ईसाइयों के सबसे बड़े धर्मगुरु पोप फ्रांसिस ने कहा है कि दारू भगवान की देन है और यह आनंद का असली स्रोत है। पोप फ्रांसिस ने यह बयान वेटिकन सिटी में दिया है, जो ईसाइयों की धर्मनगरी है। उन्होंने इसके पहले भी शराब के समर्थन में कई बयान दिए हैं।
पोप फ्रांसिस ने यह बयान एक समारोह में दिया, जिसमें इटली से आए हुए तमाम शराब निर्माता शामिल थे। यह समारोह इतालवी शहर वेरोना के बिशप डोमेनिको पोम्पिली द्वारा आयोजित किया गया था। यह समारोह वेरोना में हर साल अप्रैल माह में होने वाली वाइन प्रतियोगिता के पहले आयोजित किया जाता है।
पोप फ्रांसिस ने इस सभा में कहा, “यह ऐसा लगेगा जैसे पोप नशे में बोल रहे हैं। शराब, जमीन, कृषि का कौशल और व्यापारिक कौशल भगवान के उपहार हैं। सृष्टि निर्माता ने इन्हें हमें इसलिए दिए हैं, क्योंकि हम संवेदनशीलता और ईमानदारी के साथ इन्हें अपने आनंद का असली स्रोत बनाते हैं।”
पोप फ्रांसिस ने शराब बनाने वालों से कहा कि वह इससे सम्बंधित नैतिक जिम्मेदारियों का वहन करें और साथ ही पीने की सही आदतों को बढ़ावा दें। इस कार्यक्रम के आयोजक दूसरे ईसाई धर्मगुरु डोमेनिको पोम्पेली ने कहा कि संत पॉल ने कहा है कि शराब का एक ग्लास उत्साह बढ़ाने के लिए है, अगर इसे संभल कर लिया जाए।”
बता दें कि पोप फ्रांसिस इससे पहले भी शराब का समर्थन कर चुके हैं। उन्होंने वर्ष 2016 में भी शराब के समर्थन में बयान दिया था। उन्होंने शराब को शादी समारोह का प्रमुख अंग कहा था। उन्होंने कहा था, “नवविवाहित जोड़े की शादी में शराब ना हो तो उन्हें शर्मिंदगी महसूस होती है, जैसे आपने चाय पीकर आपने शादी समारोह पूरा कर लिया।”
गौरतलब है कि इटली विश्व में दूसरा सबसे बड़ा शराब उत्पादक देश है। बीते कुछ वर्षों से यूरोप में शराब की बोतलों पर स्वास्थ्य समस्याओं को लेकर चेतावनी जारी की माँग यूरोपीय यूनियन से की जा रही है। हालाँकि, इटली के शराब उत्पादक इसके खिलाफ रहे हैं। पोप फ्रांसिस के इस बयान का इन शराब उत्पादकों ने स्वागत किया है।