उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को अधिकारियों को कोरोनोवायरस के प्रसार को रोकने के लिए लगाए गए लॉकडाउन के दौरान गरीबों और प्रवासी मजदूरों को भोजन उपलब्ध कराने के लिए सामुदायिक रसोई शुरू करने के निर्देश दिए।
राज्य में कोविड-19 के प्रकोप को लेकर अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक में, सीएम योगी आदित्यनाथ ने उन्हें यह सुनिश्चित करने के लिए कहा कि मजदूरों, दैनिक वेतन भोगी श्रमिकों, स्ट्रीट वेंडरों, ठेला चालकों और अन्य लोगों के लिए भोजन की कोई कमी न हो और उनके लिए लॉकडाउन के दौरान उचित भोजन उपलब्ध कराए जाने को कहा।
लॉकडाउन के दौरान राज्य में कोई भी भूखा न रहें: सीएम योगी
योगी आदित्यनाथ ने यूपी प्रशासन के अधिकारियों को सामुदायिक रसोई संचालित करने का निर्देश दिया, ताकि लॉकडाउन अवधि के दौरान राज्य में कोई भी भूखा न रहे। यूपी सरकार के एक प्रवक्ता ने कहा कि सीएम ने कोविड-19 की समीक्षा बैठक में अधिकारियों से कहा कि कोई भी मजदूर, ठेला चालक, स्ट्रीट वेंडर, दिहाड़ी मजदूर और अन्य जरूरतमंद लोगों को उनके और उनके परिवार के लिए भोजन प्राप्त करने में कठिनाइयों का सामना न करना पड़े।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को राज्य में लोगों की खाद्य आवश्यकताओं के लिए कृषि उत्पादन आयुक्त के साथ मिलकर काम करने को कहा। रिपोर्ट्स के मुताबिक योगी ने कहा, “यह सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि कोई भी व्यक्ति भोजन की अनुपलब्धता के कारण परेशान न हो।”
यूपी सरकार का पत्रकारों को मुफ्त कोविड वैक्सीन लगाने का फैसला
वहीं एक और महत्वपूर्ण घोषणा के तहत योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व वाली उत्तर प्रदेश सरकार ने पत्रकारों को ‘फ्रंटलाइन वर्कर्स’ घोषित करते हुए कहा कि कोविड-19 टीकाकरण के दौरान उन्हें वरीयता दी जाएगी।
यूपी सरकार द्वारा जारी बयान में कहा गया कि पत्रकारों और उनके परिवारवालों (18+) को कोविड वैक्सीन मुफ्त में लगाई जाएगी और पत्रकारों को टीकाकरण के लिए एक अलग केंद्र बनाया जाएगा।