Friday, November 15, 2024
Homeरिपोर्टमीडियाकिसान आंदोलन में महिला पत्रकारों का यौन उत्पीड़न, प्रदर्शनकारी नितंबों पर काटते हैं चुटकी:...

किसान आंदोलन में महिला पत्रकारों का यौन उत्पीड़न, प्रदर्शनकारी नितंबों पर काटते हैं चुटकी: इंडिया टुडे की एडिटर

प्रीति चौधरी ने दावा किया कि ऐसी घटनाओं की रिपोर्ट करने के लिए उनकी खुद की टीम के पास कई ऐसे वाकये हैं, जब रिपोर्टर को यौन उत्पीड़न झेलना पड़ा।

किसान आंदोलन के नाम पर पिछले दिनों रिपब्लिक टीवी और जी न्यूज की महिला एंकर के साथ बदसलूकी हुई थी। अब इंडिया टुडे की एडिटर प्रीति चौधरी ने दावा किया है कि प्रदर्शनस्थल पर मौजूद ‘कुछ प्रदर्शनकारी’ रिपोर्टरों (पत्रकारों) का यौन उत्पीड़न भी करने लगे हैं, वहीं वहाँ मौजूद अन्य लोग ये सब होने दे रहे हैं।

प्रीति चौधरी ने दावा किया कि ऐसी घटनाओं की रिपोर्ट करने के लिए उनकी खुद की टीम के पास कई ऐसे वाकये हैं, जब रिपोर्टर को यौन उत्पीड़न झेलना पड़ा।

उनके इस दावे के बाद कॉन्ग्रेस नेता व भारत किसान यूनियन के सदस्य भूपेंद्र चौधरी ने अपनी प्रतिक्रिया दी और यौन उत्पीड़न को जस्टिफाई करने के लिए उन रिपोर्टर्स को खबरों का भूखा कहा है, जो ‘बलपूर्वक’ खबरों को लेने का प्रयास करते हैं। उनका कहना है कि ऐसे रिपोर्टरों पर कार्रवाई होनी चाहिए।

अब यहाँ यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि आखिर यदि एक रिपोर्टर किसी की बाइट लेने के लिए एक सीमा को भी पार करता है, फिर भी उसके साथ हुए यौन उत्पीड़न को महज इस तर्क से कैसे जस्टिफाई किया जा सकता है कि उसने ‘बल’ का इस्तेमाल किया। प्रीति चौधरी उनके इस तर्क पर जवाब देती हैं, “अगर बाइट देना नहीं चाहते तो मत दो। लेकिन कम से कम उसके नितंबों पर चुटकी तो मत काटो।”

उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार के साथ 8 राउंड की बातचीत के बाद भी किसान यूनियन किसी नतीजे पर नहीं पहुँच पाई है। लगातार केवल नए कानूनों को वापस लेने की माँग की जा रही है। साथ ही नए-नए तरीके अपनाकर प्रदर्शन को तूल देने का प्रयास हो रहा है। हाल में रेवाड़ी में Gangaicha सीमा पर एक नया विरोध स्थल भी सामने आ गया है।

बता दें कि प्रीति चौधरी की शिकायत से पहले भी सोशल मीडिया पर कुछ वीडियोज आए थे जिसमें जी न्यूज और रिपब्लिक भारत की पत्रकारों के साथ बदसलूकी हो रही थी। हालाँकि, उस समय यौन उत्पीड़न जैसे दावे नहीं हुए थे। लेकिन अब यह बिलकुल नया खुलासा है।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

कश्मीर को बनाया विवाद का मुद्दा, पाकिस्तान से PoK भी नहीं लेना चाहते थे नेहरू: अमेरिकी दस्तावेजों से खुलासा, अब 370 की वापसी चाहता...

प्रधानमंत्री नेहरू पाकिस्तान के साथ सीमा विवाद सुलझाने के लिए पाक अधिकृत कश्मीर सौंपने को तैयार थे, यह खुलासा अमेरिकी दस्तावेज से हुआ है।

‘छिछोरे’ कन्हैया कुमार की ढाल बनी कॉन्ग्रेस, कहा- उन्होंने किसी का अपमान नहीं किया: चुनावी सभा में देवेंद्र फडणवीस की पत्नी को लेकर की...

कन्हैया ने फडणवीस पर तंज कसते हुए कहा, "हम धर्म बचाने की लड़ाई लड़ रहे हैं और डेप्युटी सीएम की पत्नी इंस्टाग्राम पर रील बना रही हैं।"

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -