नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) ने मार्च 2024 में तमिल फिल्म प्रोड्यूसर व द्रविड़ मुनेत्र कषगम (DMK) के पूर्व पदाधिकारी जफर सादिक को गिरफ्तार किया था। तब उन पर 2000 करोड़ रुपयों से अधिक मूल्य की ड्रग्स तस्करी का आरोप लगा था। अब सामने आ रही जानकारी के मुताबिक जफर सादिक ने 3 देशों में 6 मीट्रिक टन (6 हजार किलो) स्यूडोएफेड्रिन की तस्करी की थी। यह तस्करी पिछले 11 वर्षों से की जा रही थी। तस्करी के ये पैसे सादिक ने 4 तमिल फिल्मों में भी लगाए थे।
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) जफर सादिक के खिलाफ अदालत में एक मजबूत केस बना रही है। जाँच के दौरान पता चला है कि जफर सादिक ड्रग्स की तस्करी में साल 2013 से एक्टिव था। वह खासतौर पर स्यूडोफेड्राइन नामक ड्रग्स की तस्करी में शामिल था। यह तस्करी ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड और मलेशिया में की जाती थी। इस एक दशक से अधिक समय के दौरान जफर सादिक ने लगभग 6 मीट्रिक टन (6000 किलो) स्यूडोफेड्राइन की तस्करी की।
बीते तीन सालों में ही जफर सादिक ने 3500 किलो ड्रग्स की तस्करी की, जिसकी कीमत लगभग 2000 करोड़ रुपए है। उससे पहले उसने करीब 2500 ड्रग्स की तस्करी की थी। इस तरह से जफर सादिक ने 3,428.57 करोड़ रुपए के ड्रग्स की तस्करी की।
एक अनुमान के मुताबिक सादिक द्वारा तस्करी की गई इस ड्रग्स की अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कीमत हजारों करोड़ में है। सादिक के खिलाफ सबूत जुटाने में लगी NCB को व्हाट्सएप पर भेजे गए वॉयस नोट्स भी मिले हैं। इसी के साथ ऑस्ट्रेलिया की फर्जी कंपनियों के IP एड्रेस व बैंको के CCTV फुटेज भी जब्त किए गए हैं। ड्रग्स की तस्करी के लिए सादिक कार्गो का इस्तेमाल करता था। तस्करी के पैसों से सादिक ने न सिर्फ तमाम सम्पत्तियाँ बनाईं बल्कि 4 तमिल फिल्मों में भी निवेश किया था।
इन खुलासों के बाद अब NCB के एक सीनियर अधिकारी ने भारत में बन रहे अवैध रसायनों की बढ़ती मात्रा पर चिंता जताई है। NCB जल्द ही रसायन बनाने वाली तमाम कंपनियों पर निगरानी तेज कर सकता है। ऐसी तमाम कंपनियों की लिस्ट बनाई जा रही है जो रसायन बनाती हैं।
बताते चलें कि ड्रग्स तस्करी रैकेट के कथित सरगना जफर सादिक को नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) ने 9 मार्च 2024 को जयपुर से गिरफ्तार किया था। उसके नेटवर्क का भंडाफोड़ फरवरी महीने में ही हो गया था जब दिल्ली में हुई छापेमारी के दौरान स्यूडोफेड्राइन नामक ड्रग्स बरामद हुआ था। गिरफ्तारी के पहले वह 15 दिनों तक फरार रहा था। जफर सादिक DMK का पदाधिकारी रहा है। उसकी कई तस्वीरें स्टालिन और उनके बेटे उदयनिधि के साथ सोशल मीडिया पर वायरल हैं।
क्या है स्यूडोएफेड्रिन
स्यूडोएफेड्रिन मूल रूप से दवाएँ बनाने के काम आती है। इस से बनने वाली दवा साँस लेने में तकलीफ और नींद न आने की बीमारी से परेशान लोगों के लिए अक्सर कारगर साबित होती है। दुनिया के कई देश इस ड्रग्स का इस्तेमाल दवाएँ बनाने में करते हैं। हालाँकि कुछ लोग इस ड्रग्स का दुरूपयोग नशे के लिए करते हैं। इसके दुरूपयोग की वजह से एलर्जी, हाँफना ब्लड प्रेशर अनियमित होना, धड़कने जोर-जोर से चलना और शरीर में थकान आदि लक्षण दिखाई देने लगते हैं। स्यूडोएफेड्रिन की बिना सरकारी अनुमति के खरीद-फरोख्त कानूनी तौर पर अपराध है।
कौन है जफर सादिक?
जफर सादिक एक तमिल फिल्म प्रोड्यूसर हैं, जिन्होंने JSM Pictures के तहत तीन फिल्में बनाई हैं: “Iraivan Miga Periyavan,” “Maayavalai,” और “Mangai।” एक नई फिल्म “VR07” भी आने वाली है। नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) का आरोप है कि सादिक ने ड्रग्स की तस्करी से मिले पैसे का इस्तेमाल फिल्म “Mangai” की प्रोडक्शन के लिए किया।
जफर सादिक का नाम द्रविड़ मुनेत्र कषगम (DMK) से भी जुड़ा है, जिससे उसकी गिरफ्तारी ने पार्टी की छवि को प्रभावित किया है। उसकी कहानी ने ये दिखाया है कि ड्रग्स के कारोबार में कितना बड़ा जाल फैला हुआ है। मार्च 2024 में NCB ने जब सादिक को गिरफ्तार किया, यह पता चला कि उसने 6000 किलो स्यूडोएफेड्रिन की तस्करी की थी, जिसकी कीमत हजारों करोड़ रुपये है। उसकी गतिविधियाँ ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड और मलेशिया में फैली थीं।