प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 74 वें स्वतंत्रता दिवस के मौके पर लाल किला पर ध्वजारोहण किया और उसके बाद देश को सम्बोधित किया। इस दौरान केंद्रीय मंत्रिमंडल के कई सदस्यों के साथ-साथ दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल भी वहाँ उपस्थित थे। भाजपा नेताओं का आरोप है कि जब पीएम मोदी ने जब ‘वन्दे मातरम्’ का उद्घोष किया तो, केजरीवाल ने न इसे दोहराया और न हाथ उठाया।
आदेश गुप्ता, मीनाक्षी लेखी, तजिंदर बग्गा, कपिल मिश्रा, मनोज तिवारी और प्रवेश साहिब सिंह वर्मा जैसे नेताओं ने इस आरोप को आगे बढ़ाया और भाजपा के दिल्ली व बिहार के आधिकारिक ट्विटर हैंडलों से इसे ट्वीट किया गया। अब खुद आम आदमी पार्टी (AAP) ही इसकी पुष्टि कर रही है कि दिल्ली सीएम ने उस समय बाकियों से अलग रुख अपनाया, जिसका अर्थ है कि उन्होंने ‘वन्दे मातरम्’ को न तो दोहराया और न ही हाथ उठाया।
आम आदमी पार्टी की नेशनल सोशल मीडिया टीम का हिस्सा आरती चड्ढा ने ट्विटर पर भारत के राष्ट्रगीत के उद्घोष की तुलना जर्मनी में नाजी युग के सैल्यूट यानी हैल हिटलर (Heil Hitler) के साथ की। उन्होंने दो तस्वीरें साझा की जिसमें एक जर्मनी का है और जहाँ सारे लोग ‘हैल हिटलर’ पर हाथ उठा कर सम्मान देते हुए नज़र आते हैं, वहीं एक व्यक्ति है जो भीड़ में खड़ा है, कोई मूवमेंट नहीं कर रहा। इसकी तुलना आरती ने कल के केजरीवाल के वायरल फोटो के साथ की।
यानी, आरती का कहना है कि जिस तरह नाजी जर्मनी में ‘ हैल हिटलर’ पर हाथ उठा कर सम्मान नहीं दिया, ठीक वैसा ही दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने स्वतंत्रता दिवस कार्यक्रम में ‘वन्दे मातरम्’ के साथ किया। साथ ही आरती ने ये भी लिखा कि एक ऐसा व्यक्ति को बाकियों से अलग खड़ा होने की हिम्मत रखता है। आरती ने अरविन्द केजरीवाल को जन्मदिन विश करते हुए ऐसा कहा।
The one who dares to Stand out #HappyBirthdayAK pic.twitter.com/dTuPiluBbx
— Aarti 💗 (@aartic02) August 16, 2020
अब पूरा माजरा समझते हैं। सबसे पहले भाजपा नेता तजिंदर बग्गा ने ट्विटर पर इस वीडियो को शेयर करते हुए दिल्ली के मुख्यमंत्री की आलोचना की। दिल्ली बीजेपी के प्रवक्ता तजिंदर बग्गा द्वारा शेयर किए गए वीडियो में दिख रहा है कि जब पीएम मोदी ‘वन्दे मातरम्’ का उद्घोष करते हैं तो वहाँ उपस्थित सभी लोग अपने दोनों हाथ उठा कर इसे दोहराते हैं, लेकिन अरविन्द केजरीवाल चुपचाप मास्क लगा कर बैठे हुए हैं और उन्होंने कोई मूवमेंट नहीं की।
भाजपा नेता ने ट्विटर पर इस वीडियो को शेयर करते हुए आम आदमी पार्टी के सुप्रीमो से पूछा कि बाटला हाउस एनकाउंटर के आतंकवादियो के लिए तो आपके हाथ बड़ी जल्दी खड़े हुए थे, सर्जिकल स्ट्राइक के समय सेना से सबूत माँगने के लिए तो आपके हाथ बड़ी जल्दी खड़े हुए थे, तो आज आपको कौन सी बीमारी हो गई कि आपने ‘वन्दे मातरम्’ पर आपने हाथ खड़े करने से मना कर दिया?
. @ArvindKejriwal वन्दे मातरम का सम्मान करने से आपका वोट बैंक नाराज हो जाएगा?बाटला आतंकवादियो के लिए तो आपके हाथ बड़ी जल्दी खड़े हुए थे,सेना से सबूत मांगने के लिए तो आपके हाथ बड़ी जल्दी खड़े हुए थे,तो आज कौन सी बीमारी हो गई आपको जो वन्देमातरम पर आपने हाथ खड़े करने से मना कर दिया pic.twitter.com/aIokCMXpjE
— Tajinder Pal Singh Bagga (@TajinderBagga) August 15, 2020
तजिंदर बग्गा ने केजरीवाल से यह भी पूछा कि क्या ‘वन्दे मातरम्’ का सम्मान करने से उनका वोट-बैंक नाराज़ हो जाएगा? सोशल मीडिया पर इस ट्वीट की रिप्लाई में कई लोग भी दिल्ली सीएम से नाराज़ दिखे और लोगों इसका कारण पूछा कि आखिर उन्होंने भारत के राष्ट्रीय गीत से लिए गए उद्घोष का सम्मान नहीं किया? जबकि उनके आसपास बैठे बाकी सभी लोगों ने इस उद्घोष को पूरे जोश में दोहराया।
वहीं पूर्व मंत्री कपिल मिश्रा ने इस वीडियो को शेयर करते हुए लिखा कि 0.01% ऐसे रह जाते हैं, जो डिटॉल से भी नहीं जाते। वहीं अरविन्द केजरीवाल ने जब खुद झंडा फहराया तो उन्होंने अपने मंच से ‘इंकलाब ज़िंदाबाद’ के साथ-साथ ‘वन्दे मातरम्’ का नारा भी लगवाया। इस पर भाजपा सांसद मिनाक्षी लेखी ने कहा कि जब पीएम मोदी ने ये उद्घोष किया तो केजरीवाल शांत बैठे रहे और जब उन्होंने खुद ये नारा लगाया तो उनके पार्टी के नेताओं ने इसे नहीं दोहराया।
वहीं सांसद प्रवेश साहिब सिंह वर्मा कि ‘सड़ जी’ के वंदे मातरम कहने पर उनके पार्टी के मंत्री-कार्यकर्ता चुप्पी लगा गए। साथ ही उन्होंने ‘बोया पेड़ बबूल का तो आम कहाँ से होए’ वाली कहावत का जिक्र करते हुए पूछा कि कैसे लोग हैं ये? उन्होंने कहा कि जब यही नारा पीएम मोदी ने लगवाया तो केजरीवाल के मुँह से कुछ नहीं फूटा। वहीं बिहार भाजपा ने भी चुटकी लेते हुए कहा, “पहले लगा था कि केजरीवाल बिहार से दिल्ली जाने वाले श्रमिकों के खिलाफ हैं, लेकिन ये तो ‘वंदे मातरम’ बोलने के भी खिलाफ हैं जी!“
वंदे मातरम प्रधानमंत्री श्री @narendramodiजी ने कहा@ArvindKejriwal के मुँह से कुछ नहीं फूटा।
— Parvesh Sahib Singh (@p_sahibsingh) August 15, 2020
सड़ जी के वंदे मातरम कहने पर उनके पार्टी के मंत्री कार्यकर्ता चुप्पी लगा गए।
बोया पेड़ बबूल का तो आम कहाँ से होये। कैसे लोग हैं ये? pic.twitter.com/4I8Ecd32k4
दिल्ली भाजपा के पूर्व अध्यक्ष मनोज तिवारी ने भी इस वीडियो को ट्वीट करते हुए कहा कि आज लाल किले की प्राचीर से भारत के यशस्वी प्रधानमंत्री मोदी जी ने भारत माँ का जयघोष करवाया, लेकिन पता नही इस एक शख़्स को भारत माता की जय से क्या तकलीफ है? इसके बाद उन्होंने पूछा कि कहीं ये आप तो नहीं अरविन्द केजरीवाल जी? वहीं दिल्ली में भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष आदेश कुमार गुप्ता भी नाराज़ नज़र आए।
आदेश गुप्ता ने कहा कि अरविंद केजरीवाल ‘वन्दे मातरम्’ ना बोलकर कौन सी धर्मनिरपेक्ष होने की राजनीति कर रहें हैं, ऐसा करके किसे खुश करना चाहते हैं? हर एक दिल्लीवासी आपकी इस राजनीति को देखकर दुखी होगा। इसके बाद उन्होंने पूछा कि स्वतंत्रता दिवस के मौके पर देश ‘वन्दे मातरम्’ के नारे से गूँज रहा है तो केजरीवाल खामोश क्यों हैं? कई लोग भी इससे नाराज़ नज़र आए।
अरविंद केजरीवाल जी ‘वंदे मातरम्’ ना बोलकर कौन सी धर्मनिरपेक्ष होने की राजनीति कर रहें हैं, ऐसा करके किसे खुश करना चाहते हैं?
— Adesh Gupta (@adeshguptabjp) August 15, 2020
हर एक दिल्लीवासी आपकी इस राजनीति को देखकर दुखी होगा। स्वतंत्रता दिवस के मौके पर देश वंदे मातरम् के नारे से गूंज रहा है तो @ArvindKejriwal जी खामोश क्यों? pic.twitter.com/AbPRvGCuZa
हालाँकि, ऑपइंडिया भाजपा नेताओं के इन आरोपों की पुष्टि नहीं करता है, क्योंकि लाइव प्रसारण के दौरान केजरीवाल का चेहरा लम्बे समय तक केंद्रित नहीं था, इसीलिए पूरा फुटेज देखे बिना हम इसकी पुष्टि नहीं कर सकते। ऊपर से इस पर पार्टी का कोई स्पष्टीकरण नहीं आया है। लेकिन, अब आम आदमी पार्टी की राष्ट्रीय सोशल मीडिया टीम की सदस्य आरती ने ही इसकी पुष्टि कर दी है।