नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो के अधिकारी समीर वानखेड़े के खिलाफ बार-बार अपमानजनक बयान देने को लेकर बॉम्बे हाईकोर्ट की खंडपीठ ने एनसीपी नेता और महाराष्ट्र सरकार के मंत्री नवाब मलिक को कड़ी फटकार लगाई है। इसके बाद नवाब मलिक ने कहा है कि अब वे 9 दिसंबर तक समीर वानखेड़े के खिलाफ कोई भी सार्वजनिक बयानबाजी नहीं करेंगे।
दरअसल, समीर वानखेड़े के पिता ज्ञानदेव ने नवाब मलिक के खिलाफ इस मामले में बॉम्बे हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। इस मामले पर सुनवाई कर रही बॉम्बे हाईकोर्ट की जस्टिस शाहरुख कथावाला और मिलिंद जाधव की खंडपीठ के समक्ष मलिक के वकील कार्ल तांबोले ने कहा, “हमें निर्देश मिल चुका है और अब वह 9 दिसंबर तक कोई भी टिप्पणी नहीं करेंगे।”
बॉम्बे हाईकोर्ट के जस्टिस कथावाला ने तल्ख टिप्पणी करते हुए कहा, “वह प्रतिदिन किस तरह की मीडिया पब्लिसिटी चाहते हैं, खासकर उनके दामाद के गिरफ्तार होने के बाद… वो एक मंत्री हैं। क्या उन्हें इस तरह के कार्य शोभा देते हैं?” कोर्ट में वानखेड़े की पैरवी वकील बीरेंद्र सराफ ने की। उन्होंने कहा, “अदालत ने माना है कि यह द्वेष और दुश्मनी से प्रेरित है। इससे एक व्यक्ति की इमेज को अपूरणीय रूप से क्षति हुई है।”
जज ने सोमवार ये देखा कि नवाब मलिक ने अधिकारी के खिलाफ ईर्ष्या और शत्रुता के कारण अपमानजनक बयान दिए थे, जबकि मलिक को वानखेड़े के खिलाफ किसी भी तरह की टिप्पणी करने से पहले तथ्यों का सत्यापन करना चाहिए। दीवाली से पहले जस्टिस जामदार ने वानखेड़े के मामले की सुनवाई की थी, लेकिन कोर्ट ने मलिक को आपत्तिजनक टिप्पणियाँ करने से नहीं रोका था।
कोर्ट में जिरह के दौरान मलिक के वकील तंबोले ने आरोप लगाया कि वानखेड़े ने सिविल सर्विस ज्वाइन करने के लिए फर्जी कास्ट सर्टिफिकेट का इस्तेमाल किया था। इस पर जस्टिस कथावाला ने पूछा, ”क्या नवाब मलिक ने अपनी शिकायत जाति जाँच समिति को दे दी है? उन्होंने ऐसा नहीं किया? फिर वो चाहते क्या हैं? मीडिया के सामने जाने से पहले उन्हें ऐसा करना चाहिए।”
जस्टिस माधव ने तल्ख टिप्पणी करते हुए कहा, “एक मंत्री होने के नाते, वीआईपी ट्रीटमेंट के साथ, आपको सभी दस्तावेज मिलते हैं, लेकिन शिकायत नहीं किया।”
गौरतलब है कि जब से समीर वानखेड़े शाहरुख खान के बेटे आर्यन खान के खिलाफ ड्रग्स केस की जाँच शुरू की, तभी से नवाब मलिक उनके खिलाफ बयानबाजी कर रहे हैं। हाल ही में नवाब मलिक ने एक तस्वीर जारी कर समीर वानखेड़े के मुस्लिम होने का दावा किया था।