Saturday, November 23, 2024
Homeदेश-समाजदिशा रवि ने डिलीट कर दिया था फोन का पूरा डेटा, अब पुलिस को...

दिशा रवि ने डिलीट कर दिया था फोन का पूरा डेटा, अब पुलिस को निकिता जैकब और शांतनु की तलाश: रिपोर्ट

पुलिस के मुताबिक टूलकिट को तैयार करने और उसका प्रचार-प्रसार करने में दिशा रवि शामिल थी। उसने एक व्हाट्सएप्प ग्रुप बनाया था और उसमें ही इसकी पूरी साजिश रची गई।

दिल्ली पुलिस ने शनिवार (फरवरी 13, 2021) को बेंगलुरु के सोलादेवना हल्ली से पर्यावरण एक्टिविस्ट दिशा रवि को गिरफ्तार किया था। मीडिया रिपोर्टों के अनुसार अब शांतनु और निकिता जैकब नामक दो अन्य आरोपितों की गिरफ़्तारी के लिए मुंबई में दबिश दी जा रही है। पुलिस ने गूगल से भी तकनीकी मदद माँगी है। स्वीडन की क्लाइमेट एक्टिविस्ट ग्रेटा थनबर्ग द्वारा गलती से लीक किए गए टूलकिट डॉक्यूमेंट को लेकर ये कार्रवाई की जा रही है।

दिल्ली पुलिस अपने द्वारका कार्यालय में दिशा से पूछताछ कर रही है। दिशा ने चालाकी करते हुए अपने फोन के डेटा को डिलीट कर डाला, जिसे पुनः प्राप्त करने के लिए फोरेंसिक लैब भेजा गया है। पुलिस का कहना है कि हजारों लोग उक्त साजिश में शामिल हैं, जो खालिस्तान समर्थक आतंकी गुरुपतवंत सिंह पन्नू से प्रभावित हैं। दिशा ने खुद को ‘किसान आंदोलन’ का समर्थक बताया। दिशा के पिता मैसूर में एथलेटिक्स कोच हैं और माँ घरेलू महिला हैं।

‘फ्राइडे फॉर फ्यूचर’ नामक संस्था की संस्थापकों में से एक दिशा रवि उस टूलकिट का प्रचार-प्रसार करने में सक्रिय रूप से शामिल थीं, जिसमें भारत की छवि खराब करने की साजिश रची गई थी। दिल्ली पुलिस ने पहले ही बताया था कि उसने उस टूलकिट को संज्ञान में लिया है, जिसमें भारत के खिलाफ आर्थिक, सांस्कृतिक, और क्षेत्रीय युद्ध छेड़ने के साथ-साथ गणतंत्र दिवस के दिन हुई हिंसा जैसी वारदातों को अंजाम देने के लिए योजना बनाई गई थी।

डॉक्यूमेंट को बनाने वालों के खिलाफ आपराधिक मामला दर्ज किया गया था। दिशा रवि को दिल्ली पुलिस की साइबर क्रिमिनल सेल ने गिरफ्तार किया था। पुलिस ने बताया है कि उस डॉक्यूमेंट को तैयार करने और उसका प्रचार-प्रसार करने में वो शामिल है। दिशा ने एक व्हाट्सएप्प ग्रुप बनाया था और उसमें ही इसकी पूरी साजिश रची गई। इस टूलकिट का ड्राफ्ट बनाने के लिए दिशा रवि ने अन्य साजिशकर्ताओं के साथ मिल कर काम किया

पुलिस के अनुसार, इस प्रक्रिया में इन सबने खालिस्तानी संगठन ‘पोएटिक जस्टिस ग्रुप’ का साथ दिया, जो भारत सरकार के खिलाफ युद्ध छेड़ने के एजेंडे पर काम करता है। दिशा रवि ने ही इस टूलकिट को ग्रेटा थनबर्ग के साथ शेयर किया था। पुलिस ने बताया है कि गलती से ग्रेटा द्वारा इसे ट्वीट किए जाने के बाद दिशा रवि ने उससे उक्त ट्वीट को डिलीट करने को कहा था। दिशा बस 2 लाइन की एडिटिंग करने की बात कर रही है, लेकिन पुलिस के मुताबिक उस डॉक्यूमेंट में काफी ज्यादा एडिटिंग की गई।

दिशा माउंट कार्मेल कॉलेज में BBA की छात्रा है और पेड़-पौधों पर आधारित भोजन को बढ़ावा देने के दावा करती है। साथ ही वो खुद के शाकाहारी होने की बात भी कहती है। पटियाला हाउस कोर्ट में रोते हुए दिशा ने कहा कि उसने तो बस डॉक्यूमेंट में दो लाइन की एडिटिंग की है। उसके मोबाइल फोन्स और लैपटॉप्स सहित सारे गैजेट्स जब्त कर लिए गए हैं। राजद्रोह के अलावा उसके खिलाफ IPC की धारा 124A (लिखित शब्दों या संकेतों द्वारा भारत में विधि द्वारा स्थापित सरकार के खिलाफ घृणा फैलाना) के तहत भी मामला दर्ज किया गया है।

इन दोनों धाराओं के अलावा धारा-153 (अपने बयानों से सांप्रदायिक शत्रुता पैदा करना), 153A (लिखित बयानों या संकेतों द्वारा दंगे जैसी स्थिति पैदा करने की कोशिश) और 120B (आपराधिक साजिश) के तहत मामला दर्ज हुआ है। ग्रेटा थनबर्ग ने उसके संस्था ‘FFF’ को समर्थन दे रखा है। दिशा ‘गुड माइल्ड’ नामक कंपनी से भी जुड़ी हुई है। कोर्ट में उसने किसानों को ‘भोजन-पानी’ देने वाला बता कर इमोशनल माहौल बनाने की कोशिश की।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

अडानी के बाद अमेरिका के निशाने पर एक और भारतीय: न्याय विभाग ने संजय कौशिक पर अमेरिकी एयरक्राफ्ट तकनीक रूस को बेचने का लगाया...

अमेरिका में अडानी समूह के बाद एक और भारतीय व्यक्ति को निशाना बनाया गया है। संजय कौशिक नाम के एक और भारतीय नागरिक को गिरफ्तार किया गया है।

छात्रों को तिलक लगाने और ‘जय श्रीराम’ ने रोका: हिमाचल प्रदेश के संस्कृत विश्वविद्यालय में हिंदू संगठनों का विरोध प्रदर्शन, कहा- प्रोफेसर के खिलाफ...

हिमाचल प्रदेश के संस्कृत संस्थान के छात्रों ने आरोप लगाया है कि एक प्रोफेसर तिलक लगाने और जय श्री राम का नारा लगाने से मना करता है।
- विज्ञापन -