कश्मीर के शोपियाँ जिले कई दूरदराज के गाँवों में आजादी के लगभग सत्तर साल बाद बिजली पहुँची है। यह केंद्र सरकार की 'सौभाग्य योजना' के तहत सम्भव हो सका है।
दिसंबर 2019 में मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने वित्त विभाग के साथ बैठक कर राज्य की बिगड़ती माली हालत को लेकर चर्चा की थी। अन्य विभागों को भी ख़र्च कम करने को कहा गया है क्योंकि पंजाब राज्य की वित्तीय स्थिति लगातार बिगड़ती जा रही है।
दिल्ली विधानसभा की आधिकारिक वेबसाइट पर जो मुफ़्त बिजली बिल से संबंधित दस्तावेज़ उपलब्ध हैं, उसके अनुसार, सिर्फ़ 31 मार्च 2020 तक ही 200 यूनिट मुफ़्त बिजली का प्रावधान किया गया है। दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल अपनी चुनावी राजनीति को अंजाम देते हुए जनता को बरगलाने की कोशिश कर रहे हैं कि उन्होंने...
पाकुड़ा परिसदन में ग्रामीणों एवं कार्यकर्ताओ की समस्याएँ सुनने पहुँचे विजय हांसदा ने लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि बिजली बिल न दें और यदि कोई बिजली बिल कोई माँगने आए तो उसे बाँध कर बैठा दें।
असिस्टेंट इलेक्ट्रिकल इंजीनियर राम शरन ने कहा, “यह तकनीकी खामी है। यदि वे हमें बिल लाकर देते हैं तो हम सिस्टम की तकनीकी खराबी को सुधारने के बाद उन्हें सही बिल जारी कर देंगे। यह कोई बड़ी बात नहीं है, तकनीकी समस्याएँ होती रहती हैं।”
ये किसी की सोच से भी परे की बात है की उनका फेंका हुआ कचरा ऊर्जा का उत्पादन कर सकता है, ये भविष्य की ऊर्जा है, नतीजे बेहद चौंकाने वाले और उत्साह भरने वाले हैं, अब हमें इनके व्यवसायिक उत्पादन और उसके आर्थिक पहलू पर भी काम करने की ज़रूरत है।