नक्सली संगठन PLFI (पीपुल्स लिबरेशन फ्रंट ऑफ इंडिया) का मुखिया रहा दिनेश गोप फ़िलहाल जेल में बंद है। अब प्रवर्तन निदेशालय (ED) उसकी करोड़ों की संपत्ति की जाँच कर रहा है। उसकी दोनों पत्नियाँ भी जेल में हैं, जिनसे पूछताछ की जाएगी। उसने अपनी दोनों पत्नियों के माध्यम से ही अच्छी-खासी रकम को कई जगहों पर निवेश कर रखा है। हीरा देवी और शकुंतला कुमारी से पूछताछ करने के लिए जाँच एजेंसी को इसके लिए अनुमति भी प्राप्त हो गई है।
बता दें कि दिनेश गोपी अक्सर लेवी के पैसे उठाता था, लेकिन वो इसे कहाँ इन्वेस्ट करता था इस संबंध में ज्यादा कुछ पता नहीं चल पाया है। इस महीने की शुरुआत में हुई पूछताछ में उसने रंगदारी में मिले रुपयों के निवेश का थोड़ा सा हिसाब-किताब दिया है, लेकिन ये पर्याप्त नहीं है। उसका करोड़ों रुपए का अवैध निवेश है। राँची स्थित PMLA (मनी लॉन्ड्रिंग) कोर्ट ने उसकी दोनों बीवियों से इस संबंध में पूछताछ कर जानकारी हासिल करने की अनुमति दे दी है।
याद दिला दें कि दिनेश गोप को NIA के विशेष दस्ते ने उसकी दोनों पत्नियों को कोलकाता से 30 जनवरी, 2022 को गिरफ्तार किया था। उसके पास से लाखों रुपए भी बरामद किए गए थे। उसकी दोनों पत्नियों को बिरसा मुंडा केंद्रीय जेल में बंद कर के रखा गया है। वहीं इस साल 21 मई को दिनेश गोप भी नेपाल से धरा गया। बिहार, झारखंड और ओडिशा में उसके ऊपर 102 मामले दर्ज हैं। 2 दशक तक उसने आतंक फैला कर रखा और करोड़ों रुपयों की उगाही की।
प्रतिबंधित नक्सली संगठन पीएलएफआई (पीपुल्स लिबरेशन फ्रंट ऑफ इंडिया) के सुप्रीमो दिनेश गोप के करोड़ों के अवैध निवेश पर ईडी (#ED) की टीम अब उसकी दो पत्नियों हीरा देवी और शकुंतला कुमारी से पूछताछ करेगी। रांची (#Ranchi) स्थित पीएमएलए (प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग) कोर्ट ने इनसे दो… pic.twitter.com/aHQnRdW5fO
— IANS Hindi (@IANSKhabar) July 15, 2023
अब तक 2 दर्जन बैंकों में उसके निवेश का पता चला है, जो उसने अपनी दोनों पत्नियों के माध्यम से ही कर रखा है। उसकी पत्नियों के बैंक खातों से 19.93 लाख रुपए जब्त हुए थे। 2 दर्जन से अधिक बैंक खातों के जरिए 2.50 करोड़ रुपए के लेनदेन का पता चला था। शेल कंपनियों से लेकर रिश्तेदारों तक एक नाम पर ये लेनदेन किए गए। मेसर्स भाव्या इंजीकॉन, मेसर्स शिव आदि शक्ति मिनरल्स, मेसर्स शक्ति समृद्धि इंफ्रा और पलक इंटरप्राइजेज जैसी कंपनियों के माध्यम से ये सब किया गया। शकुंतला अपने सहयोगी सुमंत के साथ मिल कर इन्हें चला रही थी।