इसका विरोध करना चाहिए, ताकि इसे रोका जा सके। बता दें कि इसके लिए एक चाइनीज कंपनी ने पाकिस्तान और चीन के सरकारों साथ एक त्रिपक्षीय समझौता किया था। कोहला मे 2.4 बिलियन डॉलर कि लागत से प्रोजेक्ट तैयार किया जा रहा है, जिससे 1124 मेगावाट बिजली के उत्पादन का दावा किया जा रहा है।
ये हाइड्रोपावर प्लांट POK में झेलम नदी पर बनाया जा रहा है। इसे ‘चीन-पाकिस्तान इकॉनमिक कॉरिडोर’ के तहत विकसित किया जा रहा है। इसका निर्माण कोहला हाइड्रोपावर कम्पनी लिमिटेड द्वारा किया जा रहा है। या कम्पनी चीन की एक बड़ी कम्पनी ‘थ्री गोर्गेस कॉर्पोरेशन’ का ही एक अंग है और उससे ही सम्बद्ध है। पाकिस्तान में चीन ने इस तरह के कई निवेश किए हैं, जिनमें से ज्यादातर POK में हैं।
The protesters highlighted environmental impacts caused by the dams constructed by Pakistan and Chinahttps://t.co/k0BOGfyowc
— WION (@WIONews) July 7, 2020
इससे पहले सितम्बर 2019 में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान की रैली के दौरान पीओके के युवाओं व छात्रों ने इमरान ख़ान के ख़िलाफ़ नारे लगाए थे और विरोध प्रदर्शन किया था। ख़बर आई थी कि पीओके में पाकिस्तान के अवैध कब्जे के ख़िलाफ़ लोग आवाज़ उठा रहे हैं, जिसे मीडिया से दूर रखने और दबाने के लिए पाकिस्तान सरकार क्रूरतापूर्वक दमनकारी अभियान चला रही है।