रांची के डोरंडा स्थित उर्स मैदान में मॉब लिंचिंग के ख़िलाफ़ आयोजित मुस्लिम संगठनों के जनाक्रोश सभा के बाद शहर में काफ़ी बवाल मच गया। नौबत यहाँ तक आन पड़ी कि दो लोगों को रांची के मेडिका अस्पताल में भर्ती तक कराना पड़ गया। दोनों इंद्रपुरी, रातू रोड के रहने वाले हैं। बवाल के दौरान चंदन उर्फ़ विवेक श्रीवास्तव के पेट और सीने में चाकू घोंपा गया था और दीपक नाम के शख़्स बेरहमी से पीटा गया था। उनके स्वास्थ्य का हाल-चाल जानने के लिए शनिवार (6 जुलाई) को विकास मंत्री सीपी सिंह, सांसद संजय सेठ अस्पताल पहुँचे।
ज्ञात हो कि पिछले दिनों में चोरी के आरोप में पिटाई के बाद हिरासत में तरबेज़ अंसारी की मौत के बाद जगह-जगह प्रदर्शन हो रहे हैं। इस मुद्दे पर जहाँ एक तरफ़ सियासत गरमा गई है, तो वहीं दूसरी तरफ़ भावनाओं को भड़का कर कुछ लोग माहौल बिगाड़ने पर तुले हुए हैं।
दरअसल, शुक्रवार (5 जुलाई) को शहर में चार घंटे के अंदर दो जगहों पर जमकर उत्पात मचा। पहली घटना, राजेंद्र चौक पर हुई, जहाँ जनाक्रोश सभा से लौट रही भीड़ ने कुछ बस यात्रियों की टीका-टिप्पणी के बाद जमकर उत्पात मचाया। यहाँ जमकर पत्थबाज़ी की गई, कई बसों और कारों के शीशे तोड़े गए। बाइक और ई रिक्शा को भी नही बख़्शा गया। अफ़रा-तफ़री के इस हालात पर पुलिस को क़ाबू पाने में कड़ी मशक्कत करनी पड़ी। इस घटना के बाद पूरा मेन-रोड छावनी में तब्दील हो गया।
रांची के राजेंद्र चौक और मेन रोड में एकरा मस्जिद के पास अलग-अलग समय में हुए विवाद में मुस्लिमों की भीड़ ने जमकर उत्पात मचाया। इस दौरान डेढ़ दर्जन से अधिक वाहनों में तोड़-फोड़ की गई, लोगों के साथ मारपीट भी की गई। दोनों ही जगह पर पुलिस ने बड़ी मुश्किल से हालात पर क़ाबू पाया। इस घटना के बाद पूरे शहर में तनाव का माहौल पसर गया। एहतियात के तौर पर पूरे शहर में भारी पुलिस बल की तैनाती की गई। वहीं दूसरी तरफ़, जनाक्रोश सभा से ही निकलकर एयरपोर्ट के पीछे एयरपोर्ट ग्राउंड में तीन युवकों की 20-25 युवकों ने जमकर पिटाई कर दी।
ख़बर के अनुसार, जनाक्रोश सभा के आयोजकों पर डोरंडा थाने में FIR दर्ज कराई गई। आयोजकों में एजाज़ गद्दी, मौलाना ओबेदुल्लाह कासमी, शमशेर आलम समेत अन्य के नाम शामिल हैं। FIR के अनुसार, इन पर आरोप है कि इन्होंने बिना वजह सभा का आयोजन किया और शहर में माहौल बिगाड़ने की कोशिश की क्योंकि उर्स मैदान में आयोजकों को लाउडस्पीकर लगाने से मना कर दिया गया था।
बिना एसडीओ की इजाज़त के जनाक्रोश सभा का आयोजन भी किया गया और मुस्लिम संगठनों के लोग इसमें शामिल भी हुए। धीरे-धीरे लोगों की भीड़ जुलूस में बदल गई। जानकारी के अनुसार, जनाक्रोश सभा के समाप्त होने के बाद भीड़ अलग-अलग टुकड़ियों में नारेबाज़ी कर लौट रही थी। इसी बीच बस में बैठे कुछ लोगों ने कमेंट कर दिए। इसके बाद भीड़ में शामिल मुस्लिम समुदाय के लोगों ने बस में पथराव शुरू कर दिया और लाठी-डंडों से बस के शीशे तोड़ दिए।