तेलंगाना में बीते महीने रेप की कोशिश में नाकाम रहने के बाद जिंदा जलाई गई 13 साल किशोरी की गुरुवार रात हैदराबाद में एक निजी अस्पताल इलाज के दौरान मौत हो गई। पीड़िता ने मरने से पहले पुलिस को दिए बयान में आरोपितों की पहचान भी की थी। पुलिस ने 26 साल के आरोपित अल्लम मरैया (Allam Maraiah) को गिरफ्तार कर लिया है।
यह घटना 18 सितंबर को तेलंगाना के खम्मम जिले की है। मामले की जाँच कर रहे खम्मम पुलिस आयुक्त तौफसर इकबाल ने कहा, “नाबालिग ने हैदराबाद में इलाज के दौरान दम तोड़ दिया। भारतीय दंड संहिता की धारा 302 के तहत अब हमने हत्या का मामला दर्ज किया है।” इससे पहले आरोपित पर POSCO, घटना को दबाने की कोशिश और गलत जानकारी देने के लिए आईपीसी की धारा 201 के तहत मामला दर्ज किया गया था।
पीड़िता ने अपने बयान में बताया था कि 18 सितंबर को उसके साथ यह घटना घटित हुई थी। जब वह हत्यारोपी युवक के घर में उसके बीमार पिता की देखभाल का काम कर रही थी। मजिस्ट्रेट को दिए बयान के मुताबिक, किशोरी जब युवक के घर उसके पिता की देखभाल के लिए आई तो उसने दुष्कर्म का प्रयास किया। किशोरी ने इसका विरोध किया तो गुस्से में आकर अल्लम मरैया (Allam Maraiah) ने उस पर पेट्रोल डालकर आग लगा दी।
किशोरी को 70 फीसदी जली हालत में अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहाँ वह जिंदगी और मौत के बीच झूल रही थी। पुलिस ने बताया आरोपित के परिवार द्वारा गुपचुप तरीके से खम्मन के एक निजी अस्पताल में लड़की का इलाज कराया जा रहा था। मामले में 2 हफ्ते बाद यानी 4 अक्टूबर को पीड़ित परिवार द्वारा एफआईआर दर्ज कराया गया, जब लड़की की हालत गंभीर हो गई थी।
पुलिस को पहले आरोपित ने घटना को एक हादसा बताया था। पुलिस ने गहराई से जाँच की तो यह जानकारी तेजी से फैली। पुलिस ने कहा, “हमें 4 अक्टूबर को पीड़िता की वास्तविक स्थिति के बारे में जानकारी मिली, जिसके बाद हमने मामले में शिकायत दर्ज की और आरोपित को हिरासत में ले लिया।”
खम्मम के पुलिस आयुक्त तौफसर इकबाल ने कहा, “हत्या और रेप के प्रयास के अलावा साक्ष्य छिपाने और नष्ट करने का केस भी आरोपित के खिलाफ दर्ज किया गया है। युवक शादीशुदा है और घटना के वक्त उसकी गर्भवती पत्नी अपने मायके गई हुई थी।” इकबाल ने कहा कि जिले के चिकित्सा अधिकारियों को यह पता करने को कहा है कि क्यों अस्पताल के डॉक्टरों या परिवार ने इस घटना की जानकारी शुरुआत में पुलिस को नहीं दी।