प्रवर्तन निदेशालय (Enforcement Directorate) अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम के खास गुर्गे इकबाल मिर्ची की मौत के कई सालों बाद महाराष्ट्र के वर्ली में स्थित उसकी इमारत में अपना नया दफ्तर शिफ्ट करने वाला है। एक समय यह इमारत ड्रग्स तस्कर इकबाल मेमन उर्फ इकबाल मिर्ची की प्रॉपर्टी थी।
इकबाल मिर्ची (Iqbal Mirchi) डीएचएफएल (DHFL) मामले की जाँच कर रही ईडी का जोनल ऑफिस मुंबई की प्राइम लोकेशन वर्ली के सीजे हाउस (Ceejay House) के दो फ्लोर में शिफ्ट हो रहा है। प्रीमियम रियल एस्टेट का निर्माण राकांपा (NCP) नेता प्रफुल्ल पटेल की कंपनी ने किया था और उन्होंने उस जमीन का एक हिस्सा लिया था, जहाँ मिर्ची का पब स्थित था।
मिर्ची और उसके परिवार को इस इमारत की दो मंजिलें दी गई थीं, जिसमें एक मंजिल 9,000 वर्ग फुट में और दूसरी 5,000 वर्ग फुट में फैली हुई है। मिर्ची, उसकी बीवी हाजरा और दोनों बेटे आसिफ और जुनैद मनी लॉन्ड्रिंग में शामिल थे। पिछले साल फरवरी में इन्हें ‘भगोड़ा आर्थिक अपराधी अधिनियम 2018 कानून’ के तहत ‘भगोड़े आर्थिक अपराधी’ घोषित किया गया था। आदेश के बाद ईडी के अधिकारियों ने मिर्ची की 15 संपत्तियों को जब्त करने के लिए अदालत का रुख किया था।
ईडी के अधिकारियों ने अब सीजे हाउस को अपने कब्जे में ले लिया है। वर्तमान में ईडी के दो जोनल ऑफिस बैलार्ड एस्टेट में कैसर ए हिंद भवन (Kaiser E Hind) में स्थित हैं। ईडी ने इस मामले में मिर्ची के सहयोगियों और डीएचएफएल कपिल वधावन के प्रमोटरों सहित कई लोगों को गिरफ्तार किया था। संयुक्त अरब अमीरात में रहने वाले मिर्ची के बेटे और बीवी हाजरा यूनाइटेड किंगडम में शिफ्ट हो गए थे और कई सम्मन के बावजूद जाँच एजेंसी के सामने पेश नहीं हुए हैं।
बता दें कि मई 1986 में इकबाल मिर्ची पहली बार ठाणे के एक फार्म हाउस से 9 करोड़ रुपए कीमत की 600 किलो हेरोइन के साथ रेवेन्यू इंटेलिजेंस के हत्थे चढ़ा था, लेकिन वह इस मामले से बच गया था। इसके बाद उसे लंदन में अप्रैल 1995 में इंटरपोल ने गिरफ्तार किया था। हालाँकि, ब्रिटेन में ठोस सबूतों के अभाव में उसे बरी कर दिया गया था। वर्ष 2001 में उसे वहाँ रेजिडेंसी परमिट भी मिल गया था। बता दें कि इकबाल मिर्ची की वर्ष 2013 में लंदन में दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई थी।