वीवो के बाद चीन की एक और स्मार्टफोन कंपनी ओप्पो इंडिया (Oppo India) पर भारत में टैक्स चोरी के आरोप लगे हैं। डायरेक्टोरेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलीजेंस (DRI) ने ओप्पो इंडिया द्वारा 4389 करोड़ रुपए कस्टम ड्यूटी की चोरी के मामले का खुलासा किया है।
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— Munsif Vengattil (@MunsifV) July 13, 2022
India accuses Chinese smartphone maker Oppo of $551 million tax evasion.
News comes as Oppo’s sister firm Vivo is facing a money laundering probe by India’s financial crime agency. Both firms are owned by China’s BBK Electronics. pic.twitter.com/lZhAUwVPl5
डीआरआई ने बुधवार (13 जुलाई 2022) को एक बयान जारी किया, “जाँच के दौरान, DRI ने ओप्पो इंडिया के ऑफिस, कैंपस की तलाशी ली। इसके अलावा मैनेजमेंट के लोगों के आवास पर भी छापेमारी की गई। इस दौरान ओप्पो इंडिया द्वारा आयात की गई कुछ वस्तुओं के विवरण में जानबूझकर गलत जानकारी दिए जाने के सबूत मिले हैं।”
Directorate of Revenue Intelligence (DRI) searched mobile company Oppo India & unearths customs duty evasion of Rs 4389 Cr by Oppo India: DRI
— ANI (@ANI) July 13, 2022
बयान के मुताबिक, ओप्पो इंडिया ने गलत जानकारी की वजह से 2981 करोड़ रुपए का अवैध लाभ उठाया है। इसके अलावा इस कंपनी के सीनियर मैनेजमेंट कर्मचारियों और घरेलू आपूर्तिकर्ताओं से पूछताछ भी की गई है। इनमें से कुछ लोगों ने अपने बयान में कस्टम अधिकारियों के सामने आयात को लेकर गलत जानकारी देने की बात स्वीकार कर ली है।
जाँच में यह भी सामने आया है कि ओप्पो इंडिया ने चीन में मल्टीनेशनल कंपनियों को भुगतान की गई ‘रॉयल्टी’ और ‘लाइसेंस शुल्क’ को उनके द्वारा आयात किए गए सामान के लेनदेन मूल्य में नहीं जोड़ा था। यह सीमा शुल्क अधिनियम, 1962 की धारा 14 का उल्लंघन है। इस वजह से ओप्पो इंडिया द्वारा 1,408 करोड़ रुपए की टैक्स चोरी की गई।
रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस मामले में ओप्पो इंडिया को कारण बताओ नोटिस जारी कर कुल 4389 करोड़ रुपए की कस्टम ड्यूटी की माँग की गई है। नोटिस में सीमा शुल्क अधिनियम, 1962 के प्रावधानों के तहत ओप्पो इंडिया, कंपनी के कर्मचारियों, ओप्पो चीन पर जरूरी दंड का भी उल्लेख है। ओप्पो इंडिया ने अपनी तरफ से कस्टम ड्यूटी के नाम पर केवल 450 करोड़ रुपए रकम का भुगतान ही किया है।
गौरतलब है कि चीनी स्मार्टफोन कंपनी वीवो (Vivo) को लेकर प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने 7 जुलाई 2022 को बड़ा खुलासा किया था। ईडी ने बताया था कि वीवो ने भारत में टैक्स चोरी के लिए 62476 करोड़ रुपए ‘गैरकानूनी तरीके से’ चीन को भेजे। यह रकम वीवो के कुल टर्नओवर 125185 करोड़ रुपए का लगभग आधा है। यह रकम 2017 से 2021 के बीच भेजी गई थी। प्रवर्तन निदेशालय ने यह कार्रवाई भारत में 23 कंपनियाँ बनाने में चीन के तीन नागरिकों के शामिल होने की जानकारी सामने आने के बाद की थी।