पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने रविवार (2 अगस्त, 2020) को राज्य में जहरीली शराब त्रासदी के मामले में सीबीआई जाँच की माँग करने पर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पर निशाना साधते हुए कहा कि उन्हें अपने काम से काम रखना चाहिए। जहरीली शराब कांड में अब तक 100 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है।
Mind your own business, says @capt_amarinder Singh to @ArvindKejriwal‘s demand for handing over hooch deaths probe to CBI. Pulls up Delhi CM for making political meat from tragedy to revive AAP’s lost political fortunes in Punjab
— CMO Punjab (@CMOPb) August 2, 2020
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अरविंद केजरीवाल को आड़े हाथों लेते हुए अमरिंदर सिंह ने एक बयान में आरोप लगाया कि, इतने सारे लोग मारे गए हैं और अरविंद केजरीवाल को इस घटना से राजनीतिक मुद्दा बनाने में दिलचस्पी है।
आम आदमी पार्टी पंजाब की प्रमुख विपक्षी पार्टी है। कैप्टन अमरिंदर ने कहा कि इस मामले में बिना देरी किए वे जल्द से जल्द इसकी जाँच करवाएँगे। वह उन सभी व्यक्तियों के खिलाफ जल्द कड़ी कार्रवाई चाहते हैं, जिनके लालच के कारण राज्य में 100 के करीब जान गई हैं।
बता दें, केजरीवाल ने रविवार को ट्वीट कर इस हादसे पर सीबीआई जाँच की माँग की थी।
Saddened by the loss of lives in Punjab due to illicit liquor. State govt needs to immediately take necessary steps to curb such mafias. The case should be handed over to CBI immediately as none of the illicit liquor cases from the last few months have been solved by local police
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) August 2, 2020
अरविंद केजरीवाल ने आरोप लगाया था कि पंजाब पुलिस द्वारा पिछले कुछ महीनों के दौरान अवैध शराब का कोई भी केस हल नहीं किया गया है।
अब तक 100 से ज्यादा लोगों की जहरीले शराब कांड में मौत हो चुकी है।
The death toll in the unfortunate #HoochTragedyPunjab has reached 104, with 80 deaths in Tarn Taran and 12 each in Batala and Amritsar Rural. Police station wise death toll attached. pic.twitter.com/8bAYg9oY4Y
— Raveen Thukral (@RT_MediaAdvPbCM) August 2, 2020
इस त्रासदी में तरन तारन सबसे ज्यादा प्रभावित क्षेत्र है। जहाँ 80 से ज्यादा लोग अपनी जान गँवा चुके हैं। पंजाब के सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह ने बताया कि इस मामले में 30 लोगों को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है और मामले में पाँच एफआईआर दर्ज किए गए हैं।
इसके अलावा, पुलिस, आबकारी और टैक्सेशन विभाग के 13 अधिकारियों को लापरवाही के लिए निलंबित कर दिया गया है। इस मामले में आगे की जाँच की जा रही है।