देश में बढ़ रहे मॉब लिंचिंग के मामलों पर चिंता जाहिर करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को खुला खत लिखने वाले रामचंद्र गुहा, मणि रत्नम और अपर्णा सेन समेत 50 नामी-गिरामी हस्तियों के खिलाफ बिहार में गुरूवार (अक्टूबर 4, 2019) को प्राथमिकी दर्ज की गई है। पुलिस ने इसकी जानकारी देते हुए बताया कि यह एफआईआर बिहार के मुजफ्फरपुर में दर्ज की गई है।
बता दें कि स्थानीय वकील सुधीर कुमार ओझा की ओर से दो महीने पहले दायर की गई एक याचिका पर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट (सीजेएम) सूर्य कांत तिवारी के आदेश के बाद यह प्राथमिकी दर्ज हुई है। ओझा ने कहा कि सीजेएम ने 20 अगस्त को उनकी याचिका स्वीकार कर ली थी। इसके बाद गुरूवार को सदर पुलिस स्टेशन में प्राथमिकी दर्ज हुई।
FIR lodged against nearly 50 celebrities, including Ramchandra Guha, Mani Ratnam and Aparna Sen, who had written an open letter to PM #NarendraModi raising concern over the growing incidents of mob lynchinghttps://t.co/oqAjml5ESc
— The Hindu (@the_hindu) October 4, 2019
ओझा का आरोप है कि इन हस्तियों ने देश और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की छवि को कथित तौर पर धूमिल किया। पुलिस ने बताया कि प्राथमिकी भारतीय दंड संहिता की संबंधित धाराओं के तहत दर्ज की गई है। इसमें राजद्रोह, उपद्रव करने, शांति भंग करने के इरादे से धार्मिक भावनाओं को आहत करने से संबंधित धाराएँ लगाई गईं हैं।
पत्र लिखने वालों में इतिहासकार रामचंद्र गुहा, फिल्म निर्देशक मणिरत्नम, फिल्म निर्देशक अनुराग कश्यप, फिल्म निर्देशक श्याम बेनेगल, अभिनेता सौमित्र चटर्जी, अभिनेत्री अपर्णा सेन, कोंकणा सेन शर्मा और गायिका सुधा मुद्गल आदि शामिल हैं। इस पत्र में लिखा गया था कि ‘जय श्री राम’ एक भड़काऊ नारा बन गया है और इसके नाम पर मॉब लिंचिंग की कई घटनाएँ हो रही हैं, जो कि कानून व्यवस्था के लिए समस्या बन गया है।