पश्चिम बंगाल चुनाव के बाद हुई हिंसा में गैंग रेप पीड़िता रितु (बदला हुआ नाम) ने आरोप लगाया है कि टीएमसी के कुछ गुंडे उसके घर के पास आए थे और उस पर हमले करने की तैयारी कर रहे थे। पीड़िता ने आरोप लगाया कि तृणमूल कॉन्ग्रेस के गुंडों का एक समूह उसके घर के बाहर इकट्ठा हो गया था। सुप्रीम कोर्ट की वकील मोनिका अरोड़ा से बात करते हुए रितु ने कहा कि 6 टीएमसी गुंडे उसके घर के पास एक पेड़ के नीचे इंतजार कर रहे हैं और अधिक लोगों को जमा करने के लिए उन्हें फोन कर रहे हैं। पश्चिम बंगाल की पीड़िता ने कहा कि उसे डर है कि कहीं गुंडे उसके घर पर कभी भी हमला न कर दें।
-TMC men plus Muslims Gangraped her in Birbhum, West Bengal on 2 May.
— Monika Arora (@advmonikaarora) August 24, 2021
-Forced her to join TMC.
-Now assembled outside her house to attack her.
-She & her father may be killed anytime.
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रितु ने आगे कहा कि गुंडों ने उसके चचेरे भाई से संपर्क किया था, जो उनके घर के पास किराने की दुकान चलाता है। उसके चचेरे भाई ने उसे फोन करके बताया कि गुंडे उसे पूछ रहे हैं। जब उसके भाई ने कहा कि वह किसलिए रितु के बारे में पूछ रहे हैं, इस पर उन्होंने कहा कि वे केवल रितु से ही बात करेंगे।
वकील मोनिका अरोड़ा से बात करते हुए पीड़िता ने कहा कि उन्हें आखिरकार टीएमसी के गुंडों की माँगों को स्वीकार करना पड़ा, जो पार्टी में शामिल होने के लिए उनका पीछा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि हालाँकि वह पार्टी में शामिल हो गई हैं, लेकिन वह कभी इसका हिस्सा नहीं बनेंगी। उन्होंने आगे कहा कि वह खुद को और अपने पिता को पिछले कई दिनों से लगातार मिल रही धमकियों और बदनामी से बचाने के लिए टीएमसी में शामिल हुई हैं।
रितु ने आगे कहा कि उनके पिता ने उन्हें केवल एक शो करने के लिए पार्टी में शामिल होने की सलाह दी थी। उन्होंने उसे आश्वासन दिया था कि सीबीआई के हस्तक्षेप के कारण वे सुरक्षित रहेंगे और यह उन्हें रोज़मर्रा के उत्पीड़न से दूर रखने का काम करेगी।
टीएमसी के गुंडे बार-बार रितु पर पार्टी में शामिल होने का दबाव बना रहे हैं
26 जुलाई को ऑपइंडिया की संपादक ने 2 मई को पश्चिम बंगाल में तृणमूल कॉन्ग्रेस की विधानसभा चुनाव में जीत के बाद टीएमसी के अत्याचारों की शिकार हुई रितु से बात की। उसने बताया था कि कैसे राज्य पुलिस और टीएमसी के गुंडों द्वारा उस पर लगातार अपना बयान वापस लेने और टीएमसी में शामिल होने या फिर गंभीर परिणाम भुगतने के लिए दबाव डाला जा रहा था।
29 जुलाई को ऑपइंडिया ने बताया कि कैसे 28 जुलाई को रितु को स्थानीय टीएमसी बदमाश मामून शेख से मिलने के लिए ले जाया गया था, जिसके कहने पर 2 मई, 2021 को टीएमसी के गुंडों ने उसके साथ सामूहिक बलात्कार किया था। उन्होंने उस पर बलात्कार की शिकायत वापस लेने के लिए भी दबाव डाला। साथ ही टीएमसी में शामिल होने या गंभीर परिणाम भुगतने की धमकी भी दी। पीड़िता ने सुप्रीम कोर्ट की एडवोकेट मोनिका अरोड़ा को अपनी दुर्दशा के बारे में बताया था और उसके बाद एनएचआरसी में शिकायत दर्ज कराई गई थी।
NHRC में शिकायत दर्ज
28 जुलाई को NHRC में दर्ज शिकायत में रितु (बदला हुआ नाम) ने बताया कि कैसे शिकायत दर्ज करने के बाद से उसे TMC से धमकियाँ मिल रही थीं। रितु और उसके पिता पर TMC के गुंडों द्वारा की बर्बरता का उल्लेख भी शिकायत में किया गया था।
उसने कहा, “मैं बेहद डरी हुई हूँ और मुझे डर है कि टीएमसी के लोग और पुलिस दोनों एक साथ हैं और मुझ पर अपनी शिकायत वापस लेने का दबाव बना रहे हैं जो मैंने एनएचआरसी को दी थी।” रितु ने अपनी शिकायत में अनुरोध किया कि मेरा एकमात्र अपराध यह है कि मैं एक हिंदू हूँ और मैंने भाजपा को वोट दिया। कृपया मेरी और मेरे परिवार की जान बचाएँ।
रितु ने ऑपइंडिया से बात की
26 जुलाई को ऑपइंडिया से बात करते हुए रितु ने खुलासा किया था कि कैसे टीएमसी के गुंडों ने राज्य पुलिस की मिलीभगत से 2 मई की रात को बंगाल के कई गाँवों और कस्बों में उसे और कई अन्य भाजपा कार्यकर्ताओं पर अत्याचार किया था। रितु ने कहा कि भाजपा के कई पीड़ित जेल में बंद हैं, जबकि टीएमसी के अपराधी खुलेआम घूम रहे हैं, इसलिए वे उनसे काफी डरी हुई थीं।
रितु ने कहा कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से मदद की गुहार लगाने का कोई मतलब नहीं है, क्योंकि उनमें कोई ‘ममता’ नहीं बची है। हालाँकि, उन्होंने पीएम मोदी से मदद की अपील की थी। पूरा इंटरव्यू जहाँ रितु ने ऑपइंडिया की संपादक नुपुर जे शर्मा के साथ अपनी दर्दनाक कहानी साझा की यहाँ पढ़ा जा सकता है।