पश्चिम बंगाल में सभा की इजाजत न मिलने पर ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहाद-उल मुस्लिमीन (AIMIM) के प्रमुख असदुद्दीन ने तृणमूल कॉन्ग्रेस के खिलाफ़ अपनी नाराजगी जाहिर की है। ओवैसी ने कहा है कि टीएमसी के दो चेहरे हैं जो दिल्ली में संसद में अभिव्यक्ति की आजादी, संविधान व सहमति के अधिकार की बात करते हैं लेकिन बात बंगाल की आती है तो उल्टा करते हैं।
Barrister @asadowaisi addressed a press conference on denial of permission for a Public Meeting in West Bengal. He also Spoke on Gujarat Elections. https://t.co/ZMKUSFmW9e
— AIMIM (@aimim_national) February 25, 2021
उन्होंने अपनी बात रखते हुए पूछा , “मैं वहाँ सभा करना चाहता हूँ, लेकिन मुझे इजाजत क्यों नहीं दी जा रही है।” गुरुवार को मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा कि राज्य में अभी आचार संहिता नहीं लगी है। उसके पहले ही सभा की इजाजत नहीं दी जा रही है। ऐसे में स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कैसे होंगे?
TMC MPs speak about freedom of expression, constitution, dissent in Parliament. But they have two faces, they say one thing in Delhi and do just the opposite in Bengal. If I want to conduct a public meeting there, then why am I not being permitted?: AIMIM Chief Asaduddin Owaisi pic.twitter.com/HZ5a2mRe4Q
— ANI (@ANI) February 25, 2021
वह आगे पूछते हैं कि नरेंद्र मोदी, अमित शाह, जेपी नड्डा रैली कर सकते हैं, कॉन्ग्रेस, माकपा और टीएमसी खुल कर रैली निकाल सकती है तो आखिर हम क्यों नहीं?
Model Code of Conduct has not come into effect now. If they’re refusing to give us permission even before that, how will election be free & fair? Narendra Modi, Amit Shah, JP Nadda can hold a rally, #Congress, CPM, TMC can hold a rally. Why can’t we?: #AIMIM Chief @asadowaisi https://t.co/pfW3FR9fbD
— tv9gujarati (@tv9gujarati) February 25, 2021
वह बोले टीएमसी सांसद जब भाषण देते हैं तो जो धर्मनिरपेक्ष व उदारवादी लोग तालियाँ बजाते हैं, उन्हें इस पर सोचना चाहिए। रैली की इजाजत नहीं देने से टीएमसी सांसदों का दोमुँहापन व खोखलापन सामने आ गया है।
गौरतलब है कि AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी को अल्पसंख्यक बहुल मेतियाब्रुज इलाके में रैली के जरिए बंगाल विधान सभा चुनाव से पहले पार्टी के प्रचार अभियान की शुरुआत करनी थी, लेकिन प्रदेश सचिव ने बताया कि पुलिस ने उन्हें इसकी इजाजत नहीं दी।
प्रदेश सचिव ने कहा, “हमने इजाजत के लिए 10 दिन पहले आवेदन दिया था, मगर रैली से ठीक एक दिन पहले पुलिस ने सूचित किया कि वे हमें रैली करने की इजाजत नहीं देंगे। हम टीएमसी के ऐसे हथकंडों के आगे झुकेंगे नहीं। हम चर्चा करेंगे और कार्यक्रम की नई तारीख बताएँगे।”