उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद स्थित डासना मंदिर के महंत यति नरसिंहानंद सरस्वती ने रविवार (10 अक्टूबर 2021) को एक मुस्लिम बच्चे को पकड़कर स्थानीय पुलिस के हवाले कर दिया। उनका दावा है कि यह बच्चा मंदिर में रेकी करने आया था। उन्होंने ट्वीट किया है, “आसिफ के बाद अब अनस। आज रेकी करते हुए मंदिर के अंदर पकड़ा गया। ये मुसलमान के बच्चे ट्रेंड कातिल हैं और सुरक्षा के लिए लगाई पुलिस जाने कहाँ सोती रहती है जो मुसलमान उन्हें नही दिखाई देता है।” हालाँकि गाजियाबाद पुलिस ने एक बयान जारी कर कहा है कि यह बच्चा धोखे से मंदिर में घुस गया था।
यति नरसिंहानंद ने अपने ट्विटर और फेसबुक एकाउंट से एक वीडियो साझा किया है। इसमें पुलिस एक लड़के को पकड़े हुए दिखाई दे रही है। वीडियो में नरसिंहानंद ने कहा है, “यह एक मुस्लिम लड़का है जो मेरे यज्ञ से उठने के बाद पकड़ा गया। यह रेकी करने आया था। हमने इसे पुलिस को सौंप दिया है। मंदिर परिसर में किसी ने उसे हाथ नहीं लगाया।”
आसिफ के बाद अब अनस आज 10/oct/21 को रेकी करते हुए मंदिर के अंदर पकड़ा गया ये मुसलमान के बच्चें ट्रेंड कातिल है और सुरक्षा के लिए लगाई पुलिस जाने कहाँ सोती रहती है जो मुसलमान उन्हें नही दिखाई देता है ।@myogiadityanath @ghaziabadpolice @dm_ghaziabad @igrangemeerut @Uppolice pic.twitter.com/JPUPivQ31L
— Yati Narsinghanand Saraswati (@NarsinghUvach) October 10, 2021
मंदिर के महंत ने कहा, “मैं यहाँ के एसएसपी, एसपी RA और अन्य पुलिस कर्मियों को बताना चाहूँगा कि यह हमले की तैयारी है। यह एक बड़े हमले की तैयारी है जिसे आप हल्के में मत लीजिए। यहाँ क्या हुआ था, यह सभी जानते है। फिर भी यह यहाँ आया है। यह रेकी है और हमले की तैयारी है। भले ही पुलिस वाले हमारी बात मानें या न मानें।”
मौके पर मौजूद सब इंस्पेक्टर की नेमप्लेट पढ़ कर यति नरसिंहानंद ने बताया कि दारोगा सुशील कुमार को उन्होंने लड़के को सौंप दिया है। नरसिंहानंद ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को सम्बोधित करते हुए बताया कि यह मेरी हत्या का प्रयास है। स्थानीय पुलिस पर आरोप लगाते हुए कहा कि यहाँ पुलिस हिन्दुओं पर पूरी दादागीरी दिखाती है, लेकिन फिर भी अनस यहाँ तक पहुँच गया।
पकड़े गए लड़के का कहना है कि वो यही हाल ही में तेजपुर से डासना में शिफ्ट हुआ है और अपने पिता को खोजते हुए वह मंदिर तक पहुँच गया था। इस मामले में गाजियाबाद पुलिस ने बयान जारी करते हुए कहा है कि अनस डासना मंदिर के पास बने सीएचसी अस्पताल में आया था। वह इलाके में नया है इसलिए उसे मंदिर के बारे में पता नहीं था। अनपढ़ होने के कारण अनस मंदिर के द्वार और अस्पताल के गेट में अंतर नहीं समझ पाया और भीड़ के पीछे मंदिर में चला गया। जब उसके बयानों की जाँच की गई तो उसके परिजन अस्पताल में इलाज करवाते पाए गए। साथ ही अनस की तलाशी के दौरान कोई भी आपत्तिजनक वस्तु नहीं मिली।
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— GHAZIABAD POLICE (@ghaziabadpolice) October 10, 2021
गाजियाबाद पुलिस के इस बयान पर यति नरसिंहानंद ने असंतोष जाहिर किया है। उन्होंने लिखा है, “डासना के इसी कस्बे मे बएस तोमर की हत्या भी नाबालिग बच्चो ने ही की थी। ये कभी प्यासे होते हैं। कभी भटके हुए और कभी मौका मिलने पर नरेशानंद जी जैसे संतो को सोते हुए में चाकू से गोद जाते हैं। फिर हमारी पुलिस खामोश, क्योंकि घटना होने के बाद इनके पास बताने के लिए कोई कहानी नही होती।”
डासना के इसी कस्बे मे अभी B S Tomar की की हत्या भी नाबालिग बच्चो ने ही कि थी
— Yati Narsinghanand Saraswati (@NarsinghUvach) October 11, 2021
ये कभी प्यासे होते है कभी भटके हुए और कभी मौका मिलने पर नरेशानंद जी जैसे संतो को सोते हुये मे चाकू से गोद जाते है फिर हमारी पुलिस खामोश क्योकि घटना होने के बाद इनके पास बताने के लिए कोई कहानी नही होती h https://t.co/XROhygmVBJ
यति नरसिंहानंद सरस्वती का विवादों से पुराना नाता रहा है। मार्च 2021 में आसिफ नाम के एक मुस्लिम लड़के को नरसिंहानंद और उसके साथी ने मंदिर में पकड़ लिया था जिसकी पिटाई का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया था। इस घटना के बाद नरसिंहानंद की हत्या का एलान करते कई वीडियो सामने आए। जून 2021 में मंदिर परिसर में कथित तौर पर पुजारी की हत्या करने आए दो अन्य लोगों को पकड़ा गया था। नरसिंहानंद पर हाल ही के एक वायरल वीडियो में महिलाओं के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी करने का केस दर्ज किया गया था।