महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार के पड़ोसी ने बारामती में आत्महत्या कर ली। उसने अपने सुसाइड नोट में अनेक स्थानीय एनसीपी नेताओं का ज़िक्र किया है और उन्हें ही अपनी मृत्यु के लिए जिम्मेदार ठहराया है। समाचार वेबसाइट ‘आज तक’ में प्रकाशित रिपोर्ट के मुताबिक़, बारामती के व्यवसायी प्रीतम शाह ने इसलिए आत्महत्या कर ली क्योंकि कई स्थानीय एनसीपी नेता रुपयों के लिए उनका उत्पीड़न कर रहे थे।
बारामती के पुलिस इंस्पेक्टर ने इस घटना पर बात करते हुए विस्तार से जानकारी दी। इंस्पेक्टर नामदेव शिंदे ने बताया कि व्यवसायी प्रीतम शाह ने बेटे ने एनसीपी के नेताओं के विरुद्ध इस संबंध में मामला दर्ज कराया है। उसने आरोप लगाया है कि एनसीपी नेताओं ने उसके पिता का उत्पीड़न किया था। फ़िलहाल यह घटना पूरे बारामती में चर्चा का मुद्दा बनी हुई है, मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक़ आरोपित एनसीपी नेता ने प्रीतम शाह को 30 फ़ीसदी की ब्याज दर पर कुछ धनराशि दी थी।
प्रीतम शाह ने पूरी राशि लौटा दी थी इसके बावजूद एनसीपी नेताओं ने उनसे रुपए ऐंठना चाहते थे और इसके लिए उसने प्रीतम शाह को प्रताड़ित करना शुरू कर दिया था। इतना ही नहीं रिपोर्ट्स की मानें तो आरोपित एक बँगला तक अपने नाम करवाना चाहते थे। प्रीतम शाह के बेटे प्रतीक शाह ने दर्ज कराई गई शिकायत में कई नामों का उल्लेख किया है जिसमें अधिकांश एनसीपी के ही नेता हैं।
इसमें जयसिंह अशोक देशमुख, कुणाल चंद्रकांत काले, संजय कोंदिबा काटे, विकास नागनाथ धनके, प्रवीण दत्तात्रेया गलिंदे, हनुमंत सर्जेराव गवली, सुनील अवले (सनी), संघर अवले, मंगेश अमस का नाम शामिल है। इसमें से एक आरोपित बारामती बाज़ार समिति का पूर्व चेयरमैन है और अन्य सक्रिय रूप से एनसीपी का हिस्सा हैं।
तमाम आरोपितों में से बारामती नगरपालिका का पार्षद है और एक बारामती सहकारिता बैंक का निदेशक है। बारामती पुलिस ने इस प्रकरण में व्यवसायी का उत्पीड़न करने की धाराओं के अंतर्गत आरोपित नेताओं पर मामला दर्ज कर लिया है। अभी तक कुल 6 आरोपित नेता गिरफ्तार किए जा चुके हैं और 3 फ़रार चल रहे हैं। पुलिस उनकी तलाश में जुटी हुई है।