आर्यन खान ड्रग्स केस का मामला दबाने के लिए 25 करोड़ की डील के आरोप को लेकर आज NCB की पाँच सदस्यों वाली विजिलेंस टीम ने समीर वानखेड़े से पूछताछ की। चार से साढ़े चार घंटे तक चली इस पूछताछ के बाद समीर वानखेड़े मीडिया से बात किए बिना अपनी गाड़ी में बैठ कर चले गए। एनसीबी की इस टीम का नेतृत्व कर रहे डिप्टी डायरेक्टर जनरल ज्ञानेश्वर सिंह ने इसके बाद मीडिया से बात की।
ज्ञानेश्वर सिंह ने इसके बारे में जानकारी देते हुए बताया, “समीर वानखेड़े से आज पूछताछ की गई। उन्होंने मामले से संबंधित दस्तावेज जमा किए जो माँगे गए थे। जरूरत पड़ी तो उनसे और पूछताछ की जाएगी। जब तक उनके खिलाफ पर्याप्त जानकारी नहीं मिलती तब तक वह क्रूज पर ड्रग्स के मामले में जाँच अधिकारी बने रहेंगे।”
ज्ञानेश्वर सिंह ने 25 करोड़ की इस डील का आरोप लगाने वाले प्रभाकर सैल से कल या परसों (गुरुवार-शुक्रवार) एनसीबी ऑफिस में आकर अपनी बात कहने और केस से संबंधित तथ्यों को रखने का अनुरोध किया। उन्होंने इस मामले में केपी गोसावी से भी अनुरोध किया कि वे आएँ और जाँच में शामिल हों।
ज्ञानेश्वर सिंह ने कहा, “प्रभाकर सैल और किरण गोसावी तक हमारा नोटिस नहीं पहुँचा है। मीडिया के माध्यम से हम उन दोनों से यह अनुरोध करना चाहते हैं कि वे आएँ जाँच में शामिल हों और सबूत दें। हमने उपलब्ध पते पर संपर्क करने की कोशिश की। एक का घर बंद था। दूसरा अपने घर पर उपलब्ध नहीं था।” ज्ञानेश्वर सिंह ने कहा इस केस से जुड़े सभी लोगों को पूछताछ के लिए बुलाया जाएगा।
बता दें कि आर्यन खान ड्रग्स मामले में बड़ा ट्विस्ट तब आया जब इस केस के प्राइम विटनेस केपी गोसावी के बॉडीगार्ड ने बड़ा खुलासा किया। बॉडीगार्ड प्रभाकर सैल ने अपने हलफनामे में बताया कि एनसीबी के दफ्तर में पंचनामा पेपर बताकर खाली कागज में जबरन हस्ताक्षर कराए गए थे। इतना ही नहीं केपी गोसावी व एक अन्य के साथ इस मामले में 25 करोड़ की रिश्वत की भी माँग की गई थी। बाद में यह सौदा 18 करोड़ में तय हुआ था, जिसमें आठ करोड़ रुपए समीर वानखेड़े को देने की बात हो रही थी।