संभल में भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (ASI) की चार-सदस्यीय टीम ने प्राचीन कार्तिकेय मंदिर और आसपास के क्षेत्रों का गुप्त तरीके से सर्वेक्षण और कार्बन डेटिंग की है। टीम ने शुक्रवार (20 दिसंबर 2024) को 5 तीर्थ स्थलों और 19 प्राचीन कूपों का निरीक्षण किया।
जिलाधिकारी राजेंद्र पेंसिया ने बताया कि मंदिर का सर्वेक्षण और कार्बन डेटिंग सफलतापूर्वक और सुरक्षित तरीके से संपन्न की गई है। सुरक्षा कारणों से इस प्रक्रिया को गुप्त रखा गया, ताकि किसी भी तरह की अप्रिय स्थिति न बने। क्षेत्र में भारी पुलिस बल तैनात किया गया है ताकि सुरक्षा सुनिश्चित हो सके।
#WATCH | Uttar Pradesh: Inspection underway in Sambhal by 4-member ASI team
— ANI (@ANI) December 20, 2024
Sambhal DM Dr Rajender Pensiya said, " It was a 4-member team. In Sambhal, 5 'teerth' and 19 wells were monitored by ASI…the new temple that was found was also monitored. Survey took place 8-10… pic.twitter.com/ZZTkfx2DLV
जानकारी के अनुसार, कार्तिकेय मंदिर 46 सालों से बंद था। 14 दिसंबर को पुलिस ने उपद्रवियों की तलाश के दौरान दीपा राय इलाके में मंदिर की खोज की थी। यह मंदिर सपा सांसद जिया उर्रहमान बर्क के घर से लगभग 200 मीटर की दूरी पर स्थित है। मंदिर को खुलने के बाद 15 दिसंबर को पूजा-अर्चना शुरू की गई और उसी दौरान मंदिर परिसर में प्राचीन खंडित मूर्तियों और कूपों की जानकारी मिली।
संभल में ASI की टीम ने भद्रकाश्रम, स्वर्गदीप, चक्रपाणि तीर्थ और प्राचीन श्मशान मंदिर जैसे स्थानों का निरीक्षण किया। इसके अलावा, 19 प्राचीन कूपों की स्थिति और ऐतिहासिक महत्व का भी गहन अध्ययन किया गया। इन सभी कूपों और तीर्थों का अध्ययन ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्व को समझने के लिए किया गया। बताया जा रहा है कि इस निरीक्षण से इतिहास के नए पहलुओं पर रोशनी डालने की उम्मीद है।
विशेषज्ञ टीम ने सभी प्रक्रियाएँ गुप्त तरीके से संपन्न की और इसकी रिपोर्ट को सुरक्षा कारणों से गुप्त रखा गया है। ASI ने प्रशासन से अनुरोध किया था कि सर्वेक्षण प्रक्रिया को मीडिया कवरेज से दूर रखा जाए, जिससे किसी भी तरह की तनावपूर्ण स्थिति उत्पन्न न हो।
कब्रिस्तान के पीछे मिला प्राचीन कुआँ, पास में गोपंच तीर्थ
इस बीच, संभल में हयातनगर थाने के पीछे कबिस्तान में एक प्राचीन कुआँ भी मिला है। मौके पर एसडीएम वंदना मिश्रा और सीओ अनुज चौधरी पहुँचे और कर्मचारियों को बुलाकर कुएँ का निरीक्षण कराया। बताया जा रहा है कि कब्रिस्तान के पास ही संभल के 68 तीर्थों में से एक गोपंच तीर्थ है, जोकि बेहद जर्जर हालत में है। अब अधिकारी गोपंच तीर्थ के बारे में भी जानकारी जुटा रहे हैं।
संभल में यह सर्वे ऐसे समय हुआ है जब वहाँ मंदिर मिलने का मुद्दा गरमाया हुआ है। हिंसा के बाद प्रशासन ने उपद्रवियों की तलाश में सर्च ऑपरेशन चलाया, जिसके दौरान यह मंदिर मिला और बिजली चोरी का मामला भी सामने आया। संभल क्षेत्र अपने प्राचीन धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व के लिए जाना जाता है। यह उम्मीद की जा रही है कि ASI की इस गतिविधि से मंदिर और अन्य स्थलों के ऐतिहासिक महत्व को समझने में मदद मिलेगी और इस क्षेत्र के इतिहास के बारे में नई जानकारी मिलेगी।