पंजाब में विधानसभा चुनावों से पहले प्रदेश के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी की नेतृत्व वाली कॉन्ग्रेस सरकार और पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू के बीच खींचातान जारी है। सिद्धू खुद को मुख्यमंत्री का उम्मीदवार घोषित करवाने के लिए पार्टी हाईकमान पर दबाव डालते रहे हैं। अब वह पार्टी के उम्मीदवारों के चुनाव और टिकट के बँटवारे में भी अपना दबदबा बनाए रखना चाहते हैं।
सिद्धू किसी भी कीमत पर खुद को प्रदेश का मुख्यमंत्री चेहरा घोषित करवाना चाह रह रहे हैंं। इसके लिए वह सार्वजनिक मंचों से अपने बयानों के जरिए दबाव बनाने की कोशिश कर रहे हैं। इसी दबाव की रणनीति के तहत सिद्ध ने अपने फेसबुक पोस्ट में लिखा, “स्वच्छ और स्वच्छ चरित्र, आएगी सिद्धू सरकार, इस बार पंजाब जीतेगा।” इसके पहले वह कह चुके हैं कि बिना दुल्हे का बारात कैस होगी? हाईकमान को सीएम कैंडिटेट का नाम आगे करना चाहिए।
दरअसल, कॉन्ग्रेस ने चन्नी को ही मुख्यमंत्री का चेहरा घोषित किया है, लेकिन चन्नी विरोध में शुरू से खड़े सिद्धू को यह बात पच नहीं रही है। वह अपने फेसबुक पोस्ट के जरिए हाईकमान को सीधी चुनौती दे रहे हैं। कुछ दिन पहले एक संवाददाता सम्मेलन में उन्होंने कहा था कि कॉन्ग्रेस का मुख्यमंत्री हाईकमान नहीं, जनता तय करेगी।
पार्टी सूत्रों के हवाले से न्यू इंडियन एक्सप्रेस ने कहा कि सिद्धू के बयानों से परेशान कॉन्ग्रेस नेतृत्व चुनावों के कारण चुप है, क्योंकि कार्रवाई के लिए अभी समय नहीं है। पार्टी अभी अपना फोकस चुनावों पर रखना चाहती है। सूत्र का कहना है कि सिद्धू टिकट बँटवारे को लेकर भी खुश नहीं हैं। इसी कारण वह दबाव बनाने की कोशिश कर रहे हैं। हालाँकि, पार्टी नेतृत्व उनसे बात करने के मूड में नहीं है। सिद्धू को पार्टी को एकजुट रखने के लिए काम करने को कहा गया था।
सिद्धू ने यहाँ तक धमकी दे दी थी कि पंजाब का या तो मौजूदा सिस्टम नहीं रहेगा या वो नहीं रहेंगे। उन्होंने कहा था, “वह उस व्यवस्था को ध्वस्त करने के लिए काम कर रहे हैं जो हमारे गुरु को न्याय नहीं दे सकी और ड्रग गिरोह में शामिल बड़ी मछलियों को दंडित नहीं कर सकी।”
खबर आ रही है कि कॉन्ग्रेस ने पंजाब चुनावों के लिए 70 उम्मीदवारों की सूची तैयार कर ली है। वर्तमान विधायकों और मंत्रियों को अपनी-अपनी सीटों से लड़ने के लिए कहा गया है। वहीं, चन्नी, सिद्धू और बलराम जाखड़ की बीच सीटों को लेकर विवाद जारी है। इन सीटों पर नामों की घोषणा रोक ली गई है। माना जा रहा है कि आज कॉन्ग्रेस किसी भी वक्त इसका ऐलान कर सकती है। हालाँकि, सिद्धू इन नामों से संतुष्ट नहीं बताए जा रहे हैं। वे टिकट बँटवारे में अपनी मजबूत दखल चाहते थे।