ये कहानी है कि छत्तीसगढ़ की उस बेटी की जिसके पिता की 13 साल पहले नक्सलियों ने उनके ही घर से सामने गोली मारकर हत्या कर दी थी। लेकिन माँ ने बेटियों की परवरिश की और उन्हें संभाला औऱ अपने कदमों पर खड़ा होना सिखाया। इसी की बदौलत छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित जिले बस्तर के एक गाँव की लिपि मेश्राम ‘मिस इंडिया’ बन गईं। इसके साथ ही लिपि सिंगर होने के साथ ही समाज सेविका भी हैं।
लिपि मेश्राम छत्तीसगढ़ की पहली महिला बन गई हैं, जिन्होंने ये खिताब अपने नाम किया है। कभी पूरी तरह से शहरी माहौल से दूर रहने वाली लिपि कहानी बड़ी ही रोचक है। वो ग्लैमर की दुनिया में आना तो चाहती थीं, लेकिन मन में एक घबराहट थी। बाद में परिवार के लोगों का साथ मिला और वो बस्तर छोड़कर भिलाई आ गईं। यहीं पर लिपि ग्लैमरस स्टूडियो के साथ जुड़ गईं।
उन्होंने कई सारे ब्यूटी कॉन्टेस्ट में हिस्सा लिया और सफलता का परचम लहराया। ग्लैमरस सुपरमॉडल मिस इंडिया कॉन्टेस्ट के चार राउंड को सफलता पूर्वक क्लियर करने के बाद लिपि को गोवा जाना पड़ा। वहाँ पर भी लिपि ने चार दिन तक अलग-अलग कॉन्टेस्ट में हिस्सा लिया। सभी में वो सफल भी हुईं और आखिर में ‘मिस इंडिया’ बन गईं। इस प्रतियोगिता में लिपि ने देश भर की 30 कंटेस्टेंट को पराजित किया। बहरहाल बॉलीवुड में कदम रखने की कोशिशों के तहत अब वो रामोजी फिल्म सिटी में ऑडिशन देने की तैयारी कर रही हैं।
गौरतलब है कि साल 2009 का वो वक्त था, जब बस्तर जिले के लौंडीगुड़ा गाँव में नक्सलियों ने उनके पिता विनय मेश्राम पर झूठा इल्जाम लगाया था। इसके बाद उन्होंने उनके घर के सामने ही गोली मार दी। वो आईएएस की तैयारी भी कर रही हैं। उनके कार्यों को देखते हुए उन्हें बस्तर संभाग में ‘स्वच्छ भारत अभियान’ का ब्रांड एंबेसडर बनाया गया है।