Sunday, September 8, 2024
Homeदेश-समाजआंध्र प्रदेश : जगन मोहन रेड्डी की जीत पर लगाया ₹30 करोड़ का दाँव,...

आंध्र प्रदेश : जगन मोहन रेड्डी की जीत पर लगाया ₹30 करोड़ का दाँव, बुरी हार के बाद YSRCP के नेता ने जहर खाकर दे दी जान

आंध्र प्रदेश में जगन मोहन रेड्डी की पार्टी YSRCP को बुरी तरह हार मिली थी, जिसके बाद उनकी पार्टी पर 30 करोड़ की शर्त लगाने वाले एक नेता ने आत्महत्या कर ली, क्योंकि वो कर्ज में डूब गया था।

आंध्र प्रदेश में जगन मोहन रेड्डी की पार्टी YSRCP के नेता ने आत्महत्या कर ली। YSRCP के नेता जग्गावरपु वेणुगोपालारेड्डी ने जगन मोहन रेड्डी की पार्टी की जीत पर 30 करोड़ रुपए का दाँव लगाया था, लेकिन पार्टी की बुरी तरह से हार की वजह से सारे पैसे चले गए, जिसके बाद जग्गावरपु ने आत्महत्या कर ली। YSRCP नेता जग्गावरपु वेणुगोपालारेड्डी जो पैसे हार गए, उसके लिए उनके घर पर लोगों ने पथराव भी किया था, जिसके बाद उन्होंने ये कदम उठा लिया।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, ये मामला आंध्र प्रदेश एलुरु जिले के तुरपुदीगावल्ली गाँव की है। जहाँ 52 साल के जग्गावरपु वेणुगोपालारेड्डी ने नुजिवेदु मंडल निर्वाचन क्षेत्र में वाईएसआरसीपी की जीत पर पैसे लगाए थे। उन्होंने कई गाँवों में शर्त लगाई थी, लेकिन जगन मोहन रेड्डी की पार्टी हार गई, जिसकी वजह से उन पर काफी देनदारी बढ़ गई थी।

बताया जा रहा है कि जब 4 जून 2024 को वोटों की गिनती चल रही थी, और YSRCP की हार होने लगी, तो वेणुगोपालारेड्डी अपने गाँव से फरार हो गए थे। इसके बाद 7 जून को वेणुगोपालारेड्डी के घर पर कर्ज देने वालों ने हमला कर दिया और एयर कंडीशनर के साथ ही सोफा और बेड समेत उनकी संपत्तियों को लूट लिया गया। दूसरे दिन जब वो घर लौटा, तो पता चला कि उसके घर पर लोगों ने तोड़फोड़ की है। वो लोग पैसों की माँग कर रहे थे, जिसके बाद उसने कीटनाशक पी लिया। इस मामले में पुलिस के एसआई प्रसाद रेड्डी ने कहा कि पुलिस अभी मामले की जाँच कर रही है।

बता दें कि 4 जून 2024 को आए लोकसभा चुनाव के नतीजों में वाईएसआरसीपी नुजिवीडू मंडल निर्वाचन क्षेत्र की सीट तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) से हार गई। ऐसा कहा जाता है कि वेणुगोपालारेड्डी को 30 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ, कुछ मीडिया रिपोर्टों ने यह राशि 10 करोड़ रुपये बताई।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

ग्रामीण और रिश्तेदार कहते थे – अनाथालय में छोड़ आओ; आज उसी लड़की ने माँ-बाप की बेची हुई जमीन वापस खरीद कर लौटाई, पेरिस...

दीप्ति की प्रतिभा का पता कोच एन. रमेश को तब चला जब वह 15 वर्ष की थीं और उसके बाद से उन्होंने लगातार खुद को बेहतर ही किया है।

शेख हसीना का घर अब बनेगा ‘जुलाई क्रांति’ का स्मारक: उपद्रव के संग्रहण में क्या ब्रा-ब्लाउज लहराने वाली तस्वीरें भी लगेंगी?

यूनुस की अगुवाई में 5 सितंबर 2024 को सलाहकार परिषद की बैठक में यह निर्णय लिया गया कि इसे "जुलाई क्रांति स्मारक संग्रहालय" के रूप में परिवर्तित किया जाएगा।

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -