Saturday, November 23, 2024
Homeदेश-समाजलाउडस्पीकर पर अजान, सायरन... सब कुछ: रमजान में उत्तराखंड की मस्जिदों को मिली छूट,...

लाउडस्पीकर पर अजान, सायरन… सब कुछ: रमजान में उत्तराखंड की मस्जिदों को मिली छूट, लेनी होगी अनुमति

पहले मस्जिदों में लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर पाबन्दी लगा दी गई थी। इसके बाद मुस्लिम समुदाय के नेताओं और मौलवियों ने माँग की थी कि मस्जिदों में रमजान के दौरान माइक पर अजान पढ़ने की इजाजत दी जाए। राज्य सरकार ने जिला प्रशासन की अनुमति की शर्त रखते हुए ये आदेश जारी किया।

रमजान का महीना शुरू हो गया है। उत्तराखंड पुलिस ने कहा है कि राज्य में रमजान के अवसर पर मस्जिदों को कम आवाज़ में लाउडस्पीकर पर अजान पढ़ने की अनुमति दी जाएगी। हालाँकि, इस विषय में स्थानीय जिला प्रशासन निर्णय लेगा कि किसी भी मस्जिद में माइक पर अजान के लिए अनुमति देनी है या नहीं। उत्तराखंड पुलिस ने शुक्रवार (अप्रैल 24, 2020) को इस सम्बन्ध में जानकारी दी। रमजान का महीना गुरुवार से शुरू हुआ है।

पूरे देश की तरह उत्तराखंड में भी किसी भी प्रकार की भीड़ जमा होने पर प्रतिबन्ध है। धार्मिक व मजहबी आयोजन भी नहीं हो सकते। ऐसे में मस्जिदों में भी लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर पाबन्दी लगा दी गई थी। कोरोना वायरस संक्रमण के बढ़ते प्रभाव को रोकने के लिए फ़िलहाल लॉकडाउन चल रहा है, इसीलिए ये नियम-क़ानून तय किए गए थे। रमजान के दौरान मुस्लिम नेताओं ने सरकार से लाउडस्पीकर की अनुमति देने की माँग की थी

मुस्लिम समुदाय के नेताओं और मौलवियों ने माँग की थी कि मस्जिदों में रमजान के दौरान माइक पर अजान पढ़ने की इजाजत दी जाए। इसके बाद राज्य सरकार ने जिला प्रशासन की अनुमति की शर्त रखते हुए ये आदेश जारी किया। इसके लिए डीएम और एसपी से अनुमति लेनी पड़ेगी। लेकिन, नमाज के लिए जुटने पर पूर्ववत पाबंधी रहेगी। साथ ही शाम को होने वाली इफ्तार पार्टियाँ भी प्रतिबंधित रहेंगी।

ये निर्णय मुस्लिम समुदाय और अधिकारियों के बीच हुई एक बड़े स्तर की बैठक के बाद लिया गया। इस दौरान मस्जिद में इमाम के अलावा किसी और को नहीं जाने दिया जाएगा और सिर्फ़ वही अकेले अजान पढ़ेंगे। साथ ही सुबह और शाम की अजान के समय बजने वाले सायरन को भी अनुमति दे दी गई है। ये भी कम आवाज़ में बजेगा। पहले भी ऐसे सायरन का इस्तेमाल मस्जिदों से किया जाता रहा है।

उत्तराखंड की मस्जिदों में अजान: कॉन्ग्रेस ने पूछा- अनुमति क्यों लें?

पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने सरकार के इस फ़ैसले की प्रशंसा की लेकिन साथ ही कहा कि जिलाधिकारी की अनुमति वाली शर्त ग़लत है क्योंकि जिलाधिकारी जहाँ चाहेंगे, वहाँ लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर पाबन्दी लगा देंगे। रावत का कहना है कि पूरे राज्य में एक समान नियम लागू किया जाना चाहिए।

उत्तराखंड से सटे उत्तर प्रदेश स्थित बहराइच के बोंडी थाना क्षेत्र में लॉकडाउन के दौरान रमजान और मस्जिद में नमाज को लेकर भी एक खबर है। यहाँ लॉकडाउन के बावजूद नमाज के लिए मस्जिद में जुटे नमाजियों ने पुलिस पर ही हमला कर दिया था। इसके बाद 31 नमाजियों के ख़िलाफ़ मामला दर्ज किया गया था। कोरोना के मामलों को देखते हुए यूपी सरकार ने लॉकडाउन में रमजान के दौरान किसी भी प्रकार की राहत नहीं देने का फैसला किया है। वहाँ 30 जून तक किसी भी तरह की भीड़ जुटने पर प्रतिबन्ध है।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

शेख हसीना के तख्ता पलट के बाद बांग्लादेश का इस्लामीकरण: सरकार बनाएगी मदीना की तरह मस्जिद, इस्लाम और पैगंबर मुहम्मद की निंदा पर सजा-ए-मौत...

बांग्लादेश में इस्लामीकरण में अब युनुस सरकार के अलावा न्यायपालिका भी शामिल हो गई है। हाई कोर्ट ने ईशनिंदा पर मौत की सजा की सिफारिश की है।

संभल में मस्जिद का हुआ सर्वे तो जुमे पर उमड़ आई मुस्लिम भीड़, 4 गुना पहुँचे नमाजी: सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम, ड्रोन निगरानी

संभल में विवादित जामा मस्जिद में जुमे की नमाज पर सामान्य दिनों के मुकाबले 4 गुना मुस्लिम आए। यह बदलाव मंदिर के दावे के बाद हुआ।
- विज्ञापन -